Kisan Andolan: कोरोना के कहर पर आंदोलनकारियों के अजीबो-गरीब बोल, मंच से महामारी को बता रहे साजिश
आंदोलनकारियों ने यहां पड़ाव के पहले दिन से ही किसी तरह के कोरोना टेस्ट से इन्कार कर दिया था। यहां तक की मंच से कई कलाकार भी आंदोलनकारी किसानोें से कोरोना टेस्ट न कराने की अपील करते रहे। वैक्सीन आई तो उस पर भी सवाल खड़े किए।
हिसार/ बहादुरगढ़, जेएनएन। एक तरफ कोरोना का कहर कई राज्यों में फिर से बढ़ने की खबरें आ रही हैं, दूसरी तरफ आंदोलन स्थल के मंच से वक्ता इस महामारी पर अब भी कुतर्क से परहेज नहीं कर रहे हैं। इस महामारी को अब भी साजिश ठहराकर उसी दुष्प्रचार वाली सोच को बढ़ावा दिया जा रहा है जो पहले दिन से बनी हुुई है।
वैसे तो आंदोलन की शुरुआत से ही यहां पर इस तरह की बातें सुनी जा रही हैं। आंदोलनकारियों ने यहां पड़ाव के पहले दिन से ही किसी तरह के कोरोना टेस्ट से इन्कार कर दिया था। यहां तक की मंच से कई कलाकार भी आंदोलनकारी किसानोें से कोरोना टेस्ट न कराने की अपील करते रहे। बाद में जब इसको लेकर वैक्सीन आई तो उस पर भी सवाल खड़े किए और सभी से वैक्सीन न लगवाने का आह्वान किया।
क्या साबित करना चाहते हैं वक्ता
अब, जबकि कई राज्यों में केस फिर से बढ़ रहे हैं। यहां तक की प्रदेश में भी स्कूलों में कोरोना के केस सामने आ रहे हैं तब आंदोलन के मंच से दुष्प्रचार से परहेज नहीं किया जा रहा है। आंदोलन 100 दिन पार कर चुका है, लेकिन मंच से कई वक्ता चिल्ला-चिल्लाकर कोरोना को अंतरराष्ट्रीय और सत्तारुढ़ दल की साजिश करार देते हैं। इस तरह की बातों से हर नागरिक के मन में यह सवाल उठ रहा है कि जब मसला कृषि कानूनों का है तो कभी कोरोना, कभी ईवीएम पर सवाल जैसर बेतुकी बातें करके आखिरकार क्या साबित करने की कोशिश की जा रही है।
हिसार की ताजा खबरें पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें
यह भी पढ़ेंः झज्जर में सड़क हादसे में पानीपत ट्रैफिक एसएचओ सहित दो लोगों की मौत
यह भी पढ़ेंः Haryana Weather Update: हरियाणा में पश्चिमी विक्षोभ का दिखा असर, दो दिन और बारिश के आसार
यह भी पढ़ेंः कल से चार दिन हरियाणा में बंद रहेंगे बैंक, घबराएं नहीं एटीएम में रहेगा भरपूर कैश
यह भी पढ़ेंः झज्जर में व्यापारियों से ठगी करने का गिरोह सक्रिय, 16 फरवरी की फुटेज भी आई सामने