Haryana Elections 2024: भजन व चौटाला को ‘चेला’ बनाने को तैयार नहीं कोई ‘गुरु’; सदन में रामबिलास शर्मा ने यह क्यों कहा?
Haryana Vidhan Sabha Election 2024 हरियाणा गठन के बाद आंदोलनों का लंबा इतिहास है। 1996 में बंसी लाल की सरकार के दौरान आंदोलन में कुछ किसान मारे गए। सरकार पर दबाव बनाने के लिए विपक्ष काम रोको प्रस्ताव लाया। पूर्व सीएम ओमप्रकाश चौटाला से लेकर कांग्रेसी नेताओं ने सुर में सुर मिलाते हुए घेरने का काम किया। सत्ता पक्ष ने मजबूती से अपनी बात रखी। पढ़िए तब का किस्सा...
अमित पोपली, झज्जर। सदन में चल रही चर्चा में अब विपक्ष हावी हो रहा था। पूर्व सीएम ओमप्रकाश चौटाला, धीरपाल सिंह, करतारी देवी सरकार से जवाब मांग रहे थे। इसी बीच सरकार से मोर्चा संभालते हुए जन स्वास्थ्य मंत्री जगन्नाथ ने कहा कि चौटाला 16 फरवरी को देख लेने की बात कह रहे हैं।
मैं इनको याद दिलाने के लिए यह बताना चाहता हूं कि 96 के विधानसभा चुनाव में इन्होंने मुंढ़ाल गांव में जीटी रोड पर कहा था कि तोशाम से अगर बंसी लाल जीत गया तो मैं राजनीति से संन्यास ले लूंगा।
इसी प्रकार से इन्होंने झज्जर विधानसभा क्षेत्र में कहा- यदि विकास पार्टी यहां से जीत गई तो मैं संन्यास ले लूंगा। अब मैं इनसे जानना चाहता हूं कि ये संन्यास लेंगे या नहीं।
अपने मंत्री की बात को आगे बढ़ाते हुए उस वक्त के शिक्षा मंत्री रामबिलास शर्मा भी बोलने के लिए खड़े हुए और तंज कसते हुए कहा- जब तक कोई गुरु नहीं होगा तो किसी को संन्यास कैसे मिलेगा।चौधरी भजन लाल और चौटाला साहब को कोई गुरु अपना चेला ही बनाने के लिए तैयार नहीं है। जब तक कोई अच्छा गुरु न मिल जाए तो ये संन्यास कैसे लेंगे? इसके बाद वहां सदन में शोर होने लगा।
चौटाला बोले- इनकी जनसभा में नहीं रुकती जनता
आमने-सामने की बनी स्थिति में पूर्व मुख्यमंत्री ओमप्रकाश चौटाला को कांग्रेस का साथ मिल रहा था। वहीं उन्होंने लीडर ऑफ दी हाउस से कहा-आपको तब पता चलेगा जब आप लोगों के बीच में जाएंगे। क्योंकि, जब ये किसी जनसभा में बोलने के लिए खड़े होते हैं तो जनता उठकर चली जाती है। इनकी यह स्थिति है।