Himachal News: हिमाचल में 1500 पाने वाली ‘प्यारी बहनों’ को लौटानी होगी राशि, पढ़िए क्या है यह मामला
हिमाचल प्रदेश सरकार ने इंदिरा गांधी प्यारी बहना सम्मान निधि पाने वालों की पात्रता की जांच के निर्देश दिए हैं। पात्रता की शर्तों को पूरा नहीं करने वाली महिलाओं को राशि लौटानी होगी। योजना के तहत पात्र महिलाओं को 1500 रुपये मासिक दिए जा रहे हैं। अभी तक आठ लाख से अधिक महिलाओं के आवेदन आ चुके हैं जिनमें से 54 हजार नई महिलाओं को यह राशि मिल रही है।
अभी तक आ चुके हैं 8 लाख से अधिक आवेदन
योजना के लिए अभी तक आठ लाख से अधिक महिलाओं के आवेदन आ चुके हैं। जबकि पहले से 1,150 रुपये या अन्य राशि की सामाजिक पेंशन ले रही 2.42 लाख महिलाओं को इस योजना के तहत 1,500 रुपये की राशि दी जा रही है।पात्रता के आधार पर कई महिलाएं होंगी बाहर
कांग्रेस ने वर्ष 2002 के विधानसभा चुनाव में महिलाओं को 1,500 रुपये मासिक सम्मान निधि देने का वादा किया था। इसको लेकर भाजपा विधानसभा में कई बार कांग्रेस सरकार को घेर चुकी है। इसके लिए पात्रता की जो शर्तें रखी गई हैं उस आधार पर आठ लाख महिलाओं में से कई बाहर हो जाएंगी, जो राशि मिलने का इंतजार कर रही हैं।पात्र महिलाओं को योजना के तहत 1,500 रुपये मासिक दिए जा रहे हैं। पात्रता की जांच करने का निर्देश दिया है, जिससे पात्र महिलाओं को ही लाभ मिले सके। पात्रता की शर्तों में कोई बदलाव नहीं किया गया है जो पहले से निर्धारित हैं, वही हैं।
-धनीराम शांडिल, सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्री, हिमाचल।
कांग्रेस ने चुनाव से पहले जो वादे किए थे उन्हें पूरे करने में नाकाम रही है। चुनाव के दौरान कहा था कि परिवार में एक महिला है तो 1,500, दो हैं तो तीन हजार और चार हैं तो छह हजार रुपये मिलेंगे। अब ऐसी शर्तें लगा दी हैं कि 1,500 देने ही न पड़ें। जिन्होंने आवेदन किए भी हैं उन्हें कई माह बाद भी राशि नहीं मिली है।
-जयराम ठाकुर, नेता प्रतिपक्ष, हिमाचल।
योजना के लिए पात्रता व शर्तें
- महिला 18 से 59 वर्ष की आयु हो।
- हिमाचल प्रदेश की स्थायी निवासी हो।
- हिमाचल प्रदेश की स्थायी निवासी हो।
- परिवार का कोई सदस्य सरकारी, अर्ध सरकारी, निगम या बोर्ड का कर्मचारी, पेंशनर, आउटसोर्स यानी ठेके पर, दैनिक वेतनभोगी, अंशकालिक न हो।
- सेवारत व भूतपूर्व सैनिक व सैनिक विधवाएं पात्र नहीं हैं।
- आंगनबाड़ी कार्यकर्ता, सहायिका व आशा वर्कर न हो।
- परिवार का कोई सदस्य आयकरदाता नहीं होना चाहिए।