केंद्रीय कैबिनेट ने हुडा सिटी सेंटर को साइबर सिटी से जोड़ने के लिए 5,452 करोड़ रुपये की लागत से 28.50 किलोमीटर की मेट्रो परियोजना के प्रस्ताव को मंजूरी दी है।
मेट्रो से जोड़े जाएंगे नए और पुराने गुरुग्राम
यह कदम केवल नए और पुराने गुरुग्राम में ही सार्वजनिक परिवहन का ढांचा सशक्त नहीं करेगा, बल्कि पूरे राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र को फायदा पहुंचाएगा, क्योंकि आसपास के अनेक शहरों से गुरुग्राम तक की आवाजाही करने वाले लोगों की बड़ी संख्या है और यह हर साल बढ़ती भी जा रही है।इस परियोजना को हरियाणा मास रैपिड ट्रांसपोर्ट कारपोरेशन लिमिटेड पूरा करेगा, जिसे केंद्र और हरियाणा सरकार की 50-50 प्रतिशत साझेदारी के साथ स्पेशल परपज वेहिकल के रूप में स्थापित किया जाएगा। इस नई लाइन के साथ द्वारका एक्सप्रेस वे तक (बसाई गांव से) एक ब्रांच लाइन (स्पर लाइन) को भी जोड़ा जाएगा।
नई लाइन में होंगे 27 स्टेशन
बीते दिनों कैबिनेट के फैसले की जानकारी देते हुए केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल ने कहा था कि यह कदम शहरी परिवहन के ढांचे के विस्तार की दिशा में अहम पहल है।आवासन एवं शहरी कार्य मंत्रालय के अनुसार नई लाइन में कुल 27 स्टेशन होंगे। इस लाइन पर मेट्रो ट्रेन की अधिकतम रफ्तार 80 किलोमीटर प्रति घंटा होगी, जबकि औसत स्पीड 34 किलोमीटर प्रति घंटा होगी।
एलिवेटेड ट्रैक पर होगा पूरा प्रोजेक्ट
पूरा प्रोजेक्ट सतह से ऊपर यानी एलिवेटेड ट्रैक पर होगा और इसे चार साल में पूरा किया जाएगा। नई मेट्रो लाइन नए गुरुग्राम को शहर के पुराने हिस्सों से कनेक्ट करेगी। इससे आसपास बड़े स्तर पर आर्थिक गतिविधियां भी बढ़ने के आसार हैं।
मंत्रालय के अनुसार अगले चरण में इस लाइन से इंदिरा गांधी अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे तक संपर्क भी प्रदान किया जाएगा। मंत्रालय ने कहा है कि इस मेट्रो लाइन को 1435 एमएम (पांच फिट, 8.5 इंच) के स्टैंडर्ड गेज लाइन पर स्थापित किया जाएगा।
2026 में 5.34 लाख लोगों के सफर करने का अनुमान
गुरुग्राम में औद्योगिक गतिविधियों और देश-विदेश की अनेक बड़ी कंपनियों की मौजूदगी के कारण रोजगार के लिहाज से इसके अत्यधिक अहम होने के चलते नई मेट्रो परियोजना से लाखों लोगों को फायदा पहुंचने के आसार हैं।
मंत्रालय के अनुमान के मुताबिक 2026 तक इससे 5.234 लाख लोग सफर करेंगे, जबकि 2031 तक यह संख्या 7.26 लाख, 2041 तक 8.81 लाख तथा 2051 तक 10.70 लाख हो जाएगी। गुरुग्राम की अभी आबादी लगभग 25 लाख है।
मेट्रो विस्तार से 40 प्रतिशत तक कम हो जाएगा प्रदूषण
