हरियाणा के नूंह में दलित महिलाओं पर पथराव: पुलिस ने 3 किशोर को पकड़ा, पंचायत में पहले माहौल गरमाया; फिर हुए शांत
बृहस्पतिवार को नूंह में महिलाओं के ऊपर किशोरों द्वारा पथराव करने के मामले को लेकर शुक्रवार की सुबह से दोपहर तक दो समुदाय के लोगों में तनाव दिखा। हालात 31 जुलाई को हुई धार्मिक यात्रा के दौरान हुई हिंसा क पुनरावृति नहीं हो इसके लिए दोनों समुदाय के गणमान्य लोगों ने पहल की और नई धर्मशाला में एकत्र होकर पंचायत की।
जागरण संवाददाता, नूंह। बृहस्पतिवार देर शाम कुआं पूजन के दौरान नूंह के वार्ड दस स्थित कैलाश मंदिर जा रही हिंदू समुदाय (अनुसूचित जाति वर्ग) की महिलाओं के ऊपर किशोरों द्वारा पथराव करने के मामले को लेकर शुक्रवार की सुबह से दोपहर तक दो समुदाय के लोगों में तनाव दिखा। हालात 31 जुलाई को हुई धार्मिक यात्रा के दौरान हुई हिंसा क पुनरावृति नहीं हो, इसके लिए दोनों समुदाय के गणमान्य लोगों ने पहल की और नई धर्मशाला में एकत्र होकर पंचायत की।
दोपहर एक बजे खोली गईं दुकानें
पंचायत में हिंदू समुदाय के लोगों ने पहले जमकर गुस्सा दिखाया। यहां तक कहां कि दूसरे समुदाय के कुछ लाेग नूंह से उनके परिवारों को भगाने का कृत्य कर रहे हैं। उनके गुस्से की बीच ही आपसी भाई-चारे की मिशाल दी गई तो लोगों का गुस्सा कम हुआ और शांति व्यवस्था बनाए रखने के लिए पहल शुरू हुई। दुकानदारों से अपील की गई तो सुबह से बंद दुकानें दोपहर एक बजे खोली गई।
पंचायत में नूंह से कांग्रेस विधायक चौधरी आफताब अहमद, भाजपा नेता पूर्व विधायक चौधरी जाकिर हुसैन, नूंह एसडीएम अश्वनी कुमार, डीएसपी हेडक्वार्टर विरेंद्र सिंह, भाजपा जिलाध्यक्ष नरेंद्र पटेल, जेजेपी नेता तैयब हुसैन घासेडिय़ा, समाजसेवी जीएस मलिक, नगर परिषद चेयरमैन संजय मनोचा, समाजसेवी विष्णु सिंगला सहित शहर के गणमान्य लोग शामिल हुए नूंह विधायक आफताब अहमद और पूर्व विधायक जाकिर हुसैन ने कहा कि इस मामले की जांच चल रही है। दोषियों को किसी भी सूरत में बख्शा नहीं जाएगा।
ये बहुत निंदनीय घटना है। सदियों से चले आ रहे मेवात की 36 बिरादरी के भाईचारे को किसी भी सूरत में बिगड़ने नहीं दिया जाएगा। पुलिस प्रशासन ने भी आश्वासन दिया कि मामले की जांच करके दोषियों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाएगी। प्रशासन के आश्वासन के बाद बाजार के प्रमुख लोगों ने बाजार खोलने का निर्णय लिया। हमें नूंह छोड़ने के लिए मजबूर किया जा रहा है
31 जुलाई को भी हुई थी हिंसा
पंचायत में राकेश तथा सूरज और रामऔतार ने कहा कि 31 जुलाई को हुई हिंसा में समुदाय विशेष के युवाओं ने दुकानों को निशाना बनाया था। इस घटना को बच्चों का कारनामा नहीं बताया जाए। बड़े भी उन्हें ऐसा करने के लिए उकसा रहे हैं, जिससे यहां रहने वाले दस प्रतिशत हिंदू परिवार नूंह छोड़ दें। एसडीएम अश्वनी कुमार ने कहा तीन किशोर पुलिस कस्टडी में हैं।
काउंसलिंग में किसी का नाम आएगा तो उसे छोड़ा नहीं जाएगा पुलिस भी अपने स्तर पर जांच कर रही है। वहीं विश्व हिंदू परिषद के प्रदेश अध्यक्ष पूर्व न्यायाधीश पवन कुमार भी कई लोगों के साथ नूंह पहुंचे और पीड़ित परिवार की महिलाओं से मिले। उन्होंने भी कहा बच्चों को वारदात करने के लिए उकसाया जा रहा है। जुमे की नमाज के दौरान जिस मस्जिद से पथराव हुआ था वहां से मुफ्ती जाहिद ने एलान किया कि हमें भाई-चारा बनाकर रहना है। लोग अपने बच्चों पर नजर रखें ताकि इस तरह की घटना नहीं हों।
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