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चुनावी रेट कार्ड: समोसा, बिरयानी, मटन-चिकन और चाय की कीमतें तय, जानें- कहां कितने रुपये खर्च कर सकेंगे प्रत्याशी

Lok Sabha Election 2024 लोकसभा चुनाव में उम्मीदवारों को तय सीमा के अंदर ही अपने खर्चों का प्रबंधन करना होगा। अब जिला चुनाव पैनल ने खाने-पीने की चीजों की कीमतों को तय करना शुरू कर दिया है। क्षेत्र के आधार पर इनकी कीमतों को निर्धारित किया गया है। खबर में आप देश के विभिन्न इलाकों का रेट कार्ड देख सकते हैं।

By Jagran News Edited By: Ajay Kumar Updated: Fri, 29 Mar 2024 04:26 PM (IST)
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लोकसभा चुनाव 2024: चाय-समोसा समेत इन वस्तुओं की कीमतें तय।
पीटीआई, नई दिल्‍ली। लोकसभा चुनाव का बिगुल बज चुका है। देश के कई हिस्सों में प्रत्याशियों ने अपना प्रचार अभियान भी शुरू कर दिया है। इस बीच, जिला चुनाव पैनल ने चुनाव खर्च की निगरानी प्रक्रिया के तहत कुल खर्च की दरों को तय करना शुरू कर दिया है। 

बता दें कि देश की 543 लोकसभा सीटों पर सात चरणों में मतदान होगा। 19 अप्रैल को पहले चरण के अंतर्गत 102 सीटों पर मतदान होना है। मतगणना चार जून को होगी। नामांकन के बाद से प्रत्याशियों को खर्च का पूरा ब्योरा रखना होगा।

जालंधर में 15 रुपये होगी चाय की कीमत

सार्वजनिक बैठकों और प्रचार अभियान के दौरान उम्मीदवार अगर लोगों को चाय और समोसा खिलाना-पिलाना चाहता है तो इसके लिए भी दाम तय कर दिए गए हैं। पंजाब के जालंधर में एक उम्मीदवार एक कप चाय पर 15 रुपये और एक समोसे पर भी इतने ही रुपये खर्च कर सकता है।

मध्य प्रदेश के मंडला में एक कप चाय की कीमत सात रुपये और समोसे की कीमत 7.50 रुपये तय की गई है। ध्यान रखने वाली बात यह है कि प्रत्याशियों को अपने खर्च का प्रबंधन निर्धारित सीमा के अंदर ही करना होगा।

 मटन और  चिकन की कीमत कितनी?

पंजाब के जांलधर में छोले भटूरे की कीमत 40 रुपये तय की गई है। वहीं मटन और चिकन की कीमत क्रमश: 250 और 500 रुपये प्रति किलोग्राम होगी। मेन्‍यू में शामिल डोडा मिठाई की कीमत 450 रुपये प्रति किलोग्राम और घी की पिन्नी का मूल्य 300 रुपये प्रति किलोग्राम तय किया गया है। लस्सी 20 और निंबू पानी 15 रुपये प्रति गिलास।

मप्र: बालाघाट का ये है रेट कार्ड

मध्य प्रदेश के बालाघाट के रेट कार्ड में चाय की कीमत पांच रुपये से कम है, लेकिन समोसे की कीमत 10 रुपये से अधिक है। बालाघाट रेट कार्ड में इडली, सांभर वड़ा और पोहा-जलेबी की कीमत भी 20 रुपये है। वहीं डोसा और उपमा की कीमत 30 रुपये तय की गई है।

मणिपुर: रेट लिस्ट में फिश भी शामिल

हिंसा प्रभावित मणिपुर के थौबल जिले में चाय, समोसा, कचौरी, खजूर (खजूर) और गाजा (मिठाई) की कीमत 10 रुपये रखी गई है। टेंग्नौपाल जिले में उम्मीदवारों को काली चाय के लिए पांच रुपये और दूध वाली चाय के लिए 10 रुपये का भुगतान करना होगा। वहीं बत्तख और सूअर के मांस की कीमत क्रमशः 300 और 400 रुपये प्रति किलोग्राम तय की गई है। चिकन (ब्रॉयलर) और रोहू, मृगल और सारेंग जैसी मछलियाँ को भी सूची में शामिल किया गया है।

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चेन्नई: घटी चिकन बिरयानी की कीमत

चेन्नई में चाय की कीमत 10 रुपये से बढ़ाकर 15 रुपये और कॉफी की कीमत 15 रुपये से बढ़ाकर 20 रुपये की गई है, जबकि चिकन बिरयानी की कीमत 2019 की तुलना में 180 रुपये से घटाकर 150 रुपये प्रति पैकेट कर दी गई है।

हरियाणा और गोवा में ये कीमतें तय

उत्तरी गोवा में उम्मीदवार 15 रुपये में बटाटा वड़ा खा सकते हैं। चाय की कीमत 15 रुपये तय की गई है। वहीं कॉफी की कीमत 20 रुपये होगी। हरियाणा के जींद में उम्मीदवार 300 रुपये में तंदूर किराये पर ले सकते हैं। वहीं दाल मखनी और मिक्स वेज जैसे व्यंजन 130 रुपये में उपलब्ध हैं जबकि मटर पनीर की कीमत 160 रुपये रखी गई है। बटर नान, मिस्सी रोटी और सादी रोटी, काजू कतली और गुलाब जामुन को सूची में शामिल किया गया है।

टोपी, झंडे और फूल माला भी रेट कार्ड में

रेट कार्ड में महंगे बुनियादी ढांचे जैसे हेलीपैड, लक्जरी वाहन और फार्महाउस से लेकर फूल माला, गुलदस्ते, कूलर, टॉवर एसी, टोपी, झंडे और सोफा जैसी विविध वस्तुओं को शामिल किया गया है। रेट कार्ड में प्रचार के लिए टाटा सफारी या स्कॉर्पियो से लेकर होंडा सिटी और जनता को रैली तक ले जाने के लिए बस और विभिन्न वाहनों के किराये पर लेने की दरों को निर्धारित किया गया है। रेट कार्ड में प्रचार सामग्री को भी शामिल किया गया है।

यह है प्रत्याशियों के खर्च की सीमा

आंध्र प्रदेश समेत अधिकांश राज्यों में लोकसभा प्रत्याशी की खर्च सीमा 95 लाख रुपये निर्धारित है। मगर अरुणाचल प्रदेश, गोवा और सिक्किम में यह सीमा 75 लाख रुपये है। वहीं केंद्र शासित प्रदेशों में उम्मीदवारों के व्यय की सीमा क्षेत्र के आधार पर 75 लाख से 95 लाख रुपये तक है।

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