Parliament Security Breach: संसद की सुरक्षा भेदने में शामिल छठा आरोपी महेश भी गिरफ्तार, ललित इकलौता नहीं था मास्टरमाइंड
संसद भवन की सुरक्षा में सेंध मामले में दिल्ली पुलिस स्पेशल सेल ने छठे आरोपित महेश को भी गिरफ्तार कर लिया है। गिरफ्तार किए गए ललित झा और महेश को पुलिस इस पूरे मामले का मास्टरमाइंड मान रही है। पुलिस को शक है कि इन्हीं दोनों ने षडयंत्र रचा है। वृहस्पतिवार देर रात ललित झा के साथ महेश भी दिल्ली आकर कर्तव्यपथ थाने में समर्पण कर दिया था।
By Jagran NewsEdited By: Sonu SumanUpdated: Fri, 15 Dec 2023 06:03 PM (IST)
जागरण संवाददाता, नई दिल्ली। संसद भवन की सुरक्षा में सेंध मामले में दिल्ली पुलिस स्पेशल सेल की काउंटर इंटेलिजेंस ने छठे आरोपित महेश को भी गिरफ्तार कर लिया है। मामले में पहले गिरफ्तार किए गए ललित झा और महेश को पुलिस इस पूरे मामले का मास्टरमाइंड मान रही है। पुलिस को शक है कि इन्हीं दोनों ने षडयंत्र रचा है। वृहस्पतिवार देर रात ललित झा के साथ महेश भी दिल्ली आकर कर्तव्यपथ थाने में पुलिस के समक्ष समर्पण कर दिया था, लेकिन पुलिस ने केवल ललित झा को ही गिरफ्तार किया था।
महेश की भूमिका का पता चलने के बाद ही पुलिस ने उसे गिरफ्तार किया। स्पेशल सेल सूत्रों के मुताबिक महेश को भी 13 दिसंबर को संसद में हंगामा वाली घटना में शामिल होना था, लेकिन फिर बाद में यह तय हुआ कि जब घटना को अंजाम देकर सभी फरार होंगे, तब उन्हें राय देने और उनके ठहरने आदि का बंदोबस्त करने के लिए कौन होगा। इसके बाद यह तय हुआ कि महेश नागौर में ही रहेगा। ये भी पढ़ें- Parliament Security Breach: संसद की सुरक्षा में सेंधमारी की खास प्लानिंग, चीन का बना था ये सामान; बनवाए थे स्पेशल जूते
दोनों आरोपियों ने दिल्ली के थाने में किया आत्मसमर्पण
महेश को फरार आरोपियों को रुकने का इंतजाम करने की जिम्मेदारी सौंपी गई थी। महेश का दिल्ली आने का प्लान रद्द हो गया। घटना को अंजाम देने के बाद ललित झा जब 13 दिसंबर की रात 10 बजे दिल्ली से नागौर जाने वाली बस से नागौर पहुंचा तो महेश ने होटल में उसके रुकने का इंतजाम करवाया। दिल्ली पुलिस जब इनको ढूंढने लगी, तब बृहस्पतिवार देर रात दोनों नागौर से दिल्ली आ गए और थाने में सरेंडर कर दिया।
दोनों ने पांच मोबाइल को किया आग के हवाले
स्पेशल सेल के एक वरिष्ठ अधिकारी का कहना है कि ललित झा और महेश ने पूछताछ में बताया कि उन्होंने सबूत मिटाने के लिए पांच मोबाइल फोन जला दिए। ललित के पास चार साथियों के मोबाइल फोन थे। घटना को अंजाम देने से पहले सागर शर्मा, अमोल शिंदे, नीलम आजाद और मनोरंजन गौड़ ने अपने अपने मोबाइल ललित को सौंप दिये थे। घटना को अंजाम देने के बाद ललित संसद भवन के गेट नंबर एक के पास अपने मोबाइल से घटना का वीडियो बना उसे इंस्टाग्राम पर अपलोड करने के बाद मौके से भाग गया था। वह बस पकड़ कर नागौर चला गया था। वहां महेश ने उसे रुकने के लिए एक होटल में इंतजाम किया था।ललित ने वीडियो एक NGO को भेजा
उन्होंने बताया कि रास्ते से ललित ने वीडियो कोलकाता में रहने वाले एक एनजीओ संचालक को भेज दिया था और उस वीडियो को उसे सुरक्षित रखे रहने की बात कही थी। इसके बाद उनसे महेश के साथ मिलकर अपना और अन्य चारों आरोपियों के मोबाइल को अगले दिन नागौर में जला दिया था। इससे पुलिस को ललित झा के मोबाइल की आखिरी लोकेशन मिली थी। उसके बाद पता नहीं चल रहा था।
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