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जामिया के छात्रों ने मानसिक स्वास्थ्य पर निकाली जागरूकता रैली

छात्रों को मानसिक स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं का पता चलते ही बिना किसी झिझक के मनोचिकित्सक की सलाह लेनी चाहिए। इस मौक़े पर उन्होंने साइकोलॉजी डिपार्टमेंट में ‘मेंटल हेल्थ यूनिट’ की स्थापना करने की घोषणा की और यह विश्वास जताया कि यह यूनिट जामिया के छात्रों की मानसिक स्वास्थ्य से जुड़ी समस्याओं को दूर करने में मदद करेगी। कार्यक्रम में छात्रों और फैकल्टी मेंबर्स ने बढ़-चढ़कर भाग लिया।

By Jagran News Edited By: Anurag Mishra Updated: Sat, 12 Oct 2024 05:23 PM (IST)
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इस रैली का उद्देश्य लोगों को मेंटल हेल्थ के महत्व के बारे में जागरूक करना था।

 विश्व मानसिक स्वास्थ्य दिवस के अवसर पर जामिया मिल्लिया इस्लामिया विश्वविद्यालय के छात्रों ने मानसिक स्वास्थ्य को बढ़ावा देने के उद्देश्य से कैंपस में एक जागरूकता रैली का आयोजन किया। ‘कार्यस्थल पर मानसिक स्वास्थ्य को प्राथमिकता’ देने की थीम पर आयोजित इस रैली का उद्देश्य लोगों को मेंटल हेल्थ के महत्व के बारे में जागरूक करना था। रैली को जामिया के कुलपति प्रो. शकील अहमद ने हरी झंडी दिखाकर रवाना किया।

कार्यक्रम को संबोधित करते हुए वाइस चांसलर प्रो. शकील अहमद ने कहा कि आजकल की भागदौड़ से भरी ज़िंदगी में मेंटल हेल्थ को ठीक रखना एक गंभीर चुनौती बन कर उभरा है। छात्रों को मानसिक स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं का पता चलते ही बिना किसी झिझक के मनोचिकित्सक की सलाह लेनी चाहिए। इस मौक़े पर उन्होंने साइकोलॉजी डिपार्टमेंट में ‘मेंटल हेल्थ यूनिट’ की स्थापना करने की घोषणा की और यह विश्वास जताया कि यह यूनिट जामिया के छात्रों की मानसिक स्वास्थ्य से जुड़ी समस्याओं को दूर करने में मदद करेगी। इसके साथ ही उन्होंने साइकोलॉजी डिपार्टमेंट की हेड प्रोफेसर शीमा अलीम, फ़ैकल्टी मेंबर्स और छात्रों को परिसर में इस तरह की जागरूकता गतिविधियों का आयोजन करने के लिए बधाई दी।

यह जागरूकता रैली यूनिवर्सिटी के सभी विभागों और संस्थानों से होते हुए मेन कैंपस में समाप्त हुई जहां छात्रों द्वारा एक नुक्कड़ नाटक किया गया। इस नाटक में मानसिक स्वास्थ्य समस्याओं को समझने और उनका सामना करने के लिए ज़रूरी तरीक़ों के बारे में बताया गया। कार्यक्रम में छात्रों और फैकल्टी मेंबर्स ने बढ़-चढ़कर भाग लिया। इसके साथ ही 'इदराक' नामक एक क्विज़ कंपीटिशन भी आयोजित किया, जिसमें छात्रों ने काफ़ी उत्साह के साथ प्रतिभाग किया। इसके अलावा मेंटल हेल्थ अवेयरनेस के लिए, एक फिल्म की स्क्रीनिंग भी की गयी।

प्रो. शीमा अलीम ने यूनिवर्सिटी और वाइस चांसलर का आभार व्यक्त करते हुए कहा कि, “हमारी फ़िज़िकल और मेंटल हेल्थ एक ही सिक्के के दो पहलू हैं। लेकिन अभी भी ज़्यादातर लोग इसपर ज़्यादा ध्यान नहीं देते। आज वर्कप्लेस पर मेंटल हेल्थ अवेयरनेस पहले से कहीं अधिक ज़रूरी है। हमें गर्व है कि हम अपने कैंपस में मेंटल हेल्थ यूनिट शुरू कर रहे हैं। हमारा मक़सद छात्रों को उनकी मेंटल हेल्थ का ध्यान रखने और इस पर चुप्पी तोड़ने के लिए उन्हें रास्ता दिखाना है।”

भारत में वर्कप्लेस और एजुकेशनल इंस्टिट्यूट में मेंटल हेल्थ के प्रति बढ़ती चिंताओं के बीच, इस प्रकार के अवेयरनेस प्रोग्राम बहुत ज़रूरी हो गए हैं। ऐसे में मेंटल हेल्थ यूनिट की स्थापना की घोषणा के साथ निश्चित रूप से जामिया ने छात्रों के मानसिक स्वास्थ्य की देखभाल की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम उठाया है।

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