Haryana: एक जनवरी से हड़ताल पर जाएंगे राशन डिपो संचालक, फेडरेशन में पुराने नियमों को बहाल करने की लगा रहे गुहार
अपनी मांगों को लेकर हरियाणा के राशन डिपो संचालक नए साल से बेमियादी हड़ताल पर रहेंगे। ये हड़ताल राष्ट्रव्यापी रहेगी। डिपो धारक अपनी मांगों को लेकर इस हड़ताल को कर रहे हैं। साथ ही उन्होंने हरियाणा की फेडरेशन ने पुराने नियमों को बहाल करने की मांग की है और राजस्थानी की तर्ज पर डिपो संचालक की मृत्यु पर आश्रितों को 50 लाख रुपये की मदद की मांग कर रहे हैं।
राज्य ब्यूरो, चंडीगढ़। हरियाणा के राशन डिपो संचालक अपनी मांगों को लेकर हड़ताल पर जाने वाले हैं। नये साल के पहले दिन प्रदेश के सभी राशन डिपो संचालक बेमियादी हड़ताल पर रहेंगे। ऑफ फेयर प्राइस शॉप डीलर्स फेडरेशन हरियाणा ने डिपो धारकों की पहली जनवरी से हो रही राष्ट्रव्यापी हड़ताल का समर्थन कर दिया है। हरियाणा के डिपो होल्डर सरकार के पहली अगस्त 2022 को जारी किए गए नये नियमों से आहत हैं और उन्हें बदले जाने की सरकार से मांग कर रहे हैं।
उनका कहना है कि नये नियमों से राशन डिपो धारकों के हितों और अधिकारों का हनन होगा। हालांकि सरकार ने 200 रुपये प्रति क्विंटल मार्जन मनी में बढ़ोतरी की है, लेकिन इस फैसले से राशन डिपो और कार्डधारकों की छीनाझपटी बढ़ने की आशंका बदलती गई है। सरकार ने 300 राशन कार्डों पर एक डिपो का लाइसेंस देने का निर्णय लिया है। जबकि पहले 600 से 1200 राशन कार्डों पर राशन डिपो का लाइसेंस देने के नियम थे। हरियाणा की फेडरेशन ने पुराने नियमों को बहाल करने की मांग की है।
फेडरेशन के प्रदेशाध्यक्ष शीशपाल गोदारा, कार्यकारी अध्यक्ष रामबीर सफीदों, महासचिव राजबीर सिंह नैन, कोषाध्यक्ष राजेंद्र शर्मा और संयोजक शिवकुमार गर्ग का कहना है कि 300 राशन कार्ड की अनुचित शर्त लगाकर सरकार रोजगार को खत्म करने की कोशिश कर रही है। डिपोधारक के लिए 60 वर्ष की आयु सीमा अन्य राज्य की तर्ज पर पूरी तरह से हटाई जाए। चूंकि लाइसेंसधारकों के लिए ऐसी शर्त का कोई औचित्य नहीं बनता।
ये भी पढ़ें: जरुरी खबर! तीसरी बार बदलेंगे हरियाणा पुलिस की भर्ती के नियम, अब इन मानदंडों को करना होगा पूरा; जानें क्या है नए रूल्स
मासिक पेंशन और बीमा योजना का मिले लाभ
उनकी दलील है कि अगर सरकार को 60 वर्ष की उम्र तक ही लाइसेंस चलाने की परमिशन देनी है तो फिर डिपो संचालकों को संविदा कर्मचारी घोषित कर सभी उम्रदराज डिपो संचालकों को पत्रकारों की तर्ज पर 15 हजार रुपये मासिक पेंशन और 10 लाख रुपये तक बीमा योजना का लाभ दिया जाए। राशन वितरण के दौरान कम से कम दो प्रतिशत घटती (हेंडलिंग लास और शार्टेज) दिया जाए तथा फिजिकल वेरिफिकेशन के दौरान पांच क्विंटल तक राशन कम या ज्यादा पाए जाने पर राशन पूरा करने की अनुमति दी जाए।
जान गंवाने वाले डिपो धारकों में मिले आर्थिक मदद
राशन डिपोधारकों की मांग है कि लेवी चीनी में पूर्व में दी जाने वाली 400 रुपये प्रति क्विंटल घटती को दोबारा बहाल किया जाए। राशन वितरण सेवाकाल और कोरोना काल में जान गंवाने वाले डिपोधारकों के परिवार के सदस्य को अनुकंपा (पीडीएस नियंत्रण आदेश-2002) के आधार पर राशन डिपो की दुकान अलॉट की जाए। कोरोना काल में जिन डिपोधारकों ने अपनी जान गंवाई है, उनके आश्रितों को राजस्थान सरकार की तर्ज पर 50 लाख रुपये की आर्थिक मदद दी जाए। उनका कहना है कि सरकार जब तक उनकी मांगों को मंजूर नहीं करती, वे हड़ताल पर रहेंगे।
ये भी पढ़ें: Cyber Fraud Cases: साइबर क्राइम का फैल रहा मकड़जाल, ऐसे तरीकों से हो रही ठगी; हर रोज बन रहा कोई न कोई शिकार