गुरुग्राम, जागरण संवाददाता। पुराने गुरुग्राम में मेट्रो विस्तार से लगभग 40 प्रतिशत तक प्रदूषण का स्तर कम हो जाएगा। फिलहाल स्थिति यह है कि कई चौराहों के नजदीक सांस लेना मुश्किल है। पूरे दिन ट्रैफिक का दबाव रहता है। मेट्रो विस्तार से सड़क हादसों के ऊपर भी लगाम लगेगी। गुरुग्राम से दिल्ली, नोएडा, गाजियाबाद प्रतिदिन हजारों लोग काम करने के लिए जाते हैं।
यही नहीं दिल्ली, नोएडा और गाजियाबाद से हजारों लोग गुरुग्राम में काम करने के लिए पहुंचते हैं। बाहर से आने वालों को हुडा सिटी सेंटर से जाने के लिए अपने निजी वाहन या आटो या अन्य टैक्सी का उपयोग करना पड़ता है और गुरुग्राम से बाहर जाने वालों के भी करना पड़ता है।इस वजह से पुराने गुरुग्राम से लेकर नए गुरुग्राम तक के इलाकों में ट्रैफिक का भारी दबाव रहता है। ओल्ड रेलवे रोड, न्यू रेलवे रोड, बस अड्डा रोड, पालम विहार रोड, हीरो होंडा चौक से उमंग भारद्वाज चौक रोड, झाड़सा रोड सहित अधिकतर सड़कों पर पूरे दिन ट्रैफिक जाम जैसी स्थिति रहती है। दिल्ली-गुरुग्राम एक्सप्रेस-वे पर भी पूरे दिन ट्रैफिक का दबाव रहता है। इन सड़कों पर दिन भर में कई बार जाम जैसी स्थिति बनती है।
मेट्रो विस्तार से सड़कों पर कम हो जाएंगे हजारों वाहन
उद्योग विहार, सेक्टर-37 एवं सेक्टर-34 इलाके में सुबह-शाम पैदल चलना मुश्किल होता है, इतने वाहन सड़कों से निकलने हैं। इससे न केवल औद्योगिक विकास प्रभावित हो रहा है, बल्कि प्रदूषण का स्तर बढ़ रहा है। मेट्रो विस्तार होने के बाद एक झटके में सड़कों पर से हजारों वाहन गायब हो जाएंगे। इससे प्रदूषण का स्तर भी कम होगा और ट्रैफिक जाम का झंझट भी दूर हो जाएगा।
सड़क हादसों पर लगेगी लगाम
सार्वजनिक परिवहन सेवा मजबूत नहीं होने की वजह से अधिकतर लोग निजी वाहन से चलने को मजबूर हैं। जाम से निकलने के बाद लोग काफी तेजी से वाहन चलाते हैं, ताकि समय पर आगे पहुंच सकें। इस वजह से भी हादसे बढ़ रहे हैं। वाहनों की रफ्तार इतनी अधिक रहती है कि जब तक चालक संभलते हैं, तब तक हादसा हो जाता है।यही वजह है केवल दिल्ली-गुरुग्राम एक्सप्रेस-वे पर ही नहीं, बल्कि अधिकतर सड़कों पर हादसे हो रहे हैं। इस साल अब तक 150 से अधिक लोगों की मौत सड़क हादसों में हो चुकी है। गत वर्ष भी 400 से अधिक लोगों की मौत हुई थी। पर्यावरण कार्यकर्ता व सेवानिवृत्त मुख्य नगर योजनाकार प्रो. केके यादव कहते हैं कि मेट्रो के विस्तार से पुराने गुरुग्राम ही नहीं बल्कि, नए गुरुग्राम की भी तस्वीर बदल जाएगी।
लगभग 40 प्रतिशत तक प्रदूषण का स्तर कम हो सकता है। मेट्रो की सुविधा का लाभ हर व्यक्ति उठाना चाहता है। विस्तार होने पर अधिकतर लोग इसका लाभ उठाएंगे। लोगों का मानना है कि यदि समय से कहीं पहुंचना है तो मेट्रो से जाओ। निर्धारित समय के भीतर मेट्रो पहुंच जाती है।