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विदेशी फुटबॉलर ने बनाया ऊँ नम: शिवाय का टैटू, पर की यह बड़ी गलती

हालांकि, शायद टैटू बनाने वाले और खुद वॉल्कोट को इस मंत्र का अर्थ मालूम नहीं था, इसलिए टैटू बनाने में कुछ गलती भी हो गई है।

By Bharat SinghEdited By: Updated: Fri, 11 Aug 2017 02:26 PM (IST)
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विदेशी फुटबॉलर ने बनाया ऊँ नम: शिवाय का टैटू, पर की यह बड़ी गलती

नई दिल्ली, जेएनएन। आर्सेनल के स्टार फुटबॉलर थियो वॉल्कोट इन दिनों भारत में सोशल मीडिया की सुर्खियां बने हुए हैं। इसकी वजह उनका एक खास टैटू है। वॉल्कोट ने अपने ट्विटर अकाउंट पर अपना नया टैटू दिखाया है। 

यह टैटू हिंदू धर्म से प्रभावित है। वॉल्कोट ने अपनी पीठ पर 'ओम नम: शिवाय' मंत्र का टैटू गुदवाया है। फुटबॉल के बड़े टूर्नामेंट में से एक इंग्लिश प्रीमियर लीग 2017-18 शुरू होने को है और वॉल्कोट ने इस लीग से पहले अपने फैन्स के सामने इस नए टैटू का खुलासा किया है।

इस बार आर्सेनल इस खिताब को अपने नाम जरूर करना चाहेगा और टूर्नामेंट में पहले से बेहतर प्रदर्शन करने के लिए वह तैयारियों में जुटा हुआ है। पिछले सीजन में आर्सेनल छठे स्थान पर रहा था। वैसे आर्सेनल लीग का खिताब जीतेगा या नहीं यह तो आने वाला वक्त ही बताएगा, लेकिन फिलहाल अपने इस नए टैटू से वॉल्कोट ने भारतीय फैन्स का दिल जरूर जीत लिया है। 

हिंदू धर्म के अनुसार, 'ऊँ नम: शिवाय' शिव की आराधना के लिए बोला जाता है। वॉल्कोट ने इस मंत्र की तस्वीर शेयर करने के साथ कैप्शन भी लिखा है। उन्होंने ट्वीट किया, 'अपना दिल खोलिए। डर, नफरत और घृणा को अपने से दूर कीजिए। इससे आपको स्थायी खुशी और आनंद मिलेगा।'

हालांकि, शायद टैटू बनाने वाले और खुद वॉल्कोट को इस मंत्र का अर्थ और लिखने का तरीका मालूम नहीं था, इसलिए टैटू बनाने में कुछ गलती भी हो गई है। 

टैटू का डिजाइन बनवाने के लिए उन्होंने नम: शब्द के अंत में लगे विसर्ग (:) और शिवाय के श में लगी मात्रा (इ की) को आपस में मिला दिया है। चूंकि विसर्ग (:) अपने आप में कोई पूर्ण वर्ण नहीं होता, इसलिए उसे शब्द से अलग नहीं किया जा सका। न ही किसी शब्द में लगी मात्रा को उस शब्द से अलग करके उस शब्द का कोई अर्थ रह जाता है, इसलिए यह व्याकरण की दृष्टि से गलत बैठता है। 

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