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कृषि विश्वविद्यालय की 1000 बीघा जमीन पर्यटन विभाग के नाम होगी ट्रांसफर, CM सुक्खू बोले- जिद्दी नहीं, जुनूनी हूं

हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कृषि विश्वविद्यालय पालमपुर की एक हजार बीघा जमीन पर्यटन विभाग के नाम ट्रांसफर करने का फैसला किया है। इस फैसले के तहत कांगड़ा को पर्यटन राजधानी के रूप में विकसित किया जाएगा। हालांकि विपक्ष ने इस फैसले का विरोध किया है और कहा है कि इससे विश्वविद्यालय में पढ़ाई का माहौल खराब होगा।

By Parkash Bhardwaj Edited By: Rajiv Mishra Updated: Sat, 07 Sep 2024 07:11 PM (IST)
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कांगड़ा बनेगा पर्यटन राजधानी, सीएम सुक्खू ने किया एलान (फाइल फोटो)

राज्य ब्यूरो, शिमला। मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि मैं जिद्दी नहीं, जुनूनी हैं। मैं हर निर्णय सोच समझकर और विवेकपूर्ण ढंग से लेता हूं। वे शुक्रवार को विधानसभा में नियम-63 के तहत विधायक विपिन सिंह परमार के कृषि विश्वविद्यालय पालमपुर की भूमि में से एक हजार बीघा भूमि पर्यटन विभाग को ट्रांसफर करने के मुद्दे पर लाए ध्यानाकर्षण प्रस्ताव पर हुई चर्चा के जवाब के दौरान बोल रहे थे।

पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए आधारभूत ढांचा बनाया जाएगा

उन्होंने कहा कि कृषि विवि की यह जमीन लेने का सरकार ने फैसला कर लिया है। यहां पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए आधारभूत ढांचा बनाया जाएगा, लेकिन इसमें कैसिनो नहीं बनेगा। प्रदेश सरकार कांगड़ा जिले में पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए तीन हजार भूमि का अधिग्रहण कर रही है। यदि जरूरी हुआ तो निजी भूमि का भी इस कार्य के लिए अधिग्रहण किया जाएगा।

उन्होंने कहा कि केंद्रीय विश्वविद्यालय की आड़ में कृषि विश्वविद्यालय की जमीन पर्यटन विभाग के नाम ट्रांसफर न करने की दलील को भी खारिज कर दिया। कहा कि यदि भविष्य में विश्वविद्यालय के लिए और जमीन की जरूरत हुई तो निजी भूमि का अधिग्रहण किया जाएगा।

हिमाचल की सबसे बड़ी ताकत पर्यटन है- सीएम सुक्खू

मुख्यमंत्री ने कहा कि कृषि विश्वविद्यालय की 48 साल में 50 हैक्टेयर भूमि भी विकसित नहीं हो पाई है। हिमाचल की सबसे बड़ी ताकत पर्यटन है। इसी उद्देश्य से सरकार ने कांगड़ा को राज्य की पर्यटन राजधानी के रूप में विकसित करने का निर्णय लिया है। इसके लिए कई बड़े निर्णय लिए जाएंगे।

सीएम ने मंत्री चंद्र कुमार का आग्रह नकारा

इससे पहले कृषि मंत्री चंद्र कुमार ने चर्चा का जवाब देते हुए मुख्यमंत्री से आग्रह किया कि कृषि विश्वविद्यालय की जमीन को पर्यटन विभाग को ट्रांसफर करने के प्रस्ताव पर विचार करने के लिए उच्चस्तरीय कमेटी बनाई जाए। उसके बाद ही कोई निर्णय लिया जाए। हालांकि चंद्र के इस आग्रह को मुख्यमंत्री ने सीधे तौर पर खारिज कर दिया और कहा कि सरकार इस फैसले पर पुनर्विचार नहीं करेगी।

वहीं विधायक विपिन परमार ने विवि की जमीन ट्रांसफर करने के लिए एनओसी देने का विरोध किया। उन्होंने कहा कि कांगड़ा में ही बगोड़ा के समीप ही तीन हजार बीघा जमीन उपलब्ध है, जिसे सरकार पर्यटन गतिविधियों के लिए अधिग्रहित कर सकती है।

पालमपुर से विधायक एवं मुख्य संसदीय सचिव आशीष बुटेल ने कहा कि सरकार के निर्णय से जिले में पर्यटन के क्षेत्र में आधारभूत ढांचा मजबूत होगा। उन्होंने कृषि विवि को जमीन के बदले दो गुणा लीज मनी देने की मांग की। विधायक रघुबीर सिंह बाली ने भी सरकार के फैसले का समर्थन किया।

जयराम बोले, विवि में पढ़ाई का माहौल खराब होगा

नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर ने कहा कि पालमपुर कृषि विश्वविद्यालय में पढ़ाई के लिए माहौल चाहिए। विवि कैंपस में टूरिज्म विलेज बनाने की बात सही नहीं है, यह घोर पाप है और नुकसानदायक होगा। पर्यटक अपने आनंद के लिए आएगा और इससे पढ़ाई का माहौल नहीं रहेगा। पर्यटन गांव के लिए अच्छी जगह तलाश की जाए, लेकिन विवि कैंपस में नहीं।