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Farooq Abdullah ने फिर की पाकिस्तान से बातचीत की वकालत, बोले- G20 से नहीं होगा कोई लाभ, अगर दोनों देश...

जम्मू कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री फारूक अब्दुल्ला ने एक बार फिर पाकिस्तान से बातचीत की वकालत की है। उन्होंने कहा कि जी20 कार्यक्रम से तब तक कोई लाभ नहीं होगा जब तक दोनों देशों के बीच बातचीत नहीं होती है।

By Jagran NewsEdited By: Rajat MouryaUpdated: Sun, 04 Jun 2023 04:50 PM (IST)
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फारूक अब्दुल्ला ने फिर की पाकिस्तान से बातचीत की वकालत
जम्मू, राज्य ब्यूरो। नेशनल कॉन्फ्रेंस के अध्यक्ष फारूक अब्दुल्ला ने रविवार को कहा कि कश्मीर में जी-20 कार्यक्रम आयोजित करने से घाटी में पर्यटन को तब तक लाभ नहीं होगा जब तक कि भारत और पाकिस्तान बातचीत के जरिए इस केंद्र शासित प्रदेश के भविष्य का समाधान नहीं निकाल लेते। उन्होंने यह भी कहा कि निर्वाचित सरकार की कमी के कारण जम्मू-कश्मीर को भारी नुकसान हो रहा है।

श्रीनगर में पत्रकारों से बातचीत करते हुए डॉ. फारूक अब्दुल्ला ने कहा कि सवाल यह है कि क्या इन देशों से पर्यटन आगमन के लिहाज से हमें फायदा होगा। यह तब तक नहीं हो सकता जब तक यहां के हालात नहीं सुधरते और स्थिति तब तक नहीं सुधरेगी जब तक कि दो बड़े देश इस बात पर बातचीत नहीं करते कि इस राज्य के भविष्य को कैसे आकार दिया जाए।

फारूक अब्दुल्ला ने आगे कहा कि कई वर्षों से जर्जर सड़कों की मरम्मत की गई। दीवारों को पेंट का एक नया कोट मिला। स्ट्रीट लाइटें काम करने लगीं, इसलिए हमें इससे फायदा हुआ है।

'निर्वाचित सरकार से होता है लोकतंत्र'

उन्होंने कहा कि लोकतंत्र तब होता है जब एक निर्वाचित सरकार होती है। एक एलजी और उनके सलाहकार पूरे राज्य की देखभाल नहीं कर सकते। नौकरशाही को इन बातों से कोई फर्क नहीं पड़ता, क्योंकि वे 60 साल की उम्र तक रिटायर नहीं होते। उन्होंने कहा कि एक विधायक को हर पांच साल में जनता के पास जाना होता है। अगर वह काम नहीं करता है तो उसे वोट नहीं मिलेगा, इसलिए यह बहुत महत्वपूर्ण है कि यहां चुनाव होने चाहिए। फारूक अब्दुल्ला ने कहा कि उनकी पार्टी किसी भी समय चुनाव के लिए तैयार है।

'वे हाई कोर्ट या चुनाव आयोग जा सकते हैं'

उपराज्यपाल के इस बयान पर प्रतिक्रिया देते हुए कि कश्मीर में कुछ दलों ने अतीत में चुनावों को हाईजैक कर लिया था, अब्दुल्ला ने कहा कि क्या उनके पास इसका मुकाबला करने के साधन नहीं हैं। वे हाई कोर्ट या चुनाव आयोग जा सकते हैं। यहां तक कि इंदिरा गांधी को भी उच्च न्यायालय ने अपदस्थ कर दिया था।

ओडिशा ट्रेन हादसे पर जम्मू कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि यह दुनिया की बड़ी आपदाओं में से एक है। उन्होंने कहा कि 300 से अधिक लोगों की मौत हो गई और सैकड़ों अन्य घायल हो गए। अब्दुल्ला ने कहा कि इस बात की जांच होनी चाहिए कि यह कैसे हुआ और इसके लिए कौन जिम्मेदार है।

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