300 आउटफिट्स, 2 साल...Heeramandi की 'तवायफों' के कपड़ों में दुनिया देखेगी इतिहास, जानें कौन हैं डिजाइनर्स
संजय लीला भंसाली अपनी फिल्मों में इतिहास को बहुत ही खूबसूरती के साथ दिखाने के लिए जाने जाते हैं। बड़े से बड़े स्टार्स तक उनके साथ काम करने के लिए बेताब रहते हैं। हाल ही में उनकी फिल्म हीरामंडी का ट्रेलर रिलीज हुआ जिसमें एक्टर्स के रॉयल आउटफिट ने भी लोगों का ध्यान खींचा है। इन परिधानों को बनाने में दो साल का वक्त लगा है।
एंटरटेनमेंट डेस्क, नई दिल्ली। संजय लीला भंसाली की ने पीरियड ड्रामा फिल्मों को जिस अंदाज में पर्दे पर दिखाया है, बॉलीवुड में शायद ही कोई वैसा कर पाया है। 'हम दिल दे चुके सनम', 'पद्मावती', 'बाजरीवा मस्तानी' जैसी फिल्मों में अपने डायरेक्शन का करिश्मा दिखाने वाले संजय लीला भंसाली अब 'हीरमांडी' में तवायफों की कहानी दिखाएंगे।
'हीरामंडी' फिल्म का हाल ही में ट्रेलर रिलीज किया गया। ये फिल्म कई एक्टर्स के करियर को नई दिशा देने का काम कर सकती है, तो कुछ ने संजय लीला भंसाली की मूवी से एक्टिंग में दमदार वापसी की है। 'हीरामंडी' पाकिस्तान के कोठे में रहने वालीं तवायफों की कहानी है।
सुर्खियों में 'हीरमांडी' के डिजाइनर आउटफिट्स
फिल्म का ट्रेलर जब से रिलीज हुआ है, तब से सोशल मीडिया पर छाया हुआ है। स्टार्स के डायलॉग के साथ ही सभी के आउटफिट्स ने भी लोगों का ध्यान खींचा है। 'हीरामंडी' की हीरोइनों को 1940 के दशक की महिलाओं का लुक दिया गया है। क्योंकि यह फिल्म आज के जमाने की कहानी है, इसलिए सभी किरदारों के भारतीय परिधान को यूरोपियन टच देकर बनाया गया।
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'हीरामंडी' एक्टर्स के कपड़ों को शाही लुक दिया है रिम्पल और हरप्रीत नरुला ने। इन बहनों ने संजय लीला भंसाली की 'पद्मावती' से डिजाइनिंग करियर की शुरुआत की थी। 'हीरामंडी' कास्ट के लिए भी रॉयल आउटफिट्स भी इन्होंने ही डिजाइन की है।
2 साल में बनकर तैयार हुए शाही आउटफिट्स
लाइफस्टाइल एशिया इंडिया को दिए इंटरव्यू में रिम्पल और हरप्रीत नरुला ने खुलासा किया कि 'हीरामंडी' कास्ट के आउटफिट्स को दो साल में तैयार किया गया है। 300 से ज्यादा कपड़े डिजाइन सिर्फ इस फिल्म के लिए डिजाइन किए गए हैं।संजय लीला भंसाली इन कपड़ों में रॉयलटी के साथ ही समृद्धि और वास्तविकता दिखाना चाहते थे। रिम्पल और हरप्रीत ने आउटफिट डिजाइन करने के लिए काफी रिसर्च की थी। आउटफिट को यूरोपियन प्रिंट देकर उस पर जरदोसी का काम और फुलकारी कढ़ाई की गई है।