Delhi: सरकारी स्कूलों में पढ़ने वाले बच्चों को अच्छी किताबें उपलब्ध करवाना हमारा उद्देश्य- सिसोदिया
हमारा उद्देश्य सरकारी स्कूलों में पढ़ने वाले बच्चों को अच्छी किताबें उपलब्ध करवाना है। इस दिशा में मेगा बुक फेयर (विशाल पुस्तक मेला) का आनलाइन प्लेटफार्म महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा और बच्चों को एक बहुत बड़े कलेक्शन में से अपनी पसंद की अच्छी किताबें मिल सकेंगी।
नई दिल्ली, जागरण संवाददाता। हमारा उद्देश्य सरकारी स्कूलों में पढ़ने वाले बच्चों को अच्छी किताबें उपलब्ध करवाना है। इस दिशा में मेगा बुक फेयर (विशाल पुस्तक मेला) का आनलाइन प्लेटफार्म महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा और बच्चों को एक बहुत बड़े कलेक्शन में से अपनी पसंद की अच्छी किताबें मिल सकेंगी। ये बातें उपमुख्यमंत्री व शिक्षा मंत्री मनीष सिसोदिया ने बृहस्पतिवार को दिल्ली सरकार द्वारा दिल्ली के सरकारी स्कूलों के लिए आयोजित किए गए वर्चुअल पु्स्तक मेले के उद्घाटन के दौरान कहीं। सिसोदिया ने वीडियो कांफ्रेंसिंग के द्वारा पुस्तक मेले का उद्घाटन किया।
सिसोदिया ने आगे कहा कि पुस्तक मेले के आनलाइन प्लेटफार्म से शिक्षा निदेशालय (डीओई) के स्कूल अपने पुस्तकालयों के लिए बेहतरीन किताबें को चुन सकेंगे। वे प्रकाशकों को आनलाइन आर्डर दे पाएंगे और किताबें स्कूलों तक पहुंच जाएंगी, जिससे समय की काफी बचत होगी और पूरी प्रक्रिया पारदर्शी बनी रहेगी।
मेले में 340 प्रकाशक भाग ले रहे हैं और आठ हजार पुस्तकें शामिल हैं। उपमुख्यमंत्री ने कहा कि दिल्ली देश का पहला ऐसा राज्य है, जहां सरकार के सभी स्कूलों के अध्यापक व बच्चे अपनी पसंद से अपने पुस्तकालय के लिए किताबों का चयन हर साल करते हैं। सिसोदिया ने आगे कहा कि बच्चों के सर्वांगींण विकास में किताबों का अहम योगदान होता है।
इसके महत्त्व को समझते हुए केजरीवाल सरकार ने पिछले छह-सात सालों में अपने स्कूलों की पु्स्तकालय में काफी महत्वपूर्ण बदलाव किए हैं। छठे वर्चुअल मेगा बुक फेयर के लांचिंग के अवसर पर शिक्षा सचिव अशोक कुमार, प्रधान शिक्षा सलाहकार शैलेन्द्र शर्मा, निदेशक एससीईआरटी रजनीश कुमार सिंह, अतिरिक्त शिक्षा निदेशक रीता शर्मा सहित शिक्षा विभाग के अन्य वरिष्ठ अधिकारी मौजूद रहे।
कैसे काम करेगा वर्चुअल पुस्तक मेले का आनलाइन माड्यूल
- स्कूल वर्चुअल पुस्तक मेले से अपने पुस्तकालयों व बच्चों की जरूरतों के अनुसार वर्चुअल टूर के माध्यम से किताबों का चयन करेंगे और किताबों को खरीदने के लिए प्रकाशकों को आर्डर दे पाएंगे।
- प्रकाशक इस आनलाइन प्लेटफ़ार्म से स्कूलों से किताबों के आर्डर लेंगे और किताबों को स्कूलों तक पहुंचाने का काम करेंगे।
- शिक्षा निदेशालय की पुस्तकालय शाखा इस पूरी प्रक्रिया पर नज़र बनाए रखेगा और लगातार निगरानी करता रहेगा।