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उमर अब्दुल्ला ने पेश किया जम्मू-कश्मीर में सरकार बनाने का दावा, उपराज्यपाल को सौंपा 55 विधायकों का समर्थन पत्र

जम्मू कश्मीर नेशनल कान्फ्रेंस के उपाध्यक्ष उमर अब्दुल्ला ने आज शाम को उपराज्यपाल मनोज सिन्हा से मुलाकात की। इस बीच उन्होंने उपराज्यपाल मनोज सिन्हा से मुलाकात कर सरकार गठन का दावा पेश किया। उन्होंने एलजी को 55 विधायकों के समर्थन का पत्र भी सौंपा है। बता दें कि आम आदमी पार्टी ने भी दोपहर को उमर को समर्थन पत्र सौंपा है।

By Jagran News Edited By: Prince Sharma Updated: Fri, 11 Oct 2024 10:26 PM (IST)
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उमर अब्दुल्ला ने पेश किया जम्मू-कश्मीर में सरकार बनाने का दावा,

राज्य ब्यूरो, जागरण, श्रीनगर। जम्मू-कश्मीर में नेशनल कॉन्फ्रेंस-कांग्रेस गठबंधन की तरफ से मुख्यमंत्री पद के लिए नामित उमर अब्दुल्ला ने शुक्रवार को उपराज्यपाल मनोज सिन्हा से मुलाकात कर सरकार गठन का दावा पेश किया। उन्होंने उपराज्यपाल को 55 विधायकों के समर्थन का पत्र भी सौंपा है।

90 सदस्यीय सदन में नेकां के 42 विधायकों के साथ कांग्रेस के छह, माकपा, आम आदमी पार्टी के एक-एक विधायक और पांच निर्दलीय शामिल हैं। उमर बुधवार को मुख्यमंत्री पद की शपथ ले सकते हैं।

उधर, कांग्रेस ने विधायक दल चुनने का अधिकार पार्टी हाईकमान को अधिकृत कर दिया है। उम्मीद है कि शनिवार को कांग्रेस भी विधायक दल का नेता चुन लेगी। आम आदमी पार्टी ने भी दोपहर को उमर को समर्थन पत्र सौंपा है।

पहले भी मुख्यमंत्री रह चुके हैं उमर

बता दें कि उमर दूसरी बार जम्मू-कश्मीर के मुख्यमंत्री बनेंगे। इससे पूर्व वह वर्ष 2008 से 2014 तक मुख्यमंत्री पद पर आसीन रहे हैं। उस समय जम्मू-कश्मीर विधानसभा का कार्यकाल छह वर्ष को होता था। केंद्र शासित जम्मू-कश्मीर के वह पहले मुख्यमंत्री होंगे।

आठ अक्टूबर को विधानसभा चुनाव का परिणाम घोषित होने के बाद कांग्रेस, अन्य सहयोगी दलों और निर्दलीयों के समर्थन पत्र प्राप्त नहीं होने के कारण नेकां के उपाध्यक्ष उमर सरकार बनाने का दावा पेश नहीं कर रहे थे।

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शुक्रवार को कांग्रेस का समर्थन पत्र मिलने के चंद मिनटों बाद वह शाम साढ़े सात बजे गुपकार मार्ग स्थित निवास से स्वयं गाड़ी चलाते हुए राजभवन गए। उन्होंने उपराज्यपाल मनोज सिन्हा के समक्ष सरकार बनाने का दावा प्रस्तुत करते हुए उन्हें विधायकों का समर्थन पत्र भी सौंपा।

औपचारिकताएं पूरा करने में समय लगेगा

अपने निवास के बाहर पत्रकारों से उमर ने कहा कि मैंने उपराज्यपाल को कांग्रेस, माकपा, आप और निर्दलीय उम्मीदवारों के समर्थन पत्र भी सौंपे हैं। मैंने उनसे आग्रह किया है कि वह शपथग्रहण के लिए शीघ्र तिथि निर्धारित करें ताकि निर्वाचित सरकार कामकाज संभाल सके।

जम्मू-कश्मीर में उपराज्यपाल के माध्यम से केंद्र सरकार का शासन है। यहां निर्वाचित सरकार के शपथ ग्रहण संबंधी औपचारिकताओं को केंद्र के स्तर पर पूरा किया जाना है। उमर ने कहा कि उपराज्यपाल पहले संबंधित दस्तावेज राष्ट