Move to Jagran APP

संजौली मस्जिद तोड़ने पर नहीं आया फैसला तो शुरू करेंगे जेल भरो आंदोलन, हिमाचल में प्रदर्शनकारियों का अल्टीमेटम

Himachal Masjid Controversy हिमाचल में मस्जिद पर विवाद थमने का नाम नहीं ले रहा है। देवभूमि संघर्ष समिति ने संजौली मस्जिद विवाद को लेकर शिमला में उपायुक्त को ज्ञापन सौंपा है। प्रदर्शनकारियोंने कहा कि पांच अक्टूबर तक संजौली मस्जिद को तोड़ने का फैसला नहीं आया तो वे जेल भरो आंदोलन करेंगे। इस दिन सभी लोगों से हनुमान चालीसा का पाठ करने का आह्वान किया गया है।

By Jagran News Edited By: Prince Sharma Updated: Sat, 28 Sep 2024 10:20 PM (IST)
Hero Image
Himachal Masjid Vivad: अवैध मस्जिद निर्माण पर पूरे हिमाचल में उबाल
जागरण संवाददाता, शिमला। हिमाचल प्रदेश में अवैध मस्जिदों के निर्माण को लेकर पूरे राज्य में उबाल है। हिंदू संगठनों ने शनिवार को प्रदेशभर में इसके विरोध में सभी जिला मुख्यालयों पर प्रदर्शन किया।

देवभूमि संघर्ष समिति के बैनर तले प्रदर्शनकारियों ने शिमला में उपायुक्त को ज्ञापन सौंप मांग उठाई कि पांच अक्टूबर को संजौली मस्जिद को तोड़ने का निर्णय नहीं आया तो जेल भरो आंदोलन शुरू किया जाएगा।

पांच अक्टूबर को अदालत में होगी सुनवाई

इस दिन सभी लोगों से घर व हनुमान मंदिर में जाकर हनुमान चालीसा का पाठ करने का आह्वान किया गया है। संजौली मस्जिद मामले में पांच अक्टूबर को नगर निगम शिमला के आयुक्त की अदालत में सुनवाई है।

लोगों ने मस्जिद में भड़काऊ वीडियो बनाने पर एआइएमआइएम के नेता शोएब जमई की गिरफ्तारी की मांग भी उठाई। वहीं, हमीरपुर में प्रदर्शन के दौरान हृदयाघात की वजह से विहिप कार्यकर्ता वीरेंद्र परिवार की मौत हो गई।

शिमला के उपायुक्त कार्यालय के बाहर सीटीओ चौक पर देवभूमि संघर्ष समिति ने प्रदर्शन किया। समिति ने भारत सरकार से वक्फ बोर्ड को समाप्त करने, हिमाचल में बन रही अवैध मस्जिदों व मजारों के निर्माण पर रोक लगाने की मांग उठाई। देवभूमि संघर्ष समिति ने वाम दलों के शिमला फार पीस एंड हार्मनी बैनर तले आयोजित किए जा रहे शांति व सद्भावना मार्च पर भी सवाल उठाए।

'ढांचे को मस्जिद निर्माण कमेटी अवैध मान चुकी है'

देवभूमि संघर्ष समिति के संयोजक भरत भूषण ने कहा कि विवादित ढांचे का विवाद कानून के तहत हल होना चाहिए। इस पर सरकार व प्रशासन दोहरा रुख न अपनाएं। उन्होंने कहा कि जिस ढांचे को वक्फ बोर्ड व मस्जिद निर्माण कमेटी अवैध मान चुकी है, जल्द उसे गिराने का फैसला करना चाहिए।

प्रदर्शनकारियों ने उपायुक्त कार्यालय से शेर-ए-पंजाब तक रैली निकाली। इसके बाद फिर उपायुक्त कार्यालय के बाहर पहुंच प्रदर्शन को समाप्त किया। बाहर से आकर लोगों को भड़काने पर प्राथमिकी दर्ज नहीं हुई

एक प्रदर्शनकारी ने कहा कि संजौली चलो के आह्वान पर हिंदू संगठन के तीन पदाधिकारियों पर प्राथमिकी दर्ज कर ली जाती है। वहीं, एक व्यक्ति बाहर से आता है, लोगों को भड़काता है, उस पर प्राथमिकी दर्ज नहीं हुई।

उन्होंने कहा कि प्रदर्शन के माध्यम से सरकार को चेताया गया है कि जल्द कार्रवाई होनी चाहिए अन्यथा आगामी रणनीति तैयार की जाएगी।

मतांतरण के खिलाफ भी होगी आवाज बुलंद

मंडी में हिंदू संगठनों के साथ आए साधुओं ने धर्म परिवर्तन करवाने वाली ईसाई मिशनरियों के खिलाफ भी आवाज बुलंद करने की बात कही। बिलासपुर में प्रदर्शन के दौरान कहा गया कि जब तक हमारा समाज जागरूक नहीं होगा, इस तरह की अवैध कब्जे होते रहेंगे।

यह भी पढ़ें- खुशखबरी! हिमाचल में सरकारी कर्मचारियों को 1 अक्टूबर को मिलेगी सैलरी, पेंशनरों को करना होगा इंतजार

आपके शहर की हर बड़ी खबर, अब आपके फोन पर। डाउनलोड करें लोकल न्यूज़ का सबसे भरोसेमंद साथी- जागरण लोकल ऐप।