हौसले से हारी दिव्यांगता
प्रेरक चंबा के वीरेन धर्मशाला में हुई राज्यस्तरीय पैरास्पोर्ट्स में जीत चुके हैं तीन पदक 75 फ
By JagranEdited By: Updated: Thu, 20 Jan 2022 07:29 PM (IST)
प्रेरक
चंबा के वीरेन धर्मशाला में हुई राज्यस्तरीय पैरास्पोर्ट्स में जीत चुके हैं तीन पदक 75 फीसद दिव्यांग होने के बावजूद कार चलाने के अपने शौक को भी कर रहे पूरा मान सिंह वर्मा, चंबा अगर जीवन में कुछ कर गुजरने का जज्बा और हौसला हो तो तमाम चुनौतियां भी आपके कदम नहीं डगमगा सकतीं। ऐसे अनेकों उदाहरण हैं जब विपरीत परिस्थितियों के बावजूद धुन के पक्के उत्साही लोगों ने न केवल मंजिलों को हासिल किया, बल्कि दूसरों के लिए प्रेरणा भी बने। अपने नाम को सार्थक करते जिला चंबा की ग्राम पंचायत बसोदन के बनगोदू गांव के वीरेन सिंह भी ऐसे ही उत्साही लोगों में शामिल हैं।
वीरेन एक हादसे में शरीर से 75 फीसद दिव्यांग हो गए थे लेकिन जीवन में कुछ कर गुजरने का हौसला ऐसा कि तमाम दुश्वारियों को एक-एक कर पीछे छोड़ते जा रहे हैं। वीरेन कुछ दिन पहले धर्मशाला में हुई राज्यस्तरीय पैरास्पोर्ट्स में न केवल तीन पदक जीते चुके हैं बल्कि अपने कार चलाने के शौक को भी बखूबी पूरा कर रहे हैं। कार चलाने के शौक को पूरा करने के लिए वीरेन ने हरियाणा के करनाल से कार में अपने हिसाब से बदलाव करवाए हैं। कार में बदलाव के लिए परिवहन विभाग से ली अनुमति
रीढ़ की हड्डी में आई चोट के चलते हुए पैरालाइज से उनकी दोनों टांगे पूरी तरह से निष्क्रिय हो गई थीं। ऐसे में वीरेन ने गाड़ी में बदलाव करवा कर पांव से नियंत्रित होने वाले यंत्रों को स्टेयरिग में फिट करवाया। जिसके लिए उन्हें सबसे पहले परिवहन विभाग से अनुमति लेनी पड़ी। अब कार में बार-बार गियर बदलने का झंझट नहीं है। बिजली की तार ठीक करते वक्त हुआ था हादसा वीरेन बिजली की वायर (तार) ठीक करते समय गिर गए थे। इस दौरान जोरदार झटका लगने के चलते रीढ़ की हड्डी में गहरी चोट आई। कुछ समय अस्पताल में उपचाराधीन रहे। इसके बाद थोड़ा स्वस्थ होने पर घर लाया गया। बाद में लगातार योग व हल्का व्यायाम करने से शरीर के करीब 15 फीसद हिस्से ने फिर काम करना शुरू कर दिया। जिस समय यह घटना घटी, उस वक्त वह वर्ष 2017 में बीए प्रथम वर्ष के छात्र थे। राज्य स्तरीय पैरास्पोर्ट्स में जीते हैं तीन मेडल हाल ही में धर्मशाला के इनडोर स्टेडियम में आयोजित राज्यस्तरीय पैरास्पोर्ट्स मीट में वीरेन सिंह ने पावर लिफ्टिग व शाट पुट में गोल्ड मेडल, जबकि व्हील चेयर रेस में सिल्वर मेडल जीता है। बेहतर प्रदर्शन के चलते उनका चयन राष्ट्रीय स्तरीय पैरास्पोर्ट्स के लिए हुआ है। अब उनका सपना देश के लिए मेडल लाने का है। जिसके लिए वह अभी से तैयारी में जुट गए हैं।
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