NIA Raids: कौन है नामी गैंगस्टर राजू बसौदी, जिसे किया गया था बैंकाक से गिरफ्तार; अब एनआइए का शिकंजा
राजू बसौदी पर रंगदारी न देने पर व्यापारी की हत्या व रंगदारी मांगने के कई मामले सोनीपत में दर्ज हैं। अपने गैंग के साथी अंकित भादू की मुखबरी कर एनकाउंटर करवाने के शक में पंजाब के मलौट के मनप्रीत सिंह मन्ना की हत्या करवाने का आरोप भी उस पर है।
सोनीपत, जागरण संवाददाता। दिल्ली-एनसीआर के नामी गैंगस्टर राजू बसौदी व अक्षय पलड़ा के घर पर भी एनआइए ने छापेमारी की है। वह खौफ पैदाकर अपने गैंग का वर्चस्व कायम रखता था। उसके कारनामों की वजह से एसटीएफ सोनीपत ने पांच लाख का इनाम रखा था। काफी प्रयास के बाद इनामी राजू बसौदी को बैंकाक से गिरफ्तार किया गया था।
करीबी की हत्या के बाद उठा लिया हथियार
राजू बसौदी ने अपने ही परिवार के सदस्य की हत्या कर अपराध की दुनिया में कदम रखा था। राजू बसौदी पर आरोप था कि उसने जमीन के विवाद में अपने परिवार के ही एक सदस्य की 27 अप्रैल 2010 को हत्या कर दी थी। उसके बाद वह अपराध की दुनिया में आ गया। उसके बाद कई लूट की वारदात की।
2017 में जेल से बाहर आने पर हुआ था फरार
आरोपित राजू सोनीपत के गांव बसौदी का रहने वाला यह बदमाश 2012 में झज्जर के अंदर पुलिस कस्टडी में दो लोगों की हत्या व एक को करीब 19 गोली मारने के मामले में यह नामजद है। इस केस में वह दिसंबर 2017 में जेल से बाहर आया था, तब से यह फरार चल रहा था। कुख्यात अपराधी को पकड़ने के लिए हाल ही में एसटीएफ हरियाणा पुलिस के अनुरोध पर एक लुक आउट सर्कुलर जारी किया गया था।
जठेड़ी गैंग से शुरुआत, फिर लॉरेंस बिश्नोई गैंग से जुड़ा
अब लॉरेंस बिश्नोई गैंग से जुड़कर वह बड़े अपराध कर रहा था। सोनीपत में शराब ठेकेदार की हत्या, खरखौदा में हत्या व रंगदारी मांगने के 12 मामलों में यह नामजद है। पुलिस ने बताया कि संदीप उर्फ काला जठेड़ी गैंग के जरिये राजू ने अपराध की दुनिया में कदम रखे थे। इसके बाद यह लारेंस बिश्नोई गैंग से जुड़ा। लॉरेंस बिश्नोई, संपत नेहरा, अनिल छिप्पी, अक्षय पालरा, और नरेश सेठी जैसे खूंखार गैंगस्टर्स के साथ राजू के निकटतम संबंध है, जो फिलहाल विभिन्न जेलों में बंद हैं।