Sudhir Mishra अपने स्वतंत्रता सेनानी दादा से प्रेरित वेब सीरीज का करेंगे निर्देशन, किताबों पर बेस्ड होगी सीरीज
सुधीर मिश्रा जल्द ही स्वतंत्रता सेनानी दादा जी और मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री द्वारका प्रसाद मिश्रा से प्रेरित वेब सीरीज का निर्माण करने जा रहे हैं। ये वेब सीरीज उनके द्वारा लिखी किताबों का रूपांतरण होगी। उन्होंने इस सीरीज के लिए किताबों को पढ़ना भी शुरू कर दिया है।
नई दिल्ली, जेएनएन। बॉलीवुड के जाने माने डायरेक्टर और प्रोड्यूसर सुधीर मिश्रा ने कई व्यंग्यपूर्ण कॉमेडी और क्राइम थ्रिलर वेब सीरीजों का निर्माण किया है, लेकिन अब जानकारी आ रही है कि सुधीर मिश्रा एक वेब सीरीज का निर्देशन करने के लिए तैयार नहीं हो रहे हैं, जो उनके दादा, स्वतंत्रता सेनानी द्वारका प्रसाद मिश्र की लिखी किताबों से प्रेरित होगी।
समाचार वेबसाइट मिड डे की खबर के अनुसार सुधीर इस वेब सीरीज के बारे में कहते हैं, ये सीरीज 70 और 80 के दशक पर आधारित है। मेरे दादा डीपी मिश्रा ने कई किताबें लिखी हैं और उन्होंने मेरी मां को भी कई किताबें दी थीं क्योंकि मैं एक फिल्म निर्माता हूं और उन्हें लगता था कि मैं इन किताबों के साथ कुछ कर सकता हूं और मैं उनकी किताबों को फिर से पढ़ रहा हूं, उनका बताया हुआ रस्ता बेहद दिलचस्प था। वो मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री भी थे।
किताबों का रूपांतरण होगी सीरीज
सुधीर ने आगे कहा, ये सीरीज उनके द्वारा लिखी किताबों का ही रूपांतरण होगी। मैं उस वक्त के गवाह के रूप में उनकी बातों को लोगों तक पहुंचाना चाहता हूं। मैं खुशकिस्मत था कि मुझे व्यक्तिगत स्तर पर ऐसे बेजोड़ लोग-छात्रों, राजनेताओं, राइट विंग और लेफ्ट विंग के व्यक्तियों के बारे में पता चला। ये इस दौर की बात है, जब जिंदगी का मतलब अपने माता-पिता से बढ़कर देश प्रेम होता था।
फिल्म निर्माता ने आगे कहा, ये महत्वाकांक्षी है क्योंकि इस विषय को समझने में वक्त लगेगा। दर्शकों के लिए रोमांचक बिट्स को फिल्टर करना थोड़ा मुश्किल है क्योंकि जानकारी बहुत है और ऐसे में लोग अक्सर विषय से भटक जाते हैं। ये मेरी जिम्मेदारी है कि मैं ये देखूं कि ये अच्छी तरह से बने।
ये वेब सीरीज सामाजिक-राजनीतिक ड्रामा से भरी होगी, जिसमें राजनीति पर अधिक जोर दिया जाएगा। क्योंकि ये जनता को प्रभावित करती है और मैं इस सबके बीच रहा हूं, भले ही मैं उनकी किसी भी राजनीतिक विरासत का हिस्सा नहीं हूं। यही वजह है कि मैं इसको निष्पक्ष रूप से देखता हूं।
इन किताबों को लिखा
मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री रहे द्वारका प्रसाद मिश्रा ने लिविंग ए एरा: इंडियाज मार्च टू फ्रीडम, द नेहरू एप्रोच: फ्रॉम डेमोक्रेसी टू मोनोक्रेसी, द पोस्ट नेहरू एरा, लंका की खोज जैसी किताबें लिखी हैं।
दो यारों से की करियर की शुरुआत
आपको बता दें, सुधीर मिश्रा हिंदी फिल्म इंडस्ट्री के एक जानेमाने डायरेक्टर और प्रोड्यूसर के साथ-साथ एक स्क्रिप्ट राइटर भी हैं। उन्होंने कई नामी और बड़ी फिल्मों को निर्देशित किया है। उन्होंने साल 1983 में आई कुंदन शाह की फिल्म जाने भी दो यारो में बतौर असिस्टेंट डायरेक्टर अपने करियर की शुरुआत की।
इसके बाद उन्होंने डायरेक्टर सईद अख्तर मिर्जा और विधु विनोद चोपड़ा के साथ कई फिल्में असिस्टेंट डायरेक्टर भी काम किया। उन्होंने साल 1987 में बतौर डायरेक्टर फिल्म ये वो मंजिल तो नहीं से डेब्यू किया था। इसके बाद उन्होंने इस रात की सुबह नहीं, धारावी, हजारों ख्वाहिशें ऐसी, चमेली, खोया खोया चांद, चमेली, अर्जुन पंडित जैसी फिल्म को भी निर्देशित किया है।
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