Bollywood Films with South Culture: कभी मीनम्मा, कभी येंतम्मा! जब बॉलीवुड फिल्मों में दिखी दक्षिण की झांकी
Bollywood Films with South Culture सिनेमा वह जगह है जिसे चलती हुई तस्वीरों और चित्रों का कारखाना कहा जाता है। हिंदी फिल्म इंडस्ट्री में दूसरे कल्चर को दिखाते हुए कई फिल्में बनी हैं। इनमें दक्षिण भारत के कल्चर को भी प्रमुखता से दिखाया गया है।
By Karishma LalwaniEdited By: Karishma LalwaniUpdated: Mon, 17 Apr 2023 06:11 PM (IST)
नई दिल्ली, जेएनएन। हिंदी फिल्म इंडस्ट्री में पिछले कई वर्षों से तमाम सब्जेक्ट्स पर फिल्में बनती आई हैं। दर्शकों के मनोरंजन को बनाए रखने के लिए मेकर्स फिल्म की कहानी में कई तरह के एक्सपेरिमेंट करते हैं। वहीं, पिछले कुछ वर्षों में बॉलीवुड में ऐसी फिल्में बनी हैं, जिनमें दक्षिण राज्य के कल्चर को प्राथमिकता से दिखाया गया है।
चाहे सिर्फ एक गाना हो या सीन, हिंदी स्ट्रीम की कई फिल्मों में दक्षिण भारत की संस्कृति को बखूबी दिखाया गया है। इन फिल्मों ने बॉक्स ऑफिस पर अच्छा प्रदर्शन तो किया ही, साथ ही लोगों के मन में भी गहरी छाप छोड़ी।
'येंतम्मा' में सलमान का अलग अवतार
21 अप्रैल को ईद के मौके पर 'किसी का भाई किसी की जान' रिलीज होने वाली है। सलमान खान और पूजा हेगड़े को लीड रोल में लेते हुए बनी इस फिल्म में नॉर्थ के साथ ही साउथ जोन की भी झलक दिखाई गई है। फिल्म के सॉन्ग 'येंतम्मा' में सलमान को टिपिकल साउथ इंडियन अवतार में देखा जा सकता है।मगर यह बॉलीवुड की पहली मूवी नहीं है, जिसकी कहानी दक्षिण की संस्कृति को ध्यान में रखते हुए गढ़ी गई हो। इससे पहले भी मेकर्स ने एक्शन-रोमांटिक हिंदी फिल्मों में साउथ कल्चर की झलक दिखाई है। आइये जानते हैं ऐसी ही उन फिल्मों के बारे में।
चेन्नई एक्सप्रेस
'चेन्नई एक्सप्रेस' गोवा के राहुल (शाह रुख खान) और साउथ की मीनम्मा (दीपिका पादुकोण) की कहानी है। 2013 में आई यह फिल्म ब्लॉकबस्टर फिल्म साबित हुई थी। कॉमेडी, लव एंगल और एक्शन से भरपूर रोहित शेट्टी के निर्देशन में बनी इस फिल्म में दीपिका पादुकोण साउथ इंडियन गर्ल बनी थीं। उनके कैरेक्टर का नाम 'मीनम्मा लोचनी अज्हगुसुन्दाराम' था।
फिल्म में शाह रुख और दीपिका के बीच फिल्माए गए सीन में कई ऐसे दृश्य हैं, जहां दीपिका टिपिकल साउथ इंडियन भाषा बोलती नजर आती हैं। बॉक्स ऑफिस पर इस फिल्म ने रिकॉर्डतोड़ कमाई तो की ही, दर्शकों को नॉर्थ और साउथ के फ्लेवर में कॉमेडी और एंटरटेनमेंट से भरपूर एक ऐसी फिल्म मिली, जिसकी कहानी कभी बोर नहीं करती।