Jammu Kashmir Weather Update: जम्मू में भारी बारिश, मां वैष्णो देवी मार्ग पर दो जगह भूस्खलन, श्रद्धालुओं की आवाजाही पर रोक
Jammu Kashmir Weather Update जम्मू कश्मीर में भारी बारिश हुई है। जिसके चलते माता वैष्णो देवी मार्ग पर दो जगह भूस्खलन हुआ। यात्रा मार्ग में परिवर्तन करना पड़ा। भूस्खलन होने के बाद टीन शेड क्षतिग्रस्त हो गया और कंकड़्र पत्थर मार्ग पर आ गिरे। घटना के समय यात्रा जारी थी। गनीमत रही कि किसी भी श्रद्धालु को चोट नहीं आई।
संवाद सहयोगी, कटड़ा। बारिश के बीच वीरवार को मां वैष्णो देवी भवन पर दो जगहों पर भूस्खलन हुआ, परंतु यात्रा सुचारु रूप से जारी है। बुधवार रात्रि को शुरू हुई भारी बारिश वीरवार सुबह तक जारी रही। वीरवार को सुबह करीब 11:00 मां वैष्णो देवी मार्ग पर बाणगंगा क्षेत्र में गुलशन नगर के पास भूस्खलन हुआ और भारी भरकम पत्थर गिरकर टीन शेड पर आ गिरे।
इसके साथ ही टीन शेड क्षतिग्रस्त हो गया और कंकड़्र, पत्थर मार्ग पर आ गिरे। घटना के समय यात्रा जारी थी। गनीमत रही किसी श्रद्धालु को चोट नहीं आई।
इसके बाद श्राइन बोर्ड ने इस क्षेत्र में श्रद्धालुओं की आवाजाही पर रोक लगा दी और पत्थर हटाने का काम शुरू कर दिया, जो शाम तक जारी रहा। देर शाम करीब 7:00 बजे कंकड़, पत्थर हटाने के साथ ही मार्ग को साफ करने के बाद आवाजाही सुचारु हुई।
चेतक भवन की ओर मोड़ना पड़ा यात्रा को
हालांकि इस बीच श्रद्धालुओं को मां वैष्णो देवी के प्रवेश द्वार दर्शनी ड्योढ़ी से नए ताराकोट मार्ग वाया चेतक भवन की ओर मोड़ दिया गया और वे नए ताराकोट मार्ग से पारंपरिक मार्ग की ओर यात्रा करते रहे।
वहीं, वीरवार रात्रि को मां वैष्णो देवी के पारंपरिक मार्ग पर मिल्कबार क्षेत्र में उस समय अचानक भूस्खलन हो गया जब मां वैष्णो देवी की यात्रा जारी थी।
भूस्खलन के कारण मार्ग का करीब 30 से 40 फीट हिस्सा क्षतिग्रस्त हो गया और टीन शेड के खंभे हवा में लटक गए। वहीं, घटना के बाद श्राइन बोर्ड प्रशासन ने क्षतिग्रस्त हिस्से की बैरिकेडिंग कर दी।
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मरम्मत कार्य शुरू
इस घटना के बावजूद पारंपरिक मार्ग से श्रद्धालुओं की आवाजही में किसी भी प्रकार का असर नहीं पड़ा है और श्रद्धालु घोड़ा, पिट्टू, पालकी आदि का सहारा लेने के साथ ही पैदल निरंतर भवन की ओर आ जा रहे हैं।
इस क्षतिग्रस्त मार्ग को पूरी तरह से ठीक करने में श्राइन बोर्ड प्रशासन को 10 से 15 दिन का समय लग सकता है। फिलहाल श्राइन बोर्ड ने इसका मरम्मत कार्य शुरू कर दिया है।
हेलीकाप्टर सेवा को स्थगित
हालांकि शुक्रवार को बारिश तो नहीं हुई, परंतु आसमान के साथ ही त्रिकुटा पर्वत पर बादलों का जमघट अधिकांश समय लग रहा। श्रद्धालुओं को सुबह करीब तीन से चार घंटे हेलीकाप्टर सेवा उपलब्ध हुई, जिसका श्रद्धालुओं ने लाभ उठाया।
उसके बाद एक बार फिर त्रिकुटा पर्वत पर बादलों का जमघट लग गया, जिससे हेलीकाप्टर सेवा को स्थगित करना पड़ा। बीते वीरवार को 28,100 श्रद्धालुओं ने मां के दर्शन किए थे।
वहीं, शुक्रवार को शाम 5:00 बजे तक करीब 20,500 श्रद्धालु पंजीकरण करवा कर भवन की ओर रवाना हो चुके थे और श्रद्धालुओं का लगातार आना जारी था।