Move to Jagran APP

फीस वृद्धि पर अंतरिम राहत देने से हाई कोर्ट का इन्कार

सरकारी भूमि पर बने निजी स्कूलों को हाई कोर्ट से फिलहाल राहत नहीं मिलनी वाली। मंगलवार को फीस वृद्धि के मामले में थोड़ा राहत देने की कुछ स्कूलों की मांग को भी दिल्ली हाई कोर्ट ने खारिज कर दिया। याचिका पर अगली सुनवाई

By JagranEdited By: Updated: Wed, 29 May 2019 06:24 AM (IST)
Hero Image
फीस वृद्धि पर अंतरिम राहत देने से हाई कोर्ट का इन्कार

जागरण संवाददाता, नई दिल्ली :

सरकारी भूमि पर बने निजी स्कूलों को हाई कोर्ट से फिलहाल राहत नहीं मिलने वाली। मंगलवार को फीस वृद्धि के मामले में थोड़ी राहत देने की कुछ स्कूलों की मांग को भी दिल्ली हाई कोर्ट ने खारिज कर दिया। याचिका पर अगली सुनवाई 8 जुलाई को होगी। तबतक फीस वृद्धि पर रोक जारी रहेगी।

सुनवाई के दौरान स्कूलों ने तर्क दिया कि 12वीं कक्षा के बाद स्कूल छोड़ रहे बच्चों से उन्हें एरियर के रूप में फीस वृद्धि लेने की अनुमति दी जाए। हालांकि, पीठ स्कूलों की तरफ से दिए गए तर्क से सहमत नहीं हुआ। हाई कोर्ट ने कहा था कि स्कूलों को जवाबदेह होना होगा। पीठ ने टिप्पणी की कि स्कूलों के पास जो भी रुपया है वह करदाता का है।

इससे पहले पिछली तारीख पर दिल्ली सरकार ने शपथ पत्र दाखिल कर कहा था कि सरकारी जमीन पर बने 364 में से 266 निजी स्कूलों में 7वें वेतन आयोग की सिफारिशों के तहत अपने शिक्षकों व कर्मचारियों को वेतन व भत्ता देने के लिए 266 स्कूलों ने फीस बढ़ाने की अनुमति मांगी। इनमें से 34 स्कूलों से शुल्क बढ़ाने के लिए दाखिल अपनी अर्जी शिक्षा निदेशालय से वापस ले ली। सरकार ने कहा है कि बाकी के 232 स्कूलों के खातों की जांच के बाद 167 स्कूलों की फीस बढ़ाने की मांग खारिज कर दी गई।

सरकार ने 17 अक्टूबर 2017 को 7वें वेतन आयोग की सिफारिशों के तहत शिक्षकों व कर्मचारियों को वेतन-भत्ता व अन्य लाभ देने के लिए सरकारी जमीन पर बने निजी स्कूलों को 15 फीसद तक फीस बढ़ाने की अनुमति दी थी। लेकिन, 13 अप्रैल 2018 को सरकार ने फीस बढ़ाने की अनुमति देने वाले अपने आदेश को वापस ले लिया था।

आपके शहर की हर बड़ी खबर, अब आपके फोन पर। डाउनलोड करें लोकल न्यूज़ का सबसे भरोसेमंद साथी- जागरण लोकल ऐप।