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मॉल रोड पर स्थानीय महिलाओं से मिलीं राष्ट्रपति मुर्मू, हाथ पकड़कर बोलीं- आप भाग्यशाली हो जो यहां रहती हो

Himachal President Droupadi Murmu राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू पांच दिवसीय प्रवास के बाद आज वापस दिल्ली लौट गईं। राष्ट्रपति माल रोड पर टहलते हुए महिलाओं व बच्चों से बात करने के लिए रुकना। उसके साथ बच्चों को चॉकलेट बांटना। एक महिला का ये कहना कि आपका आना हमारे लिए वंदनीय है... ये सब कह हिमाचल के लिए राष्ट्रपति एक अमिट छाप छोड़कर गई हैं।

By Parkash Bhardwaj Edited By: Prince Sharma Updated: Wed, 08 May 2024 04:10 PM (IST)
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माल रोड पर स्थानीय महिलाओं के संग घुली राष्ट्रपति मुर्मू, हाथ पकड़कर बोलीं
प्रकाश भारद्वाज, शिमला। President Droupadi Murmu: यूं तो राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू का छराबड़ा में निवास है, इस राष्ट्रपति निवास में वे जब चाहें ठहरने के लिए आ सकती हैं। बहुत पहले प्रदेश में प्रवास के लिए आने वाले राष्ट्रपति शिमला के ऐतिहासिक रिज मैदान व मालरोड़ पर आते रहे हैं। लेकिन पहली बार ऐसा हुआ कि वर्तमान राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू देवभूमि को आत्मीयता का स्पर्श देकर गई हैं।

माल रोड पर टहलते हुए महिलाओं व बच्चों से बात करने के लिए रुकना। उसके साथ बच्चों को चॉकलेट बांटना। एक महिला का ये कहना कि आपका आना हमारे लिए वंदनीय है, इस पर राष्ट्रपति मुर्मू का हंसते हुए हाथ पकड़कर ये कहना कि आप भाग्यशाली हो, जो यहां पर रहते हो।

पांच दिन के प्रवास के बाद दिल्ली लौटी मुर्मू

मंदिरों में जाकर शक्तिपीठाें के दर्शन करना, उनकी श्रद्धा और आस्था का परिचायक है। धर्मशाला की धरती पर ये संदेश देना कि शिक्षा का उद्देश्य संस्कृति, परंपरा और सभ्यता का अनुसरण करना है। पांच दिन के प्रवास के बाद राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू स्वजनों के साथ दिल्ली लौट गई।

दिल्ली रवाना होने से पहले राष्ट्रपति निवास में मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू से भेंट करना। उसके बाद उन्होंने छराबड़ा स्थित कल्याणी हेलीपैड पर राज्यपाल शिव प्रताप शुक्ल, मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू, स्वास्थ्य मंत्री कर्नल धनीराम शांडिल और मुख्य सचिव प्रबोध सक्सेना का आभार व्यक्त किया।

सनातन से उनका अभिन्न जुड़ाव

एक साल पहले राष्ट्रपति मुर्मूजाखू स्थित हनुमान मंदिर गई थीं। इस बार पहले शक्तिपीठ चामुंडा देवी के दर्शन करने के बाद निर्धारित कार्यक्रमों की शुरूआत की।

हनुमान की उपासक राष्ट्रपति ने शिमला के लिए रखे एक दिन की शुरूआत शहर के संकटमोचन हनुमान मंदिर में दर्शन करने से की। उसके बाद शक्तिपीठ तारा देवी में पूजा-अर्चना करना और आमजन के साथ बैठकर भंडारा ग्रहण करना। ये सब उनका सनातन से जुड़ाव का परिचायक है।

पर्यावरण का संदेश

पर्यावरण संरक्षण सबका सर्वोच्च दायित्व होना चाहिए। उन्होंने राष्ट्रपति निवास के सेब बगीचे में टहलने का अवसर हाथ से नहीं जाने दिया। एक नहीं दो बार उस ओर टहलने निकलीं।

इससे उनके पर्यावरण प्रेम का पता चलता है। यूपीआई से भुगतान करके एक संदेश समझा जा सकता है, जोकि उन्होंने खरीददारी करके दिया, विकसित भारत का परिचायक है।

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