दुकान में मिठाई लेने गए दंपती, कार में बैठे दो बच्चों का बदमाश ने किया अपहरण; पुलिस ने 3 घंटे बाद सकुशल किया बरामद
शकरपुर थाना इलाके में दंपति दुकान में मिठाई लेने गए। इतने में कार में बैठे दो बच्चों का बदमाश ने अपहरण कर लिया। पुलिस ने तीन घंटे बाद बच्चों को सकुशल बरामद करने में सफलता पाई। इस दौरान बच्चों को बचाने के लिए पुलिसकर्मियों ने 180 की गति से गाड़ियां दौड़ाईं। बदमाश की तलाश के लिए छापेमारी चल रही है।
जागरण संवाददाता, पूर्वी दिल्ली। अक्सर अभिभावक दुकान से सामान खरीदने के दौरान बच्चों को कार में छोड़ देते हैं। यह कितना घातक होता है यह फरीदाबाद की रहने वाले दंपती को उस वक्त पता चला जब एक बदमाश ने उन्हीं की कार में उनके दो वर्षीय बेटे और 11 वर्षीय बेटी को शकरपुर थाना इलाके से चापड़ के बल पर बंधक बनाकर अपहरण करके ले गया। बदमाश ने अभिभावकों से 50 लाख रुपये की फिरौती मांगी।
स्वजन ने शकरपुर थाना जाकर वारदात की सूचना दी। शकरपुर व लक्ष्मी नगर समेत टीम सक्रिय हुईं। दिल्ली की सड़कों पर 250 किलोमीटर तक पुलिस ने तीन घंटे कार का पीछा किया। खुद को घिरता हुआ पाकर बदमाश समयपुर बादली रेलवे स्टेशन के पास कार व बच्चों को छोड़कर भाग गया। पुलिस ने दोनों बच्चों को सकुशल बरामद कर लिया है।
गुरुग्राम में रहता है परिवार
पुलिस ने बताया कि कारोबारी अपने परिवार के साथ गुरुग्राम में रहते हैं। शुक्रवार को मौसम सुहाना था। वह अपनी पत्नी व दो बच्चों के साथ ईको स्पोर्ट्स कार से दिल्ली घूमने आए थे। उनकी बेटी ने काजू कतली मिठाई खाने की इच्छा जाहिर की। रात को 11:30 बजे वह विकास मार्ग स्थित हीरा स्वीट्स पर पहुंचे। मां ने अपना फोन बच्चों को दिया हुआ था।
गर्मी की वजह से बच्चों को कार में छोड़ा
बच्चों को गर्मी न लगे, एसी की वजह से कार स्टार्ट छोड़कर खुद दुकान में चले गए। तभी एक बदमाश कार में घुसा और चापड़ के बल पर बच्चों को बंधक बनाया और अपहरण करके ले गया। दंपती बाहर आए तो बच्चे व कार नहीं थी। कारोबारी ने पत्नी के फोन पर काल किया तो एक बदमाश ने फोन उठाया और बच्चों को छोड़ने के लिए 50 लाख रुपये की फिरौती मांगी।
आगे-आगे बदमाश, पीछे-पीछे पुलिस
अपहरण का पता चलते ही दंपती ऑटो से शकरपुर थाने पहुंचे। थानाध्यक्ष संजय गुप्ता को मामले की सूचना दी। शकरपुर व लक्ष्मी नगर थाना एक ही भवन में चलता है। थानाध्यक्ष ने वारदात की सूचना डीपीसी अपूर्वा गुप्ता को दी। लक्ष्मी नगर थानाध्यक्ष ने कारोबारी व शकरपुर थानाध्यक्ष ने अपनी कार में कारोबारी की पत्नी को बैठाया। कार का पीछा किया। बदमाश तब तक 30 किलोमीटर दूर जा चुका था।
बदमाश से कारोबारी की चलती रही बातचीत
कारोबारी अपने बच्चों को लेकर बदमाश से फोन पर बात करते रहे। डीसीपी ने स्पेशल स्टाफ के इंचार्ज अजीत व नारकोटिक्स इंचार्ज अरुण कुमार के नेतृत्व में 20 गाड़ियों में 50 पुलिसकर्मियों को बदमाश की कार के पीछे लगाया। साथ ही कंट्रोल रूम व सीडीआर टीम को सक्रिय किया। सभी इंचार्ज का एक वॉट्सऐप ग्रुप बनाया और बदमाश के फोन की पांच-पांच की मोबाइल लोकेशन ग्रुप पर शेयर की।
बच्चों को बचाने के लिए पुलिसकर्मियों ने 180 की गति से गाड़ियां दौड़ाईं। आशंका थी कि बदमाश बच्चों को लेकर दिल्ली से बाहर भाग जाएगा, डीसीपी ने कुछ टीमों को सिंधू व कोंडली बार्डर भेजा। बदमाश बच्चों को लेकर एनएच-एक पर पहुंचा, उसे पकड़ने के लिए पुलिस ने एनएच को जाम कर दिया। लेकिन बदमाश सर्विस लेन से समयपुर बादली क्षेत्र में भाग गया।
डीसीपी बाहरी उत्तर जिला पुलिस व रेलवे पुलिस को भी सक्रिय किया। बदमाश को पता चल गया था कि पुलिस पीछा कर रही है। बादली रेलवे स्टेशन के पास कार में बच्चों को छोड़कर भाग गया। पुलिस पहुंची तो बच्चा फुटपाथ पर बैठा था, पास ही उसकी बहन खड़ी थी।
बदमाश बोला पांच लाख दे रहे हो, भिखारी नहीं हूं
बदमाश ने जिस बच्ची का अपहरण किया वह छठी कक्षा में पढ़ती है। बच्चों के मिलने पर अभिभावकों ने पुलिस को शुक्रिया कहा। कारोबारी ने बताया कि उनकी किसी ने दुश्मनी नहीं है। बदमाश ने जब उसने फिरौती के 50 लाख रुपये मांगे तो उन्होंने कहा इतनी रकम नहीं है। पांच लाख रुपये ले लो इसपर बदमाश ने कहा वह भिखारी नहीं है।
अपहरण, फिरौती समेत कई धाराओं में प्राथमिकी की है। बदमाश की तलाश में छापेमारी चल रही है। सीसीटीवी कैमरों की फुटेज खंगाली जा रही है। -अपूर्वा गुप्ता, पूर्वी जिला पुलिस उपायुक्त।
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