20 हजार करोड़ के टर्नओवर का नुकसान झेल चुके उद्यमियों ने की टीकरी बार्डर खोलने की मांग
तीन कृषि कानूनों के खिलाफ चल रहे आंदोलन को लेकर सात माह बाद यहां के उद्यमियों ने विरोध प्रकट करना शुरू कर दिया है। बहादुरगढ़ चैंबर आफ कामर्स एंड इंडस्ट्रीज एसोसिएशन ने प्रधानमंत्री को पत्र लिखकर टीकरी बार्डर को खोलने की मांग की है।
जागरण संवाददाता, बहादुरगढ़:तीन कृषि कानूनों के खिलाफ चल रहे आंदोलन को लेकर सात माह बाद यहां के उद्यमियों ने विरोध प्रकट करना शुरू कर दिया है। बहादुरगढ़ चैंबर आफ कामर्स एंड इंडस्ट्रीज एसोसिएशन ने प्रधानमंत्री को पत्र लिखकर टीकरी बार्डर को खोलने की मांग की है। उद्यमियों ने पीएम को लिखे पत्र में कहा कि दो हजार से ज्यादा फैक्ट्रियां बंद हैं। पूरे बहादुरगढ़ की फैक्ट्रियों को करीब 20 हजार करोड़ के टर्नओवर का नुकसान हो चुका है। दिल्ली से बहादुरगढ़ आवागमन करने के लिए पांच मिनट के बजाय दो घंटे का समय खर्च हो रहा है। कच्चा व तैयार माल आ-जा नहीं पा रहा है। ऐसे में कम से कम टीकरी बार्डर को एक तरफ से खोला जाए। पत्र की प्रतियां केंद्रीय गृह मंत्री, दिल्ली के उपराज्यपाल, दिल्ली व हरियाणा मुख्यमंत्रियों के अलावा सभी संबंधित अधिकारियों समेत 13 स्थानों पर भेजी गई हैं। पीएम को लिखे पत्र में बीसीसीआइ के हवाले से वरिष्ठ उपप्रधान नरेंद्र छिकारा ने बताया कि बहादुरगढ़ शहर गेटवे आफ हरियाणा है। यहां पर नौ हजार से ज्यादा छोटी, मध्यम व बड़ी औद्योगिक इकाइयां हैं। उन्होंने बताया कि सात माह से बहादुरगढ़ में किसान आंदोलन चल रहा है। इस कारण टीकरी बार्डर बंद है। उनकी वजह से बहादुरगढ़ के एमआइई पार्ट बी की करीब दो हजार औद्योगिक इकाइयां तकरीबन बंद पड़ी हैं। अन्य औद्योगिक इकाइयों में भी उत्पादन प्रभावित है। यह बार्डर दिल्ली पुलिस की ओर से बंद कर रखा है। ऐसे में उद्यमियों ने कम से कम एक साइड से टीकरी बार्डर खोलने की मांग की है ताकि अंतर राज्यीय मूवमेंट आसान हो सके।