Shimla News: प्रतिबंध के बावजूद शिक्षा विभाग में हो रहे तबादले, कई शिक्षकों को तीन साल भी पूरे नहीं हुए
प्रदेश सरकार ने विभागों में तबादलों पर प्रतिबंध लगाया हुआ है। बावजूद इसके शिक्षा विभाग में शिक्षकों के तबादला आदेश जारी किए गए हैं। कुछ मामलों में एक स्थान पर तीन साल का कार्यकाल भी पूरा नहीं हुआ है फिर भी शिक्षक राजनीतिक पहुंच से अपना तबादला करवा रहे हैं।
By Jagran NewsEdited By: Jagran News NetworkUpdated: Fri, 03 Feb 2023 03:58 PM (IST)
जागरण संवाददाता, शिमला: प्रदेश सरकार ने विभागों में तबादलों पर प्रतिबंध लगाया हुआ है। बावजूद इसके शिक्षा विभाग में जनवरी में 100 से ज्यादा शिक्षकों के तबादला आदेश जारी कर दिए हैं। इनमें कई शिक्षकों का तो शार्ट स्टे है, यानी इन्हें तीन साल भी पूरे नहीं हुए हैं।
प्रारंभिक व उच्च शिक्षा निदेशालय में प्रतिदिन 10 से 15 अर्धशासकीय पत्र (डीओ नोट) पहुंच रहे हैं। शिक्षक अपनी पसंद के स्टेशन पर तैनाती करवा रहे हैं। कुछ मामलों में तो एक स्थान पर तीन साल का कार्यकाल भी पूरा नहीं हुआ है। बावजूद इसके शिक्षक राजनीतिक पहुंच से अपना तबादला करवा रहे हैं।
प्रतिनियुक्ति पर तैनात शिक्षकों को वापस भेजने की तैयारी
सरकार ने कहा था कि दूरदराज के क्षेत्रों में जहां शिक्षकों की कमी है वहां पर युक्तीकरण द्वारा शिक्षकों को भेजा जाएगा, लेकिन इस दिशा में अभी कुछ भी कार्रवाई नहीं हुई है। प्रारंभिक शिक्षा निदेशालय ने दो फरवरी को एक ही दिन में 27 शिक्षकों के तबादला आदेश जारी किए।शिक्षा विभाग ने तबादला आदेश में कहा है कि जिस भी शिक्षक का तबादला हुआ है उसे स्कूल में तभी तैनाती दें जब वहां पर पहले से कार्यरत शिक्षक को रिलिव कर दिया जाए। प्रधानाचार्य को निर्देश दिए हैं कि इसका विशेष ध्यान रखें। पूर्व सरकार के समय प्रतिनियुक्ति पर तैनात शिक्षकों को मूल स्कूल में वापस भेजने की प्रक्रिया शुरू हो गई है।
प्रारंभिक व उच्चतर शिक्षा विभाग ने इसको लेकर आदेश जारी कर दिए हैं। पिछले सप्ताह ही विभाग ने जिलों से रिकार्ड मांगा था कि कितने शिक्षक प्रतिनियुक्ति पर कहां तैनात हैं।
पसंदीदा स्टेशन न मिलने पर नहीं दी तैनाती
पदोन्नति के बाद तय समय पर नए स्थान में तैनाती नहीं देने वाले शिक्षकों के खिलाफ विभाग ने सख्त कार्रवाई की है। विभाग ने करीब 15 शिक्षकों के पदोन्नति आदेश को निरस्त कर दिया है। प्रारंभिक शिक्षा निदेशक घनश्याम चंद की ओर से इस संबंध में आदेश जारी किए गए हैं।
इनमें कला अध्यापक, भाषा अध्यापक श्रेणी के शिक्षक शामिल हैं। इन्हें पदोन्नत कर टीजीटी आर्ट्स बनाया गया था। 15 दिन में इन्हें नए स्थान पर तैनाती देनी थी, लेकिन पसंदीदा स्थान नहीं मिलने पर इन्होंने तैनाती नहीं दी।
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