Chakki Bridge: चेकडैम रोकेगा बाढ़ से होने वाले पुल का नुकसान, ट्रायल के बाद NHAI लेगी ट्रैफिक खोलने का निर्णय
Chakki Bridge चेकडैम चक्की पुल को बाढ़ से होने वाले नुकसान से राेकेगा। एनएचएआई चक्की खड्ड में पुलों को बचाने के लिए आइआइटी रुड़की के विशेषज्ञों की रिपोर्ट के आधार पर दो चेकडैम का निर्माण कर रही है। चक्की पुल के संवेदनशील पिल्लरों की सुरक्षा का काम पूरा होने के बाद एनएचएआइ ट्रायल लेकर पुल को स्कूल बसों व यात्री वाहनों के लिए खोलने का निर्णय ले सकती है।
By Jagran NewsEdited By: MOHAMMAD AQIB KHANUpdated: Sat, 01 Jul 2023 01:36 PM (IST)
नूरपुर, जागरण संवाददाता: चेकडैम चक्की पुल को बाढ़ से होने वाले नुकसान से राेकेगा। एनएचएआई चक्की खड्ड में पुलों को बचाने के लिए आइआइटी रुड़की के विशेषज्ञों की रिपोर्ट के आधार पर दो चेकडैम (सुरक्षा दीवारों) का निर्माण कर रही है। करीब 100 करोड़ रुपये की लागत से चेकडैम (सुरक्षा दीवार) का निर्माण किया जा रहा है।
एनएचएआइ ने सिंतबर माह तक चेकडैम का निर्माण पूरा करने का लक्ष्य निर्धारित किया है। पिछले दस माह से चक्की सड़क पुल को बड़े वाहनों के लिए बंद किया गया है जिससे लोगों को भारी असुविधा का सामना करना पड़ रहा है। एनएचएआइ चक्की सड़क पुल के चार संवेदनशील पिल्लरों की सुरक्षा का कार्य लगभग पूरा कर चुकी है।
जानकारी अनुसार आने वाले दिनों से एनएचएआई पुल का ट्रायल करने के बाद इसे स्कूल बसों व यात्री वाहनों के लिए खोलने का निर्णय ले सकती है। कुछ दिनों में संवेदनशील पिल्लरों की सुरक्षा का कार्य पूरा होते की उम्मीद है।
कैसे बन रहा है चेकडैम
एनएचएआई चक्की खड्ड में पुलों को बचाने के लिए आइआइटी रुड़की के विशेषज्ञों की रिपोर्ट के आधार पर दो चेकडैम ( सुरक्षा दीवारों) का निर्माण कर रही है। पहले चेकडैम की लंबाई लगभग 335 मीटर लंबी व 18 मीटर ऊंची होगी जोकि सतह के जमीन तक 6 मीटर गहरी होगी व सतह से 12 मीटर ऊंची होगी। इसके बेस की चौड़ाई 6 मीटर होगी और टाप करीब डेढ़ मीटर होगा।
वहीं दूसरी चेकडैम (सुरक्षा दीवार) लगभग 138 मीटर आगे बनेगी जोकि सतह से दो मीटर ऊंची व चार मीटर गहरी होगी। दोनों कर्टेन वाल ( सुरक्षा दीवारों) के आगे करीब 8 से 10 मीटर कंक्रीट की मजबूत स्लैब डाली जाएगी और क्रेट्स लगाए जाएंगे।
कर्टेन वाल से चक्की खड्ड का पानी रूक रूक कर गिरेगा ताकि बाढ़ से नुक्सान न हो। कर्टेन वाल के मजबूत निर्माण के लिए करीब दो हजार टन स्टील का प्रयोग होने की संभावना है तथा इसके निर्माण कर करीब 100 करोड़ रुपये खर्च होने का अनुमान है। एनएचएआई ने सितंबर माह तक कर्टेन वाल का निर्माण पूरा करने की लक्ष्य निर्धारित किया है ।
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