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खुशखबरी! हिमाचल में स्वास्थ्य में नौकरी का सुनहरा अवसर, सुक्खू सरकार 200 डॉक्टरों और 850 नर्सों की करने जा रही भर्ती

हिमाचल (Himachal News) के मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने स्वास्थ्य विभाग में 200 डॉक्टरों और 855 नर्सों की भर्ती करने का वादा किया है। सोमवार को मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश में स्वास्थ्य ढांचा मजबूत किया जाएगा। साथ ही यह भी कहा कि हिमकेयर योजना में सुधार करते हुए और मजबूत किया जाएगा। प्रदेश के निजी अस्पतालों में हिमकेयर के तहत अल्ट्रासाउंड और डायलिसिस की सुविधा मिलेगी।

By Anil Thakur Edited By: Nitish Kumar Kushwaha Updated: Mon, 09 Sep 2024 09:19 PM (IST)
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स्वास्थ्य विभाग में भरे जाएंगे 1050 पद।
जागरण संवाददाता, शिमला। मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि राज्य सरकार प्रदेश में स्वास्थ्य ढांचे को मजबूत कर रही है। प्रदेश में डॉक्टरों के 200 और नर्सों के 850 पदों को भरा जाएगा। इनमें टांडा में 450 और आईजीएमसी में 400 पदों को भरा जाएगा।

विधायक सुधीर शर्मा, राकेश जमवाल, इंद्र सिंह गांधी, त्रिलोक जम्वाल और रणधीर शर्मा द्वारा पूछे सवाल और स्वास्थ्य मंत्री के जवाब में हस्तक्षेप कर मुख्यमंत्री ने यह जानकारी दी।

हिमकेयर योजना में होगा सुधार: सीएम

मुख्यमंत्री ने कहा कि सरकारी अस्पताल रैफरल अस्पताल बनकर रह गए हैं। कोई भी मरीज आता है, उन्हें पीजीआई के लिए रैफर कर दिया जाता है। अब ऐसा नहीं होगा। पीएचसी में भी डॉक्टर उपलब्ध होगा। मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि पूर्व सरकार के समय शुरू की गई हिमकेयर योजना में सुधार के साथ इसे और मजबूत किया जाएगा।

सहारा योजना को भी मजबूत किया जाएगा, ताकि पात्र और असहाय लोगों को इस योजना का वास्तव में लाभ मिल सके। मुख्यमंत्री ने कहा कि डायलसिस और अल्ट्रासाउंड हिमकेयर के तहत निजी अस्पतालों में करवा सकेंगे।

'गड़बड़ी हिमकेयर ही नहीं आयुषमान योजना में भी हुई'

मुख्यमंत्री ने कहा कि सरकार के ध्यान में आया है कि निजी अस्पताल इलाज का पैकेज देते थे। हार्निया का ऑपरेशन जो 25 हजार में होता था, लेकिन पैकेज में 1-1 लाख का बिल थमा दिया जाता था। इसको लेकर सरकार ने कैबिनेट सब कमेटी बनाई गई है, जो फिलहाल इसकी जांच कर रही है।

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उन्होंने कहा कि पूर्व सरकार ने राज्य के 137 निजी स्वास्थ्य संस्थानों को हिमकेयर योजना के तहत इलाज के लिए इंपैनल्ड किया था। गड़बड़ियां सिर्फ हिमकेयर योजना में ही नहीं, आयुष्मान भारत योजना में भी हुई है। कैबिनेट सब कमेटी द्वारा दिए गए सुझावों पर गौर किया जाएगा।

'सहारा योजना जांच के दायरे में, अपात्र होंगे बाहर'

मुख्यमंत्री ने कहा कि पूर्व सरकार ने सहारा योजना शुरू की थी। यह अच्छी योजना है। सरकार इस योजना को और मजबूत करेगी। जिसे सहारे की जरूरत है, उसे योजना से वंचित नहीं किया जाएगा। जो अपात्र होंगे वह बाहर किए जाएंगे।

'355 करोड़ की देनदारियां लंबित'

मुख्यमंत्री ने कहा कि हिमकेयर योजना की 355 करोड़ रुपये की देनदारियां अभी भी लंबित हैं। इनमें से 127 करोड़ रुपये से अधिक की देनदारियां निजी स्वास्थ्य संस्थानों की हैं, जबकि 227 करोड़ रुपये सरकारी स्वास्थ्य संस्थानों की हैं। हिमकेयर योजना के तहत आईजीएमसी, टांडा और पीजीआई के लिए 60 करोड़ रुपये की राशि जारी कर दी है।

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