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कमला हैरिस बन सकती हैं डीयू दीक्षा समारोह की मुख्य अतिथि

डीयू ने उपराष्ट्रपति एम वेंकैया नायडू को दीक्षा समारोह का आमंत्रण भेजा था। उपराष्ट्रपति कार्यालय ने हाल ही में डीयू से संपर्क किया और कहा कि अमेरिकी उपराष्ट्रपति फरवरी के आखिरी दो दिन भारत में आधिकारिक दौरे पर रहेंगी।

By Prateek KumarEdited By: Updated: Wed, 03 Feb 2021 09:29 AM (IST)
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फरवरी में आधिकारिक दौरे पर रहेंगी अमेरिकी उपराष्ट्रपति हैरिस।

नई दिल्ली, संजीव कुमार मिश्र। दिल्ली विश्वविद्यालय 27 फरवरी को दीक्षा समारोह आयोजित करेगा। उच्च पदस्थ सूत्रों की मानें तो अमेरिकी उपराष्ट्रपति कमला हैरिस दीक्षा समारोह की मुख्य अतिथि हो सकती हैं। डीयू ने उपराष्ट्रपति कार्यालय के जरिये अमेरिका की पहली महिला उपराष्ट्रपति को आधिकारिक निमंत्रण भेजने की प्रक्रिया शुरू कर दी है।

डीयू ने उपराष्ट्रपति एम वेंकैया नायडू को दीक्षा समारोह का आमंत्रण भेजा था। उपराष्ट्रपति कार्यालय ने हाल ही में डीयू से संपर्क किया और कहा कि अमेरिकी उपराष्ट्रपति फरवरी के आखिरी दो दिन भारत में आधिकारिक दौरे पर रहेंगी। डीयू देश का प्रतिष्ठित शैक्षणिक संस्थान है। दीक्षा समारोह में कमला हैरिस को आमंत्रित करना चाहिए।

उपराष्ट्रपति कार्यालय से सुझाव मिलते ही डीयू ने दीक्षा समारोह की तैयारियों की नए सिरे से समीक्षा की। सूत्रों ने बताया की डीयू अमेरिकी उपराष्ट्रपति का स्वागत करने के लिए तैयार है। उपराष्ट्रपति कार्यालय के जरिये अब आधिकारिक आमंत्रण की प्रक्रिया चल रही है।

डीयू का यह दीक्षा समारोह पहले होने वाले समारोहों की तुलना में छोटे स्तर पर होगा। इसमें केवल शीर्ष वरीयता पाने वाले छात्रों को ही बुलाया जाएगा, जिनकी संख्या करीब 160 से 170 होगी। जबकि पहले इनके अलावा लगभग 700 पीएचडी छात्र और उनके अभिभावकों को भी बुलाया जाता था। समारोह का लाइव प्रसारण भी होगा, ताकि छात्र घर बैठे इसे देख सकें और मुख्य अतिथि सहित बाकी वक्ताओं का संबोधन सुन सकें।

कालेजों में कम पहुंचे छात्र

इधर, करीब दस महीने बाद दिल्ली विश्वविद्यालय के कालेज खुले। कोरोना काल में पहली बार छात्रों ने कालेज परिसर में कदम रखा। कालेजों के प्रवेश द्वार पर सैनिटाइजर की व्यवस्था थी तो वहीं प्रयोगशालाओं और पुस्तकालयों में दो गज दूरी का पालन किया गया। हालांकि पहले दिन कालेजों में छात्रों की उपस्थिति बहुत कम रही। कई कालेजों में तो न के बराबर छात्र पहुंचे। कई कालेजों ने छात्रों की कम संख्या के पीछे सोमवार को दिल्ली के विभिन्न इलाकों में लगे जाम को भी वजह बताया।

रामजस कालेज के प्राचार्य मनोज खन्ना ने बताया कि पहले दिन प्रयोगशाला में अपेक्षाकृत कम ही छात्र आए। भौतिक विज्ञान के 2, रसायन विज्ञान के 1 और वनस्पति विज्ञान और जीव विज्ञान में 3-3 छात्र आए थे। कोविड-19 प्रोटोकाल का पालन कराते हुए छात्रों को प्रयोगशालाओं में प्रवेश की अनुमति दी गई। वहीं मिरांडा हाउस कालेज प्राचार्या डॉ बिजयालक्ष्मी नंदा ने कहा कि पहले दिन 30 से अधिक छात्रएं ही कालेज आयीं। हालांकि इससे अधिक छात्रओं का कालेज आना तय था लेकिन ट्रैफिक जाम में फंसने की वजह से पहुंच नहीं पायी। कई छात्रओं ने शिक्षकों से बातचीत भी की। पहले दिन विज्ञान विषय की ही अधिकतर छात्रएं थी जो प्रैक्टिकल के लिए आयी थी।

बकौल बिजयालक्ष्मी 14 फरवरी के बाद छात्रओं की संख्या बढ़ने का अनुमान है। वहीं शिक्षकों की उपस्थिति सौ फीसद रही। शिक्षकों ने कालेज से ही प्रथम व द्वितीय वर्ष की छात्रओं को आनलाइन ही पढ़ाया। रामानुजन कालेज प्रशासन ने बताया कि पहले दिन करीब सौ छात्र आए थे। हालांकि इसके पीछे वो कालेज में ओरिएंटेशन डे प्रोग्राम को वजह मानते हैं। प्रोग्राम में शिरकत करने के लिए भी काफी छात्र आए थे। प्राचार्य की मानें पहले दिन प्रयोगशाला के मुकाबले पुस्तकालय प्रयोग करने वाले छात्रों की तादात ज्यादा थी।

डीयू के कालेजों में प्रवेश द्वार, प्रयोगशाला, पुस्तकालय के बाहर टच फ्री सैनिटाइजर मशीने लगाई गई थी। छात्रों के प्रवेश से पहले कालेज को सैनिटाइज किया गया। छात्रों की सहुलियत के लिए प्रयोगशाला के बाहर एक रजिस्टर रखा था, जिसमें छात्रों को अपना नाम, कक्षा, रोल नंबर समेत उनके प्रवेश-निकास का समय लिखना था। कालेज में प्रवेश के पहले छात्रों की थर्मल स्क्रीनिंग की गई। अंतिम वर्ष के छात्र अनिमेष ने बताया कि नार्थ कैंपस तक पहुंचने के लिए करीब दो घंटे जाम में जूङो। वो पूर्वी दिल्ली से एक सहपाठी के साथ बाइक से आ आए।

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