Dengue Fever: डेंगू और मलेरिया से रहें सावधान, दिल्ली में अगला एक महीना है बेहद खतरनाक
दिल्ली में अगला एक महीना मच्छरजनित बीमारियों के लिए खतरनाक है। डेंगू मलेरिया और चिकनगुनिया के मामलों में वृद्धि की आशंका है। इन बीमारियों से बचने के लिए सावधानी और सतर्कता जरूरी है। थोड़ी से सावधानी से ही आप खुद को इसकी चपेट से बचा सकते हैं। आइए हम आपको डेंगू और मलेरिया के लक्षण उपचार और बचाव के उपायों के बारे में बताते हैं।
जागरण संवाददाता, नई दिल्ली। अगला एक महीना मच्छरजनित बीमारियों के फैलने की आशंका के चलते खतरनाक है। हर वर्ष अगस्त से लेकर अक्टूबर तक मच्छरजनित बीमारियों डेंगू, मलेरिया और चिकनगुनिया के सर्वाधिक मामले रिकार्ड किए जाते हैं, ऐसे में इन बीमारियों से बचाव के लिए लोगों को सावधानी बरतने की जरूरत हैं।
अगर लोग सावधानी और सतर्कता बरतेंगे, तो न केवल इन बीमारियों के प्रकोप से खुद को बचा सकेंगे बल्कि अपने आसपास के लोगों को भी इनकी चपेट में आने से रोक सकेंगे। कहीं डेंगू का मरीज एक बार आ जाए तो आसपास के लोगों में इसके फैलने की आशंका बढ़ जाती है।
इसके चलते ही नगर निगम लोगों से घर और आसपास साफ-सफाई रखने और पानी न जमा होने देने की अपील करता है। डेंगू-मलेरिया से बचाव के लिए उठाए जाने वाले कदमों और दिल्ली में इन बीमारियों की स्थिति पर पेश है निहाल सिंह की रिपोर्ट...
इन बातों का रखें ध्यान तो हो बचाव
- कूलर साफ रखें, हर तीन से चार दिन में पानी को बदल दें
- टूटे कप-प्लेट, डिब्बों आदि में पानी न जमा होने दें
- गमलों में पानी हर तीन से चार दिन में बदलें
- विंडो एसी का पानी इकट्ठा न होने दें
- पानी की टंकी को ढककर रखें
- शरीर को ढककर रखें
- कंटेनर में पानी ढककर रखें, या हर चार दिन में खाली कर दें
बीमारियों के लक्षण
- नाक-मुंह से खून आना
- लगातार तेज बुखार
- तेज बदन दर्द
- ठंड के साथ बुखार आना
- प्लेटलेट्स का गिरना
ऐसे होता है मलेरिया
मलेरिया मादा एनाफिलीज मच्छर के काटने से होता है। जो गंदे पानी में पनपता है। ये मच्छर रात में ही ज्यादा काटते हैं। कुछ मामलों में मलेरिया अंदर ही अंदर बढ़ता रहता है। ऐसे में, बुखार ज्यादा न होकर कमजोरी होने लगती है और एक स्टेज पर मरीज में खून की कमी हो जाती है।
ऐसे होता है डेंगू
एडीज मच्छर के काटने से डेंगू होता है। यह मच्छर साफ पानी में पनपता है। डेंगू के कई प्रकार होते हैं। पहला प्रकार साधारण डेंगू बुखार होता है। पांच से सात दिन तक बुखार रहने पर मरीज आसानी से ठीक हो जाता है।दूसरा डेंगू का बुखार रक्तस्रावी बुखार होता है। इसमें रक्त वाहिकाओं में रक्तस्राव होता है और खून में प्लेटलेट्स की मात्रा कम होने लगती है। तीसरा प्रकार डेंगू शाक सिंड्रोम होता है। कई दिन बुखार रहता है। शरीर में दर्द रहता है।
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