'हम अंगुली पकड़कर विधायक बना देते हैं', राव इंद्रजीत ने जैसा कहा वैसा कर दिखाया
Haryana Vidhan Sabha Chunav Result 2024 में राव इंद्रजीत सिंह (Rao Indrajit singh) का प्रभाव अहीरवाल क्षेत्र में साफ दिखाई दिया। उनकी बेटी आरती राव अटेली से विधायक चुनी गईं जबकि बावल रेवाड़ी और पटौदी सीट से भी उनके समर्थित उम्मीदवारों ने जीत हासिल की। राव इंद्रजीत सिंह ने कहा कि जब हम मजबूत होंगे तो चंडीगढ़ वाले भी सुनेंगे।
सत्येंद्र सिंह, रेवाड़ी। हम घर उठा अंगुली पकड़ सियासी राह में लाकर विधायक बना देते हैं, पर लोग साथ छोड़ चले जाते हैं। यह डायलॉग यहां की चुनावी सभा में बोलने वाले केंद्रीय राज्य मंत्री राव इंद्रजीत सिंह (Rao Indrajit Singh) ने पार्टी से जो वादा किया उसे कर दिखाया। चुनाव परिणाम आने के बाद उनका सियासी कद पार्टी के अंदर बढ़ा है।
पार्टी ने अहीरवाल की 11 सीटों के लिए अपनी ओर से दो नाम दिए जिसमें से पांच पर उनकी चली। बादशाहपुर सीट को छोड़ पार्टी ने उनकी सहमति ली। इन सीटों में से अटेली के लिए अपनी बेटी आरती राव का टिकट मांगा। टिकट मिला और राव ने अपने बल पर विधानसभा भी पहुंचा दिया।
कहा था- जब हम मजबूत होंगे तो चंडीगढ़ वाले भी सुनेंगे
इसी तरह बावल और रेवाड़ी तथा पटौदी सीट के लिए उन्होंने जो नाम दिए उन्हीं को लेकर पार्टी भी चली, संगठन का साथ तथा अपने राजनीतिक बल से राव ने जीत की राह दिखा दी। इसी तरह नारनौल तथा महेंद्रगढ़ सीट पर राव समर्थक ही विधायक बने हैं। राव ने कहा कि अहीरवाल में जब हम मजबूत होंगे तो चंडीगढ़ वाले भी सुनेंगे। जिसका भी असर लोगों में पड़ा।
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संगठन और राव इंद्रजीत के दम पर लक्ष्मण ने की रेखा पार
रेवाड़ी में भाजपा प्रत्याशी लक्ष्मण यादव के नाम की घोषणा के साथ ही अंतर्कलह शुरू हो गया। विपक्षी पार्टियों के साथ ही भाजपा कार्यकर्ता भी प्रत्याशी को बाहरी बताने लगे थे। लक्ष्मण यादव कोसली से विधायक थे। शुरूआत में उनका चुनाव धीमा था।
वहीं पूर्व विधायक रणधीर कापड़ीवास व पर्यटन निगम के चेयरमैन अरविंद यादव की चुप्पी से कार्यकर्ता भी असमंजस में थे। जबकि कांग्रेस व आप प्रत्याशियों के समर्थक शोर कर जीत के दावे करने लगे थे। कुछ लोगों की ओर से भाजपा प्रत्याशी को राव समर्थक कह कर प्रचारित किए जाने लगा था। लक्ष्मण यादव ने शुरू से ही भाजपा व संगठन के लिए कार्य किया है।
इसके बाद केंद्रीय मंत्री राव इंद्रजीत सिंह ने भी रेवाड़ी के चुनाव का बागडोर अपने हाथों में ले ली। राव के प्रयासों से संगठन व अन्य कार्यकर्ताओं में तालमेल बनाया गया। यहां यह भी बताना जरूरी है कि कांग्रेस का मतदाता शोर मचाने में माहिर था, लेकिन भाजपा का वोटर शांत स्वभाव से पार्टी के पक्ष में जुट गया। राव इंद्रजीत सिंह के प्रयासों के कारण ही लक्ष्मण ने चुनाव की नैया रेखा पार लगाई।
वंदना को जिलाध्यक्ष बनाकर चला था सियासी तीर
रेवाड़ी की तीनों सीट पर पार्टी की जीत के नायक रहे लोगों में भाजपा जिला अध्यक्ष वंदना पोपली का नाम भी शामिल है। जिला अध्यक्ष ने राव विरोधियों को शांत करने के साथ-साथ उनकी बात को संगठन पदाधिकारियों तक पहुंचाई। जिसके चलते ही राव विरोधी मुखर नहीं हो सके।
एक पार्टी नेता को बादशाहपुर में केंद्रीय गृहमंत्री की हुई रैली में मंच पर भी देखा गया था। बताते हैं कि शाह से उनकी बात भी कराई गई थी। फिर उनके सुर बदल गए थे। दो दिन पहले नाराज नेता ने राव इंद्रजीत को लेकर अमर्यादित बात की थी। जिसका जवाब आरती राव ने दिया। बयानबाजी बढ़ती इसके पहले वंदना ने संगठन तक यह बात पहुंचा थी।