Yamunanagar News: सड़कों पर दम तोड़ रही जिंदगियां, अक्टूबर महीने में ही 44 दुर्घटनाओं में 26 लोगों की गई जान
यमुनानगर में सड़क सुरक्षा कमेटी की बैठक में दुर्घटनाओं के आंकड़ों पर नजर डाले तो अक्टूबर महीने में हुई 44 दुर्घटनाओं में 26 लोगों की जान चली गई। इस हिसाब से पिछले महीने की तुलना में अक्टूबर महीने में 20 प्रतिशत अधिक दुर्घटना हुई। बैठक में अधिकारी खाना पूर्ति करते नजर आते हैं। वहीं अक्टूबर माह में 3489 चालकों के चालान कर 16 लाख रुपये का जुर्माना वसूला गया।
जागरण संवाददाता, यमुनानगर। सड़कों पर जिंदगियां दम तोड़ रही है लेकिन बचाव के इंतजाम नहीं हो रहे हैं। सड़क सुरक्षा कमेटी की बैठक में भी दुर्घटनाओं के आंकड़े रखे जाते हैं। इसके बावजूद अधिकारी गंभीरता से काम नहीं कर रहे हैं। सितंबर माह में जिले में 33 दुर्घटना हुई, जिसमें 13 की मौत हुई है। वहीं, अक्टूबर माह में यह आंकड़ा बढ़कर 44 पर पहुंच गया, जिसमें 26 लोगों की जान गई है। इस हिसाब से अक्टूबर माह में 20 प्रतिशत अधिक दुर्घटना हुई है।
यह हालात तब हैं जब सड़क सुरक्षा कमेटी की बैठक में इंतजामों पर मंथन होता है। संबंधित विभागों के अधिकारियों की जिम्मेदारी तय की जाती है। इसके बावजूद हालात नहीं सुधर नहीं रहे हैं। पिछले दिनों सड़क सुरक्षा कमेटी की बैठक हुई।
इसमें भी अधिकारियों से जवाब मांगा गया लेकिन अधिकारियों ने रटा रटाया जवाब दे दिया कि कार्यों के लिए टेंडर लगाए गए हैं। जबकि सड़क सुरक्षा के कार्यों को प्राथमिकता से कराना होता है। इसके बावजूद अधिकारी रुटीन में टेंडर लगाकर खानापूर्ति करते हैं। यहां तक कि कई जगहों पर बिना टेंडर के होने वाले कार्यों को भी नहीं कराया जा रहा है। यह कार्य सड़क सुरक्षा कमेटी के बजट से भी हो सकते हैं।
एक दूसरे पर डाल देते हैं जिम्मेदारी
अधिकारी एक दूसरे पर भी जिम्मेदारी डालने से पीछे नहीं हटते हैं। 22 नवंबर को हुई बैठक में अधिकारियों का यही रवैया रहा। पेड़ों की शाखाओं की ट्रिमिंग का मामला आया तो वन विभाग ने साफ कह दिया कि वह नगर निगम एरिया में ट्रिमिंग नहीं करा सकता। सेक्टर 17 के मोड पर स्लीप वे बनाने की बात आई तो नगर निगम ने कह दिया कि सेक्टर में कार्य का अधिकार शहरी विकास प्राधिकरण को है। इसी तरह से सड़कों पर होने वाले कार्यों को लेकर नेशनल हाईवे अथॉरिटी ऑफ इंडिया, नगर निगम व लोक निर्माण विभाग भी एक दूसरे पर जिम्मेदारी डालते रहे।
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नियमों का पालन न करने वालों पर भी कार्रवाई
दुर्घटना के लिए सड़कों की खामी जिम्मेदार है लेकिन वाहन चालकों की भी गलती होती है। वाहन चालक नियमों का पालन नहीं करते। गलत दिशा से या स्पीड से वाहन चलाते हैं। जिससे दुर्घटना होने का खतरा अधिक रहता है। कई दुर्घटन अधिक गति व गलत दिशा से वाहन चलाते समय भी हुई है। कुछ चालक वाहन चलाते समय मोबाइल का प्रयोग करते हैं। यह भी दुर्घटना का बड़ा कारण है। जिला पुलिस की ओर से सितंबर माह में 4002 वाहन चालकों के चालान कर 23 लाख 61 हजार रुपये जुर्माना वसूला गया। वहीं, अक्टूबर माह में 3489 चालकों के चालान कर 16 लाख रुपये का जुर्माना वसूला गया। 11 चालकों के लाइसेंस के निलंबन के लिए लिखा गया है।
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