...तो दिल्ली बनकर रह जाएगी बंजर रेगिस्तान, दिल्ली हाईकोर्ट ने वर्तमान पीढ़ी को लेकर की अहम टिप्पणी
दिल्ली हाईकोर्ट ने कहा कि यदि वर्तमान पीढ़ी वनों की कटाई के प्रति उदासीन रवैया अपनाती रही तो राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र केवल बंजर रेगिस्तान बनकर रह जाएगा। हाईकोर्ट ने यह संज्ञान दिल्ली में लगातार बढ़ रहे तापमान को लेकर लिया। न्यायमूर्ति तुषार राव गेडेला की अदालत राष्ट्रीय राजधानी में वनों के संरक्षण और प्रबंधन के मुद्दे से संबंधित याचिकाओं पर सुनवाई कर रही थी।
जागरण संवाददाता, दक्षिणी दिल्ली। दिल्ली हाईकोर्ट ने कहा कि यदि वर्तमान पीढ़ी वनों की कटाई के प्रति उदासीन रवैया अपनाती रही तो राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र केवल बंजर रेगिस्तान बनकर रह जाएगा। हाईकोर्ट ने यह संज्ञान दिल्ली में लगातार बढ़ रहे तापमान को लेकर लिया।
न्यायमूर्ति तुषार राव गेडेला की अदालत राष्ट्रीय राजधानी में वनों के संरक्षण और प्रबंधन के मुद्दे से संबंधित याचिकाओं पर सुनवाई कर रही थी। कोर्ट ने कहा कि हाल ही में दिल्ली में आधिकारिक तापमान दर्ज किया गया था। वह दिन दूर नहीं, जब यह शहर केवल बंजर रेगिस्तान बनकर रह जाएगा।
अगर वर्तमान पीढ़ी...
यदि वर्तमान पीढ़ी वनों की कटाई के प्रति उदासीन दृष्टिकोण अपनाती रही। बता दें कि दिल्ली हाईकोर्ट ने पूर्व न्यायाधीश न्यायमूर्ति नजमी वजीरी को राष्ट्रीय राजधानी में वनों के संरक्षण और प्रबंधन के लिए गठित आंतरिक विभागीय समिति का अध्यक्ष नियुक्त किया था।ऐसी स्थिति को बर्दाश्त नहीं किया जा सकता
कोर्ट ने कहा कि ऐसी स्थिति को बर्दाश्त नहीं किया जा सकता। बुनियादी ढांचे के विकास को अगले 15 दिनों के भीतर पूरा किया जाना चाहिए। न्यायमूर्ति ने कहा कि दिल्ली में जलवायु परिस्थितियों की बिगड़ती स्थिति को ध्यान में रखते हुए समिति अपनी जिम्मेदारियों को पूरी ईमानदारी से पूरा करे। इस मामले में अगली सुनवाई 10 जुलाई को होगी।
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