घरवाले युवती के अंतिम संस्कार की कर रहे थे तैयारी, तभी पुलिस आई और उठा ले गई शव
किसी ने युवती की संदिग्ध परिस्थिति में मौत होने की सूचना पुलिस कंट्रोल रूम में दी थी। इसके बाद पुलिस अलर्ट हुई। तभी पुलिस आई और कहा कि किसी ने कंट्रोल रूम में शिकायत दी है कि सोनिया की हत्या कर गई है। इसके बाद पुलिस सोनिया के शव को बीके अस्पताल ले गई। आरोप था कि उसे जहर देकर मारा गया है।
जागरण संवाददाता, फरीदाबाद। एनआईटी दो नंबर में मानसिक व शारीरिक रूप से दिव्यांग 32 वर्षीय युवती की मौत हो गई। स्वजन उसके अंतिम संस्कार के लिए शव वाहन में ले जाने लगे। तभी पुलिस आई और युवती के शव का बादशाह खान अस्पताल में पोस्टमार्टम कराया। पोस्टमार्टम रिपोर्ट में युवती की मौत का कारण सामान्य आया।
सूचना पर पहुंच गई पुलिस
तब उसके शव को स्वजन के हवाले किया गया। बता दें किसी ने युवती की संदिग्ध परिस्थिति में मौत होने की सूचना पुलिस कंट्रोल रूम में दी थी। इसके बाद पुलिस अलर्ट हुई। युवती के मौसेरे भाई कमल ने बताया कि उसकी मौसी की बेटी सोनिया थी। वह जन्म से ही मानसिक व शारीरिक रूप से दिव्यांग थी। सोनिया के भाई की वर्ष 2016 में भाई दीपक की ट्रेन की चपेट में आने से मौत हो गई थी।
अंतिम संस्कार की तैयारी में लगे थे स्वजन
दीपक भी मानसिक रूप से दिव्यांग था। 2017 में सोनिया के पिता रमेश की बीमारी के चलते मौत हुई। इसके बाद उसकी माता प्रेमा की पिछले साल कैंसर के चलते मौत हुई। सोनिया भी काफी समय से बीमार चल रही थी। कमल के अनुसार अदालत से उसकी देख-रेख की अनुमति ली हुई थी। बुधवार को सोनिया की अचानक तबीयत बिगड़ गई और उसकी मौत हो गई। वह सोनिया को अंतिम संस्कार के लिए ले जाने लगे।तभी पुलिस आई और कहा कि किसी ने कंट्रोल रूम में शिकायत दी है कि सोनिया की हत्या कर गई है। इसके बाद पुलिस सोनिया के शव को बीके अस्पताल ले गई। एनआइटी दो नंबर पुलिस चौकी प्रभारी पंकज ने बताया कि सोनिया के अन्य स्वजन ने आरोप लगाया था कि उसे जहरीला पदार्थ दिया गया होगा।इतना ही नहीं पिछले साल जब सोनिया की मां की मौत हुई थी तब भी शक जाहिर किया गया था, जबकि ऐसा कुछ सामने नहीं आया है। आरोप लग रहे थे कि सोनिया की प्रापर्टी हड़पने के लिए उसे मारा गया है। सोनिया के नाम एक नंबर में एक मकान है।