Haryana Politics: 'इनेलो की कैथल रैली का नहीं मिला न्यौता, न ही किसी से कोई बात हुई'- पूर्व CM भूपेंद्र हुड्डा
हरियाणा के पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा ने इनेलो को लेकर बड़ा बयान दिया है। उन्होंने कहा कि इनेलो अभी आईएनडीआईए गठबंधन में शामिल नहीं हुई है। उन्होंने यह भी कहा कि उन्हें इनेलो की कैथल रैली के लिए न्यौता नहीं मिला और न ही उनकी किसी से कोई बात हुई। हुड्डा ने इस दौरान बीजेपी-जेजेपी सरकार को भी कई मुद्दों पर घेरा।
By Omparkash VashishtEdited By: Rajat MouryaUpdated: Mon, 25 Sep 2023 07:47 PM (IST)
रोहतक, जागरण संवाददाता। Bhupinder Hooda On INLD Kaithal Rally नेता प्रतिपक्ष एवं पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा ने कहा कि इनेलो अभी आईएनडीआईए गठबंधन में शामिल नहीं है। अगर कोई इनेलो को लेकर मेरी राय पूछेगा तो बताऊंगा। कैथल रैली में जाने के सवाल पर उन्होंने कहा कि मुझे कोई न्यौता नहीं मिला। न ही किसी से कोई बात हुई है। साथ ही, उन्होंने कहा कि इनेलो अपनी खोई हुई राजनीतिक जमीन तलाश रही है। सभी को रैली करने का अधिकार है।
बता दें कि भूपेंद्र हुड्डा सोमवार को पत्रकारों से बातचीत कर रहे थे। पूर्व मुख्यमंत्री ने आरबीआई और एनएसओ द्वारा जारी ताजा रिपोर्ट का हवाला देते हुए कहा कि हरियाणा आर्थिक संकट से गुजर रहा है। क्योंकि प्रदेश में निवेश और रोजगार निम्नतम स्तर पर पहुंच चुके हैं। सारी सीमाओं को लांघते हुए कर्ज साढ़े चार लाख करोड़ तक पहुंच चुका है। प्रदेश में विकास कार्य पूरी तरह ठप हैं।
'बीजेपी-जेजेपी जनता को लूट रही है'
हुड्डा ने कहा कि बीजेपी-जेजेपी द्वारा एक के बाद एक घोटालों को अंजाम देकर हरियाणा की जनता को लूटा जा रहा है। घोटालों को लेकर खुद सरकार द्वारा बनाई गई जांच कमेटियों की रिपोर्ट सार्वजनिक नहीं की जाती और दोषियों पर कोई कार्रवाई नहीं होती। हरियाणा अपराध में इस कदर बेकाबू है कि पानीपत में कई घंटे तक महिलाओं के साथ दरिंदगी होती रही। गैंगरेप और हत्या जैसी वारदात के बावजूद अब तक पुलिस के हाथ खाली हैं।ये भी पढ़ें- INLD Rally In Kaithal: अभय चौटाला के हाथों में इनेलो की कमान, ओपी चौटाला ने बनाया अपना उत्तराधिकारी
कांग्रेस कार्यकाल की खेल नीति थी कारगर
भूपेंद्र सिंह हुड्डा ने कहा कि कांग्रेस कार्यकाल के दौरान 'पदक लाओ, पद पाओ' जैसी खेल नीति लागू की गई थी। साथ ही गांव-गांव में स्टेडियम बनाए गए थे, ताकि युवाओं के जोश को देश व प्रदेश का सम्मान बढ़ाने के लिए खेलों में इस्तेमाल किया जाए। कांग्रेस कार्यकाल में रोजगार सृजन पर विशेष ध्यान दिया गया था। इसलिए 2014 से पहले हरियाणा युवाओं को रोजगार देने, प्रति व्यक्ति निवेश, प्रति व्यक्ति आय और कानून व्यवस्था के मामले में पूरे देश का अव्वल राज्य था। लेकिन आज हरियाणा महंगाई, बेरोजगारी, अपराध, नशे और भ्रष्टाचार में पहले पायदान पर पहुंच चुका है।
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