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'भाजपा ने PM मोदी को किया गुमराह, जिसके चलते उन्होंने दिया ऐसा बयान', आर्थिक स्थिति वाले बयान पर CM सुक्खू का पलटवार

हिमाचल (Himachal News) के मुख्यमंत्री ने भाजपा पर भाजपा पर हमला बोला है। उन्होंने कहा कि भाजपा ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को गुमराह किया है जिसके चलते उन्होंने ऐसा बयान दिया है। उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार के पास हिमाचल के 23000 करोड़ रुपये लंबित है। सीएम ने कहा कि उनके कार्यकाल के दौरान कोषागार कभी ओवरड्राफ्ट नहीं हुआ है।

By Parkash Bhardwaj Edited By: Nitish Kumar Kushwaha Updated: Mon, 16 Sep 2024 08:43 PM (IST)
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मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने भाजपा पर पलटवार किया है।

राज्य ब्यूरो, शिमला। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के हिमाचल की आर्थिक स्थिति पर दिए बयान पर मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने पलटवार किया है। उन्होंने कहा कि प्रदेश भाजपा नेतृत्व ने पीएम को गुमराह किया, जिसके चलते उन्होंने ऐसा बयान दिया है। उन्होंने स्पष्ट किया कि वर्तमान राज्य सरकार के कार्यकाल के दौरान कोषागार कभी ओवरड्राफ्ट नहीं हुआ।

इससे संबंधित तथ्य भारतीय रिजर्व बैंक और केंद्रीय वित्त मंत्रालय द्वारा सत्यापित किए जा सकते हैं। प्रधानमंत्री के लिए सभी राज्य समान हैं। कर्मचारियों के कल्याण के प्रति प्रतिबद्धता को दोहराते हुए कहा कि प्रदेश सरकार ने 1.36 लाख सरकारी कर्मचारियों का कल्याण सुनिश्चित करने के लिए पुरानी पेंशन योजना को बहाल किया है और राज्य की पात्र महिलाओं को 1500 रुपये प्रति माह प्रदान किए जा रहे हैं।

केंद्र सरकार के लंबित हैं 23,000 करोड़: सीएम सुक्खू

सीएम ने कहा कि केंद्र सरकार के पास राज्य के 23,000 करोड़ रुपये लंबित है। इसमें से 9,300 करोड़ रुपये पिछले वर्ष आई प्राकृतिक आपदा के आकलन से संबंधित हैं। केंद्र ने उत्तराखंड सरकार को 8000 करोड़ रुपये जारी कर दिए हैं। इसके अतिरिक्त नई पेंशन योजना के करोड़ों रुपये केंद्र के पास लंबित हैं।

भाखड़ा बांध प्रबंधन बोर्ड मामले में सर्वोच्च न्यायालय के प्रदेश के पक्ष में निर्णय के बावजूद 4500 करोड़ रुपये का बकाया भी नहीं दिया है। यदि केंद्र सरकार यह राशि राज्य को जारी कर दे तो हिमाचल आत्मनिर्भरता के लक्ष्य को शीघ्र हासिल करेगा।

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मुख्यमंत्री ने कहा कि कांग्रेस सरकार ने ‘व्यवस्था परिवर्तन’ की नवीन पहल के माध्यम से आत्मनिर्भर हिमाचल की नींव रखी है। सरकार चरणबद्ध तरीके से सभी विधानसभा क्षेत्रों में राजीव गांधी डे बोर्डिंग स्कूल स्थापित करके शिक्षा प्रणाली में क्रांतिकारी बदलाव ला रही है। प्राकृतिक खेती पद्धति से पैदा किए गए गेहूं को 40 रुपये और मक्की को 30 रुपये प्रति किलो की दर से न्यूनतम समर्थन मूल्य देने वाला हिमाचल देश का पहला राज्य बना है।

किसी सरकारी कर्मचारी का वेतन नहीं रुका

सुक्खू ने कहा कि विभिन्न बोर्डों और निगमों के कर्मचारियों और पेंशनभोगियों को माह की पहली तारीख को वेतन और पेंशन अदायगी की जा रही है। वित्तीय अनुशासन सुनिश्चित करने के लिए राज्य सरकार ने नकदी प्रवाह असंतुलन को ठीक करने का निर्णय लिया है।

विभिन्न सरकारी विभागों के कर्मचारियों को महीने की पांच तारीख को वेतन मिल रहा है। इससे किसी भी सरकारी कर्मचारी का वेतन नहीं रुका है। प्रदेश सरकार का यह निर्णय राज्य के राजकोष को सुदृढ़ करने के लिए लिया गया है, जिससे ऋण के ब्याज में प्रति माह तीन करोड़ रुपये की बचत हो रही है।

जयराम सरकार में हुई थी 56 नियुक्तियां

सीएम ने कहा कि सरकार ने बोर्डों और निगमों में केवल 14 अध्यक्षों और उपाध्यक्षों की नियुक्ति की है जबकि पूर्व की जयराम ठाकुर के नेतृत्व वाली सरकार के दौरान 56 नियुक्तियां की गई थीं। कांग्रेस सरकार को अस्थिर करने के लिए भाजपा ने ‘ऑपरेशन लोटस’ का प्रयास किया, जिसे लोगों ने सिरे से नकार दिया।

कांग्रेस विधायकों की संख्या फिर से 40 तक पहुंच गई है। इससे स्पष्ट होता है कि हिमाचल प्रदेश के लोगों ने खरीद-फरोख्त की राजनीति को अस्वीकार किया है। सरकार हिमाचल प्रदेश को वर्ष 2027 तक आत्मनिर्भर राज्य और वर्ष 2032 तक देश के सबसे समृद्ध राज्यों में से एक बनाने के लिए प्रतिबद्ध है तथा इस दिशा में गंभीरतापूर्वक प्रयास कर रही है।

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