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Haryana News: कहां गए 17 हजार स्टूडेंट्स? स्कूल भी नहीं बता पा रहे कारण

Haryana News रेवाड़ी के यूडाइज पोर्टल से 17 हजार विद्यार्थियों का डाटा गायब हो गया है। विद्यालय नहीं बता पा रहे हैं कि ये विद्यार्थी कहां गए और न ही अधिकारी इस मामले को लेकर कोई गंभीरता दिखा रहे हैं। विभाग की तरफ से इन विद्यार्थियों को ड्रापबाक्स में डाल दिया गया है जिनमें अधिकांश विद्यार्थी निजी विद्यालयों के हैं।

By gobind singh Edited By: Abhishek Tiwari Updated: Tue, 24 Sep 2024 02:53 PM (IST)
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विद्यालयों में विभागीय आदेशों की हो रही अनदेखी। (प्रतीकात्मक तस्वीर)

गोबिंद सिंह, रेवाड़ी। यूडाइज पोर्टल पर फीड 17 हजार विद्यार्थियों का डाटा गायब हो गया है। न तो विद्यालय बता पा रहा है कि यह विद्यार्थी कहां गए और न ही अधिकारी इस मामले को लेकर कोई गंभीरता दिखा रहे हैं।

विभाग की तरफ से इन विद्यार्थियों को ड्रापबाक्स में डाल दिया गया है, जिनमें अधिकांश विद्यार्थी निजी विद्यालयों के हैं। किसी का यूडाइज पोर्टल पर डाटा अपटेड नहीं है तो कोई गैर मान्यता प्राप्त विद्यालय में पढ़ रहा है।

मान्यता प्राप्त विद्यालय को मिलती है यूडाइज की लॉगिन

गैर मान्यता प्राप्त विद्यालय में पढ़ने के कारण उनका यूडाइज पर डाटा अपडेट नहीं हो सकता है, क्योंकि मान्यता प्राप्त विद्यालय को ही विभाग की तरफ से यूडाइज की लॉगिन आईडी जारी की जाती है। इस आईडी के माध्यम से ही विद्यालयों को प्रतिवर्ष यूडाइज पोर्टल पर विद्यालय में उपलब्ध सुविधाओं सहित विद्यार्थियों एवं शिक्षकों की जानकारी पोर्टल पर देनी पड़ती है।

हालांकि ड्रापबाक्स में डाले गए विद्यार्थियों का डाटा पोर्टल पर अपडेट करने के लिए कई बार स्थानीय अधिकारियों की तरफ से विद्यालय को निर्देश भी जारी किए गए, लेकिन कोई ध्यान नहीं दिया गया। विद्यालयों में विभागीय आदेशों को लेकर अनदेखी कोई नई बात नहीं है, लेकिन अधिकारियों की तरफ से ऐसे विद्यालयों पर कोई कार्रवाई नहीं की जा रही है।

रेवाड़ी खंड में सबसे अधिक विद्यार्थी ड्रापबाक्स में

यूडाइज पोर्टल पर विद्यार्थियों का डाटा अपडेट नहीं करने में रेवाड़ी खंड सबसे आगे हैं। रेवाड़ी खंड में सबसे अधिक 8760 विद्यार्थियों को ड्रापबाक्स में डाला गया है। इसी प्रकार बावल में 3187, जाटूसाना खंड में 2131, खोल में 1535 व नाहड़ में 1685 विद्यार्थियों को ड्रापबाक्स की कैटेगरी में डाला गया है।

अगर विद्यालयों की तरफ से इन विद्यार्थियों का डाटा पोर्टल पर अपटेड नहीं किया गया तो उनकी परेशानी बढ़ने वाली है, क्योंकि विभाग की तरफ से अपार आईडी बनाई जाएगी। अगर विद्यार्थी का डाटा यूडाइज पर अपडेट नहीं है तो उनकी अपार आईडी नहीं बनेगी।

हमने ड्रापबाक्स में 17 हजार विद्यार्थियों को डाला हुआ है। पोर्टल पर इन विद्यार्थियों का संबंधित विद्यालयों की तरफ से डाटा अपडेट नहीं किया गया है। डाटा अपडेट होने के बाद ही ड्रापबाक्स से यह विद्यार्थी बाहर आएंगे। अन्यथा इन्हें सरकारी योजनाओं का लाभ नहीं मिलेगा।  - अजय दूसोदिया, प्रोग्रामर समग्र शिक्षा

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