Move to Jagran APP

अब ई-वाहन में बैठेंगे सुक्‍खू सरकार के मंत्री, बदले जाएंगे पुराने वाहन; विधानसभा के बजट सत्र के बाद होगी खरीदारी

हिमाचल सरकार के मंत्रियों के अब पुराने वाहन बदले जाएंगे। विधानसभा के बजट सत्र के बाद इनके लिए ई-वाहन खरीदे जाएंगे। उप मुख्यमंत्री मुकेश अग्निहोत्री की सरकारी गाड़ी फॉर्च्यूनर तीन लाख तो अन्य मंत्रियों की गाड़ियां ढाई लाख किलोमीटर से अधिक चल चुकी हैं। मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू कह चुके हैं कि सरकारी विभागों में अब पेट्रोल व डीजल नहीं ई-वाहनों की खरीद होगी।

By Jagran News Edited By: Himani Sharma Updated: Thu, 04 Jan 2024 11:29 AM (IST)
Hero Image
अब ई-वाहन में बैठेंगे सुक्‍खू सरकार के मंत्री (फाइल फोटो)
प्रकाश भारद्वाज, शिमला। हिमाचल में सुक्खू सरकार के मंत्रियों के पुराने वाहन बदलेंगे जाएंगे। विधानसभा के बजट सत्र के बाद इनके लिए ई-वाहन खरीदे जाएंगे। उप मुख्यमंत्री मुकेश अग्निहोत्री की सरकारी गाड़ी फॉर्च्यूनर तीन लाख तो अन्य मंत्रियों की गाड़ियां ढाई लाख किलोमीटर से अधिक चल चुकी हैं। मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू कह चुके हैं कि सरकारी विभागों में अब पेट्रोल व डीजल नहीं, ई-वाहनों की खरीद होगी।

अभी तक नहीं खरीदे गए नए वाहन

वर्तमान सरकार ने अभी तक मंत्रियों के लिए नए वाहनों की खरीदारी नहीं की है। जयराम सरकार में ही वर्ष 2019 में 11 फॉर्च्यूनर कारें खरीदी गई थीं। उस समय एक फार्च्यूनर 28 लाख रुपये में खरीदी गई थी। शिमला में जिस इलेक्ट्रिक कार का मुख्यमंत्री उपयोग करते हैं, वह वर्ष 2018 में परिवहन विभाग की ओर से दी गई थी, मगर उस समय इसका उपयोग नहीं हुआ।

वाहनों की खरीद के संबंध में बैठकें कर चुका है विभाग

सामान्य प्रशासन विभाग मुख्य सचिव से नए वाहनों की खरीद के संबंध में बैठकें कर चुका है। मंत्रियों के दौरों को देखते सुझाव आया था कि डीजल के वाहन ही उपयुक्त रहेंगे। इसी तरह से इलेक्ट्रिक वाहन और हाईब्रिड वाहनों की खरीद पर भी चर्चा हो चुकी है। मुख्य सचिव राम सुभाग सिंह के समय टोयोटा की कैमरी हाई ब्रिड कार खरीदी गई थी, जिसका मूल्य 47 लाख रुपये था।

यह भी पढ़ें: 'मेरा भोला है भंडारी' सिंगर के मुरीद हुए पीएम मोदी, शेयर किया भगवान राम पर गाया गाना; एक्स पर लिखी ये बात

यह कार मैदानी क्षेत्रों में डीजल के बजाय इलेक्ट्रिक सुविधा से चलती थी और प्रदेश के मध्यम व ऊंचाई वाले क्षेत्रों में डीजल से चलती थी। सामान्य प्रशासन विभाग सामान्य तौर पर मुख्यमंत्री, मंत्रियों के वाहन तीन लाख किमी चलने के बाद बदलता है। मुख्यमंत्री और मंत्रियों के लिए नए वाहनों की खरीद करने का निर्णय स्वयं मुख्यमंत्री लेंगे। पहले से ऐसा होता रहा है कि मंत्रियों के वाहन विभागों को दिए जाते हैं या फिर सरप्लस पूल में उपयोग के लिए रखे जाते हैं।

धर्माणी,गोमा के पास अलटिस कार

मंत्रिमंडल में शामिल दो मंत्रियों को छोड़ शेष के पास सरकारी वाहन के रूप में फार्च्यूनर है। कैबिनेट मंत्री राजेश धर्माणी और यादवेंद्र गोमा के पास टोयोटा की अलटिस कारें हैं।

यह भी पढ़ें: Lok Sabha Election 2024: दिल्ली में AICC की बैठक, राजधानी पहुंचे CM सुक्खू ; लोकसभा चुनाव की रणनीति पर होगी चर्चा

आपके शहर की हर बड़ी खबर, अब आपके फोन पर। डाउनलोड करें लोकल न्यूज़ का सबसे भरोसेमंद साथी- जागरण लोकल ऐप।