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Rajouri Twin Blast : राजौरी दोहरे बम धमाकों में था लश्कर का हाथ, जिला कमांडर तालिब फरार, दो सहयोगी गिरफ्तार

सूचनाओं के आधार पर राजौरी पुलिस ने सेना की 60 आरआर (14 सेक्टर) बटालियन की संयुक्त टीमों के साथ जिले के लारकोटी तरगैन जगलानू और दराज क्षेत्रों में कई छापे और तलाशी अभियान चलाए। इस दौरान दो लोगों को गिरफ्तार किया गया।

By Rahul SharmaEdited By: Updated: Tue, 28 Jun 2022 03:01 PM (IST)
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राजौरी के कोटरंका शहर में सबसे पहले दो विस्फोट किए गए।
राजौरी, जेएनएन : जम्मू-कश्मीर पुलिस ने मंगलवार को जम्मू संभाग के राजौरी जिले में हुए दोहरे विस्फोट मामले को सुलझाने का दावा किया है। इन मामलों की जांच में जुटी राजौरी पुलिस ने कोटरंका और बुधल विस्फोट मामलों में शामिल दो आरोपियों को गिरफ्तार किया है। एक अन्य आरोपी फरार है, जिसकी तलाश की जा रही है। इन आरोपियों की गिरफ्तारी के साथ पुलिस ने कई सबूत भी जुटाएं हैं, जो ये साबित करते हैं कि इन तीनों ने ही पाकिस्तान में बैठे आतंकी संगठनों के आकाओं के कहने पर ये दोनों विस्फोट किए थे।

आपको बता दें कि जिला राजौरी के कोटरंका शहर में सबसे पहले दो विस्फोट किए गए। 26 मार्च यह विस्फोट हुआ, जिसमें दो लोग घायल हुए। उसके बाद 19 अप्रैल को शाहपुर बुधल में बम धमाका किया गया। इस धमाके में भी करीब दो लोग घायल हुए। पुलिस ने दोनों ही मामलों की जांच शुरू कर दी। सूचनाओं के आधार पर राजौरी पुलिस ने सेना की 60 आरआर (14 सेक्टर) बटालियन की संयुक्त टीमों के साथ जिले के लारकोटी, तरगैन, जगलानू और दराज क्षेत्रों में कई छापे और तलाशी अभियान चलाए। इस दौरान दो लोगों को गिरफ्तार किया गया। पूछताछ करने पर दोनों ने ही इन विस्फोटों में अपनी संलिप्ता जाहिर करते हुए बताया कि इन हमलों की योजना बनाने वाला तालिब शाह है, जिसका सीधा संपर्क सीमा पार पाकिस्तान में बैठे आतंकी संगठनों के आकाओं से है। गिरफ्तार किए गए आरोपितों की पहचान पुलिस ने मोहम्मद शबीर पुत्र गुलाम हुसैन और मोहम्मद सादिक पुत्र इब्राहिम दोनों निवासी दराज, बुधाल के तौर बताई गई है।

पुलिस ने बताया कि जांच के दौरान यह बात सामने आई है कि तीन आरोपी तालिब शाह पुत्र हैदर शाह, मोहम्मद शबीर पुत्र गुलाम हुसैन और मोहम्मद सादिक पुत्र इब्राहिम ने मिलकर इन विस्फोट की घटनाओं को अंजाम दिया। तालिब ने ही पाकिस्तान बैठे आकांओं के निर्देश पर सीमा पार से भेजे गए हथियार, गोला-बारूद, विस्फोटक प्राप्त किए। बाद में इन आइईडी का उपयोग विस्फोटों में किया। प्रारंभिक जांच के दौरान यह सामने आया है कि तालिब हुसैन शाह के नेतृत्व वाले इस समूह ने जनवरी, मार्च और अप्रैल 2022 में लांबेरी-कालाकोट क्षेत्र में सीमा पार से भेजे गए हथियारों, गोला-बारूद, विस्फोटकों की तीन खेप एकत्र की।

अभी तक इन हमलों में शामिल दो आरोपियों मोहम्मद शब्बीर और मोहम्मद सादिक को गिरफ्तार कर लिया गया है और तीसरा आरोपी तालिब शाह फरार है। तालिब शाह सामान्य क्षेत्र राजौरी में लश्कर-ए-तैयबा का कमांडर है। वह पीरपंजाल क्षेत्र में सभी आतंकवादी गतिविधियों का मास्टरमाइंड है। उसने कई युवाओं को राजौरी में आतंकी गतिविधियों को अंजाम देने के लिए प्रेरित भी किया है। शब्बीर और सादिक को भी तालिब ने ही आतंकवादी गतिविधियों को अंजाम देने के लिए प्रेरित किया था।

पिछले 2/3 वर्षों में पीरपंजाल जिलों में लगभग सभी आतंकी घटनाओं में तालिब की भूमिका रही है। यह भी सामने आया है कि यह समूह लश्कर-ए-तैयबा के कुछ सक्रिय आतंकवादियों को कंडी-बुधल क्षेत्र में भी पनाह दे रहा था। पीरपंजाल जिलों में आतंकवाद को पुनर्जीवित करने के लिए यह गिरोह काफी समय से प्रयासरत है। राजौरी पुलिस ने कहा कि इन मामलों को सुलझाना एक बड़ी उपलब्धि है। इन दोहरे विस्फोटों की वजह से राजौरी जिले में दहशत फैल गई थी। पुलिस ने इस बात से भी सचेत किया कि ये आरोपी सुरक्षाबलों को निशाना बनाने के लिए ऐसे और हमलों की योजना बना रहे थे। तालिब के दो सहयोगियों की गिरफ्तारी लश्कर-ए-तैयबा के लिए एक बड़ा झटका है।

गिरफ्तार दोनों आरोपियों ने शुरुआती पूछताछ में खुलासा किया कि उन्होंने दराज इलाके के जंगल में कुछ विस्फोटक सामग्री भी छिपाई हुई है। पुलिस और 60 आरआर के दल ने दोनों आतंकियों के बताए हुए स्थान छापा मारा और तलाशी के दौरान पांच आईईडी, पांच रिमोट कंट्रोल, उन्नीस सेल, एक कवर रैप, एक कपड़े का टुकड़ा और दस फ्यूज बरामद किए। पुलिस अधिकारियों ने यह दावा भी किया कि अभी भी इन आरोपियों को काफी कुछ जानकारी है, जिसे जल्द ही पूछताछ के दौरान बाहर निकाला जाएगा। उन्होंने कहा कि तालिब की गिरफ्तारी के बाद जिला पीरपंजाल इलाके में अभी तक हुई आतंकी घटनाओं के बारे में कई महत्वपूर्ण जानकारियां प्राप्त हो सकती है। उसे जल्द ही ढूंढ निकाला जाएगा।

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