Gandhi Jayanti 2022: बा के साथ इस जगह पर अक्सर जाया करते थे महात्मा गांधी, दिल्ली से था खास रिश्ता
Gandhi Jayanti 2022 राष्ट्रपिता महात्मा गांधी की इस साल 2 अक्टूबर को 153वीं गांधी जयंती मनाई जाएगी। महात्मा गांधी को हम बापू और गांधी जी कहकर भी पुकारते हैं। गांधी जी का देश की राजधानी दिल्ली से गहरा लगाव रहा है।
By GeetarjunEdited By: Updated: Sat, 01 Oct 2022 04:12 PM (IST)
नई दिल्ली, जागरण डिजिटल डेस्क। राष्ट्रपिता महात्मा गांधी की इस साल 2 अक्टूबर को 153वीं गांधी जयंती मनाई जाएगी। महात्मा गांधी को हम 'बापू और गांधी जी' कहकर भी पुकारते हैं। गांधी जी का देश की राजधानी दिल्ली से गहरा लगाव रहा है। वो सबसे पहले दिल्ली 12 अगस्त 1915 में यानी 46 साल की उम्र में आए थे। इसके बाद से उनका दिल्ली में आना जाना लगा रहा।
गांधी जी का जन्म 2 अक्टूबर 1869 में हुआ था। बापू देश को आजादी मिलने के बाद से वो दिल्ली में रहे और यहीं पर अंतिम सांस ली। गांधी जी जब पहली बार अप्रैल 1915 को दिल्ली आए थे तो स्वतंत्रता सेनानी हकीम अजमल खां से मिलने चांदनी चौक स्थित हवेली शरीफ मंजिल में गए थे। उस वक्त उनके साथ उनकी पत्नी कस्तूरबा गांधी (बा) भी साथ थीं।
ये भी पढ़ें- Ghaziabad: महिला अफसर का मोबाइल हैक, बेटे के स्कूल के व्हाट्सएप ग्रुप पर भेजे अश्लील मैसेज
खास जगहों में से एक थी हवेली
बापू और बा ने यहां पर बैठकर हकीम साहब के साथ भोजन किया और घंटों बातचीत की। बापू का हकीम साहब से इतना गहरा रिश्ता था कि वो हकीम साहब की हवेली बापू की दिल्ली में उठने-बैठने की खास जगहों में से एक थी। बापू अपने दिल्ली आगमन पर बा के साथ यहां जरूर जाते थे।बा के साथ यहां काफी समय बिताते थे गांधीबापू और बा को यहां बैठकर घंटों बातें किया करते थे। बापू की दिल्ली की यादों के बारे में बातचीत करते हुए गांधी स्मृति एवं दर्शन समिति के उपाध्यक्ष विजय गोयल ने बताया कि चाहे आजादी का आंदोलन, पुरानी दिल्ली में 1857 की क्रांति और गांधी का भारत छोड़ो आंदोलन की शुरूआत पुरानी दिल्ली के चांदनी चौक से हुई थी।
ये भी पढ़ें- एक अक्टूबर से रेलवे में बड़ा बदलाव, 233 ट्रेनों का समय बदलेगा; 40 के नंबर भी बदले गएगांधी चांदनी चौक के मारवाड़ी पुस्तकालय में भी कई बैठकें करते थे। इनमें ये कई तो गुप्त बैठक होती थी। जिसमें लोकमान्य तिलक और मदन मोहन मालवीय भी इन बैठकों का हिस्सा होते थे। मारवाड़ी पुस्तकालय की विजिटर बुक में बापू का लिखा संदेश आज भी स्वतंत्रता के दिनों की याद दिलाता है।
आपके शहर की हर बड़ी खबर, अब आपके फोन पर। डाउनलोड करें लोकल न्यूज़ का सबसे भरोसेमंद साथी- जागरण लोकल ऐप।