Nahan News: सात दशकों में सिरमौर जिला ने देश को दिए 7 सांसद, 5 लोकसभा और 2 राज्यसभा के
पहाड़ी राज्य हिमाचल को प्रदेश निर्माता देने वाले जिला सिरमौर ने पिछले 7 दशकों में देश को सात सांसद भी दिए हैं जिसमें से पांच सांसद लोकसभा चुनाव जीतकर संसद पहुंचे हैं। जबकि दो राज्यसभा के लिए निर्वाचित हुए हैं। जिला सिरमौर राजधानी शिमला संसदीय क्षेत्र के तहत आता है।
राजन पुंडीर, नाहन। पहाड़ी राज्य हिमाचल को प्रदेश निर्माता देने वाले जिला सिरमौर ने पिछले 7 दशकों में देश को सात सांसद भी दिए हैं, जिसमें से पांच सांसद लोकसभा चुनाव जीतकर संसद पहुंचे हैं। जबकि दो राज्यसभा के लिए निर्वाचित हुए हैं। जिला सिरमौर राजधानी शिमला संसदीय क्षेत्र के तहत आता है।
शिमला संसदीय क्षेत्र के 17 विधानसभा क्षेत्र में से पांच विधानसभा क्षेत्र जिला सिरमौर के पच्छाद, नाहन, पांवटा साहिब, श्री रेणुका जी और शिलाई हैं। जिला सिरमौर ने हिमाचल निर्माता डॉक्टर यशवंत सिंह परमार के साथ प्रदेश को कई मंत्री, मुख्य संसदीय सचिव, संसदीय सचिव के साथ-साथ राज्यसभा तथा लोकसभा में भी सांसद दिए हैं। 1952 से लेकर 1977 तक शिमला संसदीय क्षेत्र से कांग्रेस के सांसद रहे। वही जिला सिरमौर ने प्रदेश के पहले लोकसभा सांसद आनंद राम सैवल को हिमाचल का प्रतिनिधित्व करने के लिए भेजा।
1957 में यशवंत परमार बने सांसद
पच्छाद विधानसभा क्षेत्र के आनंद राम सैवल 1952 की पहली लोकसभा संसद के सदस्य रहे। 1957 में डॉक्टर यशवंत सिंह परमार सांसद बने, जिन्हें 2 वर्षों के बाद पद छोड़ना पड़ा। 1959 में हुए उपचुनाव में नाहन के समीप रामा गांव के शिवानंद रमौल सांसद चुने गए। 1962 से शिमला संसदीय क्षेत्र अनुसूचित जाति के लिए आरक्षित हो गया था, जिसके बाद 1962, 67 व 71 में शिमला संसदीय क्षेत्र से नाहन के प्रताप सिंह तीन बार सांसद रहे। जिला सिरमौर से 2019 में पहली बार भारतीय जनता पार्टी से सुरेश कश्यप लोकसभा के लिए सांसद चुने गए। वही राज्यसभा में जिला सिरमौर से 1962 से 1968 तक स्वतंत्रता सेनानी रहे शिवानंद रमौल ने हिमाचल प्रदेश का प्रतिनिधित्व किया। 1986 से 1992 तक शिलाई क्षेत्र के चंदन शर्मा राज्यसभा सांसद रहे।
7 दशकों में शिमला संसदीय क्षेत्र के किसी भी लोकसभा सांसद को केंद्रीय कैबिनेट में नहीं मिली जगह
हिमाचल प्रदेश की राजधानी शिमला के संसदीय क्षेत्र के किसी भी लोकसभा सांसद को सात दशकों में केंद्रीय कैबिनेट में आज तक जगह नहीं मिली। किसी भी पार्टी ने शिमला के लोकसभा सांसद को एक बार भी मंत्री पद नहीं दिया। जबकि शिमला संसदीय क्षेत्र से अधिकतर लोकसभा सांसद सत्ताधारी दल के रहे हैं।
शिमला संसदीय क्षेत्र से कब-कब कौन रहा
- 1952 में आनंद राम सैवल कांग्रेस
- 1957 में डॉक्टर वाईएस परमार कांग्रेस
- 1959 में शिवानंद रमौल कांग्रेस
- 1962 से आज तक अनुसूचित जाति के लिए आरक्षित
- 1962, 67 व 71 में प्रताप सिंह कांग्रेस
- 1977 में बालक राम जनता दल
- 1980 से 1998 तक केडी सुल्तानपुरी कांग्रेस
- 1999 में डॉक्टर धनीराम शांडिल एच.वि.सी.
- 2004 में डॉ. कर्नल धनीराम शांडिल कांग्रेस
- 2009 व 2014 में वीरेंद्र कश्यप भाजपा
- 2019 में सुरेश कश्यप भाजपा