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दिल्लीवासियों के लिए अच्छी खबर, दिसंबर तक चालू होगी राजधानी की तीसरी रिंग रोड; इन इलाकों के लोगों को होगा फायदा

भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (एनएचएआई) इस परियोजना को क्रियान्वित कर रहा है।हरियाणा उत्तर प्रदेश और दिल्ली सरकार इसके अन्य हितधारक हैं। सड़क की कुल लंबाई 75.71 किमी में से 54.21 किमी दिल्ली में और 21.50 किमी हरियाणा में पड़ती है। यूईआर-II की परिकल्पना डीडीए द्वारा दिल्ली के लिए तीसरी रिंग रोड के रूप में की गई थी जिसने बाद में पांच पैकेजों के साथ बड़ा आकार ले लिया।

By sanjeev Gupta Edited By: Sonu Suman Updated: Thu, 17 Oct 2024 10:15 PM (IST)
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दिसंबर तक चालू होगी राजधानी की तीसरी रिंग रोड।

राज्य ब्यूरो, नई दिल्ली। बाहरी, पश्चिमी और दक्षिण-पश्चिमी दिल्ली में आवागमन को बेहतर बनाने के लिए 3,600 करोड़ रुपये की लागत से बनाई जा रही तीसरी रिंग रोड यानी शहरी विस्तार सड़क (यूईआर दो) दिसंबर तक चालू कर दी जाएगी। बुधवार को एलजी वीके सक्सेना ने परियोजना की प्रगति की समीक्षा की और निर्देश दिया कि शेष काम जल्द से जल्द पूरा कर लिया जाना चाहिए।

एलजी ने मौजूदा बाधाओं और आगे की राह पर चर्चा की। मंगेशपुर नाले के ऊपर ओवरहेड रोड के चल रहे निर्माण कार्य की जानकारी मिलने पर एलजी ने निर्देश दिया कि नाले के रास्ते में सड़क को सपोर्ट करने वाले किसी खंभे का निर्माण नहीं किया जाना चाहिए।

नालों में खंभों के निर्माण से प्रवाह अवरुद्ध

बारापूला और कुशक नालों के साथ अपने हालिया अनुभव का हवाला देते हुए सक्सेना ने बताया कि इन नालों में खंभों के निर्माण ने उनके प्रवाह को काफी हद तक अवरुद्ध कर दिया था, जिससे भारी वर्षा के दौरान बाढ़ आ गई थी।

हरियाणा में है 21.50 किमी सड़क

गौरतलब है कि भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (एनएचएआई) इस परियोजना को क्रियान्वित कर रहा है।हरियाणा, उत्तर प्रदेश और दिल्ली सरकार इसके अन्य हितधारक हैं। सड़क की कुल लंबाई 75.71 किमी में से 54.21 किमी दिल्ली में और 21.50 किमी हरियाणा में पड़ती है।

यूईआर-II की परिकल्पना डीडीए द्वारा दिल्ली के लिए तीसरी रिंग रोड के रूप में की गई थी, जिसने बाद में पांच पैकेजों के साथ बड़ा आकार ले लिया। पांच पैकेजों में से पैकेज एक, दो और तीन दिल्ली में हैं जबकि अन्य दो हरियाणा में हैं।

बाहरी रिंग रोड पर यातायात आसान हो जाएगा

डीडीए के मुताबिक, "इसके एक बार पूरी तरह से पूरा हो जाने पर, शहर में मौजूदा आंतरिक और बाहरी रिंग रोड पर यातायात आसान हो जाएगा। इसके अलावा हरियाणा में सोनीपत और गुरुग्राम के बीच सीधी पहुंच प्रदान करने के साथ साथ बाहरी, पश्चिम और दक्षिण-पश्चिम दिल्ली में भी आवागमन बेहतर होगा।"

गुरुग्राम से द्वारका एक्सप्रेसवे से जुड़ती है सड़क

यह परियोजना, जो दिल्ली में बवाना, नरेला-कंझावला, मुंडका और द्वारका आदि के बीच पूरे खंड के माध्यम से दक्षिणी दिल्ली में एनएच-44 (दिल्ली-चंडीगढ़ राजमार्ग) को एनएच-48 से जोड़ती है, उत्तर-पश्चिम में सोनीपत तक जाती है। इसमें एक मार्ग जींद, नजफगढ़ से बहादुरगढ़ तक जाने वाला है। यह हरियाणा के गुरुग्राम से द्वारका एक्सप्रेसवे से भी जुड़ता है।

अधिकारियों के मुताबिक यह पूर्वी और पश्चिमी पेरिफेरल एक्सप्रेसवे से जुड़ता है, जिसका उद्देश्य दिल्ली, हरियाणा और यूपी में यातायात की भीड़, आसान पारगमन और प्रदूषण नियंत्रण का स्थायी समाधान प्रदान करना है।

डीडीए ने कहा कि एक बार पूरी तरह से चालू होने के बाद, इस परियोजना से दिल्ली के उत्तर, उत्तर-पश्चिम, पश्चिम और दक्षिण-पश्चिम क्षेत्रों के सामाजिक-आर्थिक और बुनियादी ढांचे में व्यापक बदलाव आने की उम्मीद है।

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