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Lockdown News: पिछले साल जैसे न हो जाएं हालात, इसलिए बड़े शहरों से अपने घरों को वापस लौट रहे कामगार

Lockdown News महाराष्ट्र के मुंबई-पुणे से उत्तर प्रदेश बिहार और झारखंड जाने वाली ट्रेनों से आप्रवासी श्रमिकों और अन्य छोटे-मोटे कामकाज करने वालों का घर लौटना जारी है। इनमें ज्यादातर कोरोना की वजह से काम-धंधा नहीं मिलने और लाकडाउन के खौफ के कारण वापस घर जा रहे हैं।

By Vinay Kumar TiwariEdited By: Updated: Tue, 13 Apr 2021 12:15 PM (IST)
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एक रेलवे स्टेशन के बाहर कतार में रहने की हिदायत देता एक पुलिसकर्मी’ रायटर
जागरण टीम, नई दिल्ली। Lockdown: महाराष्ट्र के मुंबई-पुणे से उत्तर प्रदेश, बिहार और झारखंड जाने वाली ट्रेनों से आप्रवासी श्रमिकों और अन्य छोटे-मोटे कामकाज करने वालों का घर लौटना जारी है। इनमें ज्यादातर कोरोना की वजह से काम-धंधा नहीं मिलने और लाकडाउन के खौफ के कारण वापस घर जा रहे हैं। कई लोग परिवार में शादी के चलते और कई खेती के कामों के लिए भी घर लौट रहे हैं। हालांकि ज्यादातर आप्रवासियों का कहना है कि यदि मुंबई और पुणो जैसे शहरों में ठीक-ठाक काम मिल रहा होता तो शायद वापस नहीं जाते।

दोगुना किराया चुकाकर जा रहे घर

मध्य प्रदेश और महाराष्ट्र की सीमा पर स्थित बड़वानी जिले से होते हुए पिछले कई दिनों से श्रमिक उत्तर प्रदेश और बिहार जा रहे हैं। आपदा के समय में भी इनसे बस वाले दो से ढाई गुना अधिक किराया ले रहे हैं। पुणो में गैरेज पर काम करने वाले विजय मौर्य ने बताया कि दिक्कतें बढ़ने लगीं तो पत्नी को लेकर उत्तर प्रदेश के सिद्धार्थनगर स्थित अपने घर जा रहे हैं।

रविवार दोपहर तीन बजे भोपाल स्टेशन से गुजरी लोकमान्य तिलक टर्मिनस-गोरखपुर ट्रेन खचाखच भरी थी। गोरखपुर जा रहे 50 वर्षीय फयाजुद्दीन ने बताया कि अभी वह जमीन की नपाई कराने जा रहे हैं। मुंबई में काम मंदा चल रहा है। कोरोना की वजह से जिस तरह का माहौल बना है, उस कारण गांव की जमीन को वह जीवनयापन के विकल्प के रूप में देख रहे हैं।

शादी-विवाह के लिए भी लौट रहे लोग

बड़ी संख्या में आप्रवासी मध्य प्रदेश के झाबुआ जिले से भी होते हुए अपने घरों को जा रहे हैं। हालांकि इनमें से कई के लौटने की वजह कोरोना नहीं है। बस में सफर कर रहे 24 परिवारों में से एक परिवार के मुकेश यादव निवासी गोरखपुर ने बताया कि

उत्तर प्रदेश के कई जिलों के लोग सूरत से प्रयागराज, बस्ती व अन्य जिलों के गांवों व शहरों को जा रहे हैं। कोई खेती के काम से तो कोई परिवार में शादी-विवाह के कारण जा रहा है। उत्तर प्रदेश के बलरामपुर निवासी लालबाबू ने बताया कि मुंबई में मजदूरी करता हूं। वहां आंशिक लाकडाउन है। घर में शादी है, तो सोचा शादी में ही चला जाऊं।

पिछले साल जैसा हाल न हो, इसलिए लौटे बिहार

पुणे स्पेशल ट्रेन से बिहार के दानापुर पहुंचे मधुबनी निवासी विजय कुमार ने कहा कि पिछली दफा दूसरों से मांगकर खाना पड़ा था। जैसे-तैसे ट्रक में खड़े होकर गांव पहुंचे थे। फिर वहां वैसी ही स्थिति है। सोचा कि हालात और खराब हों, इससे पहले गांव पहुंच जाएं। वहीं, पुणो के एक होटल में काम करने वाले विजय कुमार का कहना है कि लोगों को डर है कि लाकडाउन लग जाएगा। इसीलिए गांव लौट रहे हैं। पटना के मीठापुर के रहने वाले प्रेम पुणो में ठेकेदारी करते हैं।

बदतर होते हालात में लौट रहे कामगार

रविवार को कानपुर सेंट्रल स्टेशन पर लोकमान्य तिलक टíमनस से लखनऊ जाने वाली ट्रेन से लौटे यात्रियों ने बताया कि मुंबई के हालात बदतर हो चुके हैं। गोरखपुर में मुंबई स्पेशल ट्रेन से आए 465 यात्रियों में छह पाजिटिव मिले। रेलवे ने गोरखपुर के लिए तीन जोड़ी स्पेशल ट्रेन चलाने की हरी झंडी दे दी है।

मुंबई में लौटने वालों की लगी लाइन

तेजी से कोरोना का संक्रमण बढ़ने के बाद मुंबई से बड़ी संख्या में आप्रवासियों ने अपने घरों को लौटना शुरू कर दिया है। रेलवे स्टेशन पर लंबी-लंबी कतारें देखी जा सकती हैं। सेंट्रल रेलवे ने जीआरपी के समक्ष मुंबई के सीएसएमटी स्टेशन पर अत्यधिक भीड़ वाला संपादित वीडियो जारी करके आम जनता में भय फैलाने का आरोप लगाया है। साथ ही अज्ञात व्यक्ति के खिलाफ आइपीसी की विभिन्न धाराओं के तहत केस दर्ज किया है।

उल्लेखनीय है कि विगत सात अप्रैल को सीएसएमटी रेलवे स्टेशन पर अत्यधिक भीड़भाड़ वाले फेक वीडियो सोशल मीडिया पर डाले गए थे। सेंट्रल रेलवे ने अपने आदेश में कहा कि सीएसएमटी रेलवे स्टेशन पर एक यात्री ने एक फर्जी वीडियो जारी किया था जिसमें बेतहाशा भीड़भाड़ दिखाई गई थी। यह वीडियो वायरल हो गया था।

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