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Shah Rukh Birthday: शाह रुख की वो फिल्में जिसके बाद वह बने रियल हीरो, आज भी देखना चाहते हैं लोग

Shah Rukh Khan Birthday शाह रुख खान ने बतौर एक्टर खुद को मील का पत्थर साबित किया है। उनके जन्मदिन पर हम ऐसी ही कुछ फिल्मों के बारे में बताएंगे जिसमें उन्होंने अपनी छवि को बदलने का प्रयास किया था।

By Karishma LalwaniEdited By: Updated: Wed, 02 Nov 2022 12:09 PM (IST)
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File Photos of Actor Shah Rukh Khan
नई दिल्ली, जेएनएन। Shah Rukh Birthday: फिल्म इंडस्ट्री के 'बादशाह' शाह रुख खान का स्टारडम लोगों के सिर चढ़कर बोलता है। यह वह स्टार है, जिसकी पूरी दुनिया दीवानी है। शाह रुख पहली ही मूवी से वह अभिनेता बन कर उभरे, जिनका स्टारडम हर फिल्म से बढ़ता चला गया। उन्होंने अलग जॉनर की कई फिल्में की हैं, जिसमें उन्होंने अपनी अदायगी से साबित किया है कि क्यों वह सभी जेनरेशन के दिलों पर राज करते हैं। लेकिन उनकी कुछ फिल्में ऐसी भी रही हैं, जिसमें एक एक्टर के तौर पर उन्होंने अपनी छवि बदलने का प्रयास किया था। इसमें उन्होंने खुद को सुपरस्टार नहीं बनाया बल्कि सिर्फ एक एक्टर बने रहे। आज इस एक्टर का 57वां जन्मदिन है। ऐसे मौके पर उनकी ऐसी ही कुछ फिल्मों के बारे में बात करेंगे।

स्वदेश

यह शाह रुख खान के करियर की वह फिल्म है, जो हिंदी सिनेमा में मील का पत्थर साबित हुई थी। यह वह फिल्म थी, जिसमें न तो ग्लैमर था और न ही टिपिकल फिल्मों जैसी चमक। लेकिन शाह रुख के सादगी भरे कैरेक्टर (मोहन भार्गव) ने फिल्म में वो जान डाली, जो ठीक-ठाक संख्या में दर्शकों को सिनेमाघरों तक लाने में कामयाब रही। फिल्म एनआरआई सांटिस्ट के घर वापसी की कहानी है, जो एक गांव को केंद्रित करके दिखाई गई है। इसमें शाहरुख नासा में प्रोजेक्ट मैनेजर बने होते हैं, जो गांव आता है और कई सच्चाई से उसका सामना होता है। मोहन भार्गव नाम का किरदार 'डीडीएलजे' के राज आ 'कुछ-कुछ होता है' के राहुल से बिलकुल अलग था। बिना ग्लैमर वाली इस फिल्म में शाह रुख ने अपनी एक्टिंग का वो जादू दिखाया था, जो साबित करता है कि वह सिर्फ रोमांटिक रोल ही नहीं, बल्कि हर तरह के किरदार में फिट बैठ सकते हैं। यह उनका अब तक का सबसे सरल किरदार वाला रोल था।

चक दे इंडिया

भारतीय सिनेमा की सबसे बेहतरीन और सम्मानित फिल्मों में से एक 'चक दे इंडिया' को रिलीज हुए 15 साल हो गए हैं। ग्लैमर की दुनिया के बादशाह कहे जाने वाले एसआरके ने इस मूवी के जरिये अपनी अदायगी का अलग पहलू दिखाया था। फिल्म में कबीर खान नाम के स्टार हॉकी प्लेयर की भूमिका निभाई, जो बाद में टीम से बाहर होने के बाद महिला हॉकी टीम के कोच बन गए। बतौर कोच शाह रुख के कड़क अंदाज की दर्शकों ने खूब तारीफ की थी। मल्टी स्टाररयह फिल्म शाह रुख की उन फिल्मों में से है, जिसमें रोमांस बिलकुल भी नहीं था। बावजूद इसके फिल्म सुपरहिट रही। इसके लिए उन्हें सर्वश्रेष्ठ अभिनेता का पुरस्कार भी मिला था।

माई नेम इज खान

शाह रुख के करियर की सबसे प्रतिष्ठित फिल्मों में से एक है 'माई नेम इज खान।' फिल्म में शाह रुख के शानदार अभिनय की क्रिटिक्स से लेकर हर किसी ने तारीफ की थी। ऑटिस्टिक रिजवान के रूप में किंग खान की भूमिका, जो अपने बेटे की मौत के बाद यूएस के राष्ट्रपति से मिलने के लिए निकल पड़े। फिल्म में वह कई बार कहते हैं 'माई नेम इज खान एंड आई एम नॉट ए टेररिस्ट।' शाह रुख ने अपने किरदार को इतनी खूबसूरती से निभाया कि बिना किसी दया या सहानुभूती के फिल्म दर्शकों को सिनेमाघरों तक खींच लाने में कामयाब रही।

पहेली

'पहेली' हिंदी सिनेमा की उन चुनिंदा फिल्मों में से है, जिसकी कहानी लीक से हटकर थी। हालांकि, फिल्म में रोमांटिक एंगल था, लेकिन यह उस तरह से नहीं दिखाया गया था जैसे उनकी बाकी फिल्मों में रहा है। शाह रुख, भूत बनकर भी दर्शकों का मन मोह लेते हैं। उन्होंने फिल्म में डबल रोल किया था और उनके दोनों किरदार एक दूसरे से बहुत अलग थे। मानो एक ही फिल्म एक एक्टर के तौर पर अपनी छवि बदलने का प्रयास किया हो।

बाजीगर

'बाजीगर' वह फिल्म है, जिसे कई एक्टर्स ठुकरा चुके थे। लेकिन एंटी हीरो वाली इस फिल्म को स्वीकार कर शाह रुख ने एक बार फिर अपनी रोमांटिक हीरो वाली छवि से एक्सपेरिमेंट करने का प्रयास किया था। यह प्रयास सफल भी हुआ था। शाह रुख ने करियर के शुरुआती वर्षों में ही इस फिल्म में निगेटिव रोल स्वीकार किया था। वह यह साबित करने में कामयाब रहे कि न सिर्फ हीरो बल्कि वह विलेन भी कमाल के हैं।

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