केंद्र सरकार की इस घोषणा को सबसे बड़ा मजाक बता रहे किसान नेता राकेश टिकैत, जानें क्या है डिटेल?
भारतीय किसान यूनियन के राष्ट्रीय प्रवक्ता राकेश टिकैत ने लिखा है कि सरकार ने जो बढ़ी हुई एमएसपी घोषित की है वो एक धोखा है। उन्होंने कहा कि सीजन 2022-23 की खरीद हेतु जो न्यूनतम समर्थन मूल्य घोषित किया है वह किसानों के साथ सबसे बड़ा मजाक है।
क्या होती है एमएसपी#Cabinet increases Minimum Support Prices (MSP) for Rabi crops for marketing season 2022-23
Return to farmers over their cost of production are estimated to be highest in case of wheat, rapeseed & mustard#CabinetDecisions #MSPhaiAurRahega
Read: https://t.co/7e2ttmNdNv pic.twitter.com/yxwEOKcwBn
— PIB India (@PIB_India) September 8, 2021
केंद्र सरकार ने कहा कि साल 2022-23 के लिए रबी की फसलों के लिए एमएसपी में कम से कम 1.5 गुना के स्तर पर एमएसपी तय करने के सिद्धांत के अनुरूप है। किसान खेती में जितना खर्च करता है, उसके आधार पर होने वाले लाभ का सरकार ने अनुमान है। राकेश टिकैत ने कहा कि कृषि मूल्य आयोग द्वारा पिछले साल गेहूं की पैदावार की लागत 1459 रुपए बताई गई थी और इस साल लागत घाटकर 1008 रुपए कर दी गई है। इससे बड़ा मजाक कुछ हो नहीं सकता।रबी के लिए घोषित न्यूनतम समर्थन मूल्य किसानों के साथ मजाक है।महँगाई दर बढ़ने के बाद भी पिछले वर्ष की तुलना में भी कम वृद्धि है।
क्या इसका फार्मूला बताएगी सरकार #msp_लागत_से_कम_क्यों @news24tvchannel @ANI @PTI_News @AP @PCITweets @thewire_in pic.twitter.com/NipK6UJvJy
— Rakesh Tikait (@RakeshTikaitBKU) September 8, 2021