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Dwarka Expressway से एम्स झज्जर की राह होगी आसान, लाखों लोगों को होंगे ये फायदे; ई-भूमि नीति का होगा इस्तेमाल

द्वारका एक्सप्रेस-वे से झज्जर जिले के बाढ़सा में अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) की राह आसान करने के लिए छह लेन का रोड बनाने की योजना तैयार की गई है। इससे गुरुग्राम के लोगों को एम्स तक जाने का रास्ता सुगम हो जाएगा। सरकार ने इस सड़क निर्माण के लिए किसानों की जमीन अधिग्रहण न कर ई-भूमि नीति के तहत मोलभाव कर खरीदने की योजना बनाई है।

By Vinay TrivediEdited By: Pooja TripathiUpdated: Wed, 25 Oct 2023 06:36 PM (IST)
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द्वारका एक्प्रेस-वे से एम्स बाढ़सा जाना होगा आसान।

महावीर यादव, बादशाहपुर। द्वारका एक्सप्रेस-वे से झज्जर जिले के बाढ़सा में अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) की राह आसान करने के लिए छह लेन का रोड बनाने की योजना तैयार की गई है। इससे गुरुग्राम के लोगों को एम्स तक जाने का रास्ता सुगम हो जाएगा।

सरकार ने इस सड़क निर्माण के लिए किसानों की जमीन अधिग्रहण न कर ई-भूमि नीति के तहत मोलभाव कर खरीदने की योजना बनाई है।

जमीन अधिगृहित नहीं खरीदी जाएगी

किसानों से जमीन का मोलभाव तय करने के लिए एसडीम रविंद्र यादव की अध्यक्षता में गुरुवार शाम तीन बजे चर्चा होगी।

पांच गांव की जमीन के किसानों में से दो गांव के किसानों को पहले चरण में मोलभाव के लिए बुलाया गया है। किसानों से चर्चा में लोक निर्माण विभाग के कार्यकारी अभियंता चरणदीप राणा व राजस्व विभाग के अधिकारी भी शामिल रहेंगे।

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इन गांवों की ली जाएगी जमीन

सड़क का निर्माण लोक निर्माण विभाग करेगा। इस नौ किलोमीटर लंबी सड़क में जिले के पांच गांव के किसानों की और झज्जर जिले के बाढ़सा गांव की 102.33 एकड़ जमीन आती है। इसमें खेड़की माजरा की 17.5 एकड़, धनकोट की 13.67 एकड़, बुढेड़ा की 24 एकड़, माकड़ोला की 35.6 एकड़, इकबालपुर की 6.6 एकड़ और झज्जर जिले के बाढ़सा गांव की पांच एकड़ जमीन ली जानी है।

इसमें करीब 823 किसानों की जमीन शामिल है। योजना तैयार करते समय इस प्रोजेक्ट की लागत 272 करोड़ रुपये तय की गई थी। इसमें 207 करोड़ जमीन की लागत और करीब 65 करोड़ रुपये सड़क निर्माण का बजट तैयार किया गया था। अब जमीनों के रेट बढ़ने के बाद इस प्रोजेक्ट की अनुमानित लागत भी बढ़ाने की उम्मीद है।

तीन चरणों में बुलाए गए किसान

लैंड एग्रीगेटर नरेंद्र पीपल बताते हैं कि जिला के किसानों को मोलभाव करने के लिए तीन चरणों में बुलाया गया। पहले चरण में बुढेड़ा और माकड़ोला के किसान शामिल रहेंगे। इन दोनों गांव की तहसील भी अलग है। माकड़ोला गांव के सर्किल रेट 87.50 लाख रुपये प्रति एकड़ और बुढेड़ा के 1.20 करोड़ रुपये प्रति एकड़ है।

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क्या है ई-भूमि नीति

जमीन अधिग्रहण अधिनियम 1894 में 2013 में संशोधन कर जमीन अधिग्रहण फ्री सेटलमेंट का किसानों को अधिकार दिया गया। उसके बाद 2017 में भूमि अधिग्रहण अधिनियम में बदलाव कर ई-भूमि अधिनियम लाया गया। इसके तहत किसानों की जमीन अधिग्रहित न कर उनसे मोलभाव खरीदने का नियम है। ताकि किसान अपनी मर्जी से अपनी जमीन का मोलभाव कर सकें।

एम्स बाढ़सा तक सड़क निर्माण के लिए किसानों की जमीन का मोल भाव तय करने के लिए उनकी राय जानने को बुलाया गया है। चर्चा के बाद उपायुक्त निशांत कुमार यादव रीजनेबल रेट का सर्टिफिकेट देंगे। उसके बाद आगे की प्रक्रिया शुरू की जाएगी। -रविंद्र यादव, एसडीएम, गुरुग्राम

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