हरियाणा में कमलनाथ का कौशल फेल, कांग्रेसी दिग्गजों की गुटबाजी से हुई विदाई
नौ बार सांसद रहे व राजनीति के कुशल खिलाड़ी माने जानेवाले कमलनाथ का कौशल हरियाणा में फेल हो गया। हरियाणा के दिग्गजाें की गुटबाजी के कारण प्रदेश प्रभारी पद से उनकी विदाई हो गई।
चंडीगढ़, [अनुराग अग्रवाल]। हरियाणा कांग्रेस के प्रभारी पद से हटाए गए कमलनाथ का राजनीतिक कौशल राज्य के कांग्रेसियों की गुटबाजी के आगे फेल हो गया। प्रदेश कांग्रेस के दिग्गजों को एकजुट करने की कमलनाथ ने काफी बार कोशिश की, लेकिन उन्हें कोई सफलता नहीं मिली। राज्य के कांग्रेसियों की गुटबाजी से तंग आ चुके नौ बार सांसद रह चुके कमलनाथ कई बार हाईकमान से हरियाणा का प्रभार छोड़ने की इच्छा जाहिर कर चुके थे। कांग्रेस आलाकमान अब राज्य के दिग्गजों को एकजुट करने के लिए नए सिरे से प्रयास करेगा। माना जा रहा है कि इसी कड़ी में कमलनाथ को हरियाणा से अलग किया गया है।
धड़ों में बंटे कांग्रेस दिग्गज कमलनाथ की विदाई का कारण बने, आलाकमान अब नए उठाएगा नया कदम
हरियाणा कांग्रेस को राहुल गांधी की 29 अप्रैल की रैली के बाद नया प्रभारी मिलेगा। राज्य के लिए ऐसे प्रभारी की तलाश की जा रही है, जो धड़ों में बंटे कांग्रेसियों के सिर जोड़ने यानि एकजुट करने में कामयाब हो सके। इसके लिए राहुल गांधी के अति विश्वसनीय और नए कांग्रेस नेता को जिम्मेदारी दी जा सकती है। राहुल गांधी की दिल्ली रैली के बाद हरियाणा कांग्रेस के संगठनात्मक ढांचे में फेरबदल किया जाएगा।
अशोक तंवर ने किया हरियाणा कांग्रेस के अध्यक्ष पद पर बदलाव से इन्कार
प्रदेश अध्यक्ष डाॅ. अशोक तंवर की उन तमाम सूचियों को अब मंजूरी मिल सकती हैैं, जो राजनीतिक कारणों से रोक दी गई थी। अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी और प्रदेश कांग्रेस कमेटी के डेलीगेट्स के साथ ही प्रांतीय कमेटी, जिला अध्यक्षों और ब्लाक अध्यक्षों की घोषणा भी राहुल गांधी की दिल्ली रैली के बाद संभव है। इन सूचियों में डॉ. अशोक तंवर, भूपेंद्र सिंह हुड्डा, किरण चौधरी, रणदीप सिंह सुरजेवाला, कुमारी सैलजा, कुलदीप बिश्नोई और कैप्टन अजय यादव के प्रभाव वाले नेताओं को तरजीह दी जाएगी।दूसरी तरफ, चंडीगढ़ में हरियाणा कांग्रेस के अध्यक्ष डाॅ. अशोक तंवर ने राज्य नेतृत्व किसी तरह के बदलाव की संभावना से इन्कार किया है। उन्होंने कहा कि प्रदेश प्रभारी कमलनाथ का कार्यकाल काफी अच्छा रहा। उन्होंने संगठन की मजबूती के लिए ईमानदारी से प्रयास किए। तंवर ने कहा, मुझे नहीं लगता कि प्रदेश अध्यक्ष पद पर किसी तरह का कोई फेरबदल होगा।
राज्य के सभी जिलों में बैठकें कर चुके तंवर ने शुक्रवार को दिल्ली में मेवात जिले के नेताओं और कार्यकर्ताओं की आखिरी बैठक बुलाई है। उन्होंने एक सवाल के जवाब में कहा कि राज्य के कांग्र्रेसी मिलकर पार्टी को मजबूत करेंगे तथा दिल्ली रैली में बिना किसी पगड़ी के भागीदारी करेंगे। तंवर ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मुख्यमंत्री मनोहर लाल को नए नाम दिए। उन्होंने मुख्यमंत्री मनोहरलाल को घोषणा चंद्र बताया।