Himachal Cabinet Meeting: कांस्टेबल भर्ती में बढ़ी आयु सीमा..., कैबिनेट बैठक में सुक्खू सरकार ने रोजगार का खोल दिया पिटारा
Himachal Cabinet Meeting हिमाचल प्रदेश में तीन महीने बाद कैबिनेट की बैठक हुई है। मीटिंग में कांस्टेबल भर्ती में आयु सीमा बढ़ाने का फैसला लिया गया है। बैठक में सीएम ने हिमाचल में खाली पड़े पदों को भी भरने के आदेश दिए हैं। वहीं इस दौरान कैबिनेट ने राज्य में जंगल की आग सूखा पानी की कमी और मानसून की प्रगति की स्थिति की भी समीक्षा की।
एएनआई, शिमला। Himachal Cabinet Meeting: हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने मंगलवार को तीन महीने बाद कैबिनेट मीटिंग की। इस बैठक में कई अहम फैसले लिए गए। कंस्टेबल पदों की भर्ती को लेकर भी अहम फैसला लिया गया।
मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट बैठक में पुलिस विभाग में कांस्टेबल के 1226 पदों की भर्ती के लिए उपस्थित होने वाले उम्मीदवारों को ऊपरी आयु सीमा में बदलाव किया गया।
उम्र में एक साल की छूट
उम्मीदवारों की उम्र सीमा बढ़ा दी गई है। अब 18 से 26 वर्ष की आयु के सामान्य अभ्यर्थी, 18 से 28 वर्ष की आयु के एससी/एसटी, ओबीसी, गोरखा, प्रतिष्ठित खिलाड़ी और 20 से 29 वर्ष की आयु के होम गार्ड कांस्टेबल भर्ती के लिए पात्र होंगे।
कैबिनेट ने छोटे बच्चों को बेहतर शिक्षा प्रदान करने के लिए शिक्षा विभाग में 6297 प्रारंभिक बचपन देखभाल और शिक्षा ट्यूटर्स को नियुक्त करने के आदेश भी दिए। साथ ही विभिन्न सरकारी विभागों में भी 6630 से अधिक पद बनाने और भरने का भी निर्णय लिया।
स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग में भी इतने पद भरने के निर्देश
बैठक में स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग में चिकित्सा अधिकारियों के 200 पद सृजित करने और भरने का निर्णय लिया गया। इसके अलावा कैबिनेट ने प्रोफेसर के 22 पद भरने को भी मंजूरी दे दी।
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साथ ही प्रदेश के विभिन्न मेडिकल कॉलेजों में एसोसिएट प्रोफेसर और असिस्टेंट प्रोफेसर के पद भी शामिल हैं। इनमें डॉ. यशवंत सिंह परमार राजकीय मेडिकल कॉलेज, नाहन में प्रोफेसर के तीन और एसोसिएट प्रोफेसर के दो पद, श्री लाल बहादुर में प्रोफेसर के दो पद और एसोसिएट प्रोफेसर का एक पद शामिल हैं।
मेडिकल कॉलेज में इतने पद भरने के आदेश
लोगों को उनके घरों के निकट विशेष स्वास्थ्य सेवाएं प्रदान करने के लिए शास्त्री राजकीय मेडिकल कॉलेज, नेरचौक, मंडी, पंडित जवाहर लाल नेहरू राजकीय मेडिकल कॉलेज, चंबा में प्रोफेसर के चार पद और एसोसिएट और सहायक प्रोफेसर के पांच-पांच पद दिए गए।
टांडा मेडिकल कॉलेज में भी भरे जाएंगे पद
टांडा मेडिकल कॉलेज में कैजुअल्टी मेडिकल ऑफिसर के 8 पद और चंबा मेडिकल कॉलेज में सहायक प्रोफेसर के पांच पदों के साथ-साथ स्टाफ नर्स, ऑपरेशन थिएटर सहायक, तकनीशियन, मल्टी टास्क वर्कर आदि सहित आवश्यक सहायक स्टाफ के पदों को भरने का भी निर्णय लिया गया। ताकि इन दोनों मेडिकल कॉलेजों में ट्रॉमा सेंटर क्रियाशील हो सकें।
प्रशासनिक न्यायाधिकरण में विभिन्न श्रेणियों के इतने पद भरेंगे
मंत्रिमंडल ने हिमाचल प्रदेश प्रशासनिक न्यायाधिकरण में विभिन्न श्रेणियों के 84 पद सृजित करने और भरने का निर्णय लिया। वहीं राज्य में नवगठित फोर लेन योजना क्षेत्रों के लिए नगर एवं ग्राम नियोजन विभाग में बेहतर नियमन के लिए विभिन्न श्रेणियों के 13 पद भरने की सहमति दी। युवा सेवा और खेल विभाग में युवा आयोजकों के चार पदों को भरने की मंजूरी दी गई। राज्य सरकार और राज्य सार्वजनिक क्षेत्र के उपक्रमों, बोर्डों, निगमों, स्थानीय निकायों के तहत ग्रुप सी पदों की सीधी भर्ती को हिमाचल प्रदेश के दायरे में लाने का निर्णय लिया गया।
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कैबिनेट ने कांगड़ा जिले के देहरा में पुलिस अधीक्षक कार्यालय और अधीक्षण अभियंता लोक निर्माण विभाग खोलने को मंजूरी दे दी, लेकिन आदर्श आचार संहिता लागू होने के कारण इन दोनों कार्यालयों को बाद में अधिसूचित किया जाएगा। कैबिनेट ने ऊना जिले के हरोली में विद्युत प्रभाग खोलने को भी मंजूरी दे दी।
विक्रमादित्य सिंह को भी दिए ये निर्देश
कैबिनेट ने होम स्टे के संचालन को सुव्यवस्थित करने के लिए दिशानिर्देश सुझाने के लिए ग्रामीण विकास और पंचायती राज मंत्री अनिरुद्ध सिंह, लोक निर्माण मंत्री विक्रमादित्य सिंह और तकनीकी शिक्षा मंत्री राजेश धर्माणी को सदस्य के रूप में शामिल किया। साथ ही उद्योग मंत्री हर्षवर्धन चौहान की अध्यक्षता में एक कैबिनेट उप-समिति का गठन किया। इससे राज्य में पर्यटन को बढ़ावा मिलेगा।
साथ ही उपमुख्यमंत्री मुकेश अग्निहोत्री की अध्यक्षता में कृषि मंत्री चंद्र कुमार, उद्योग मंत्री हर्षवर्धन चौहान और तकनीकी शिक्षा मंत्री राजेश धर्माणी के सदस्यों के साथ संसाधन जुटाने पर सिफारिश करने के लिए एक कैबिनेट उप-समिति बनाने को भी मंजूरी दी गई। वहीं इस दौरान कैबिनेट ने राज्य में जंगल की आग, सूखा, पानी की कमी और मानसून की प्रगति की स्थिति की भी समीक्षा की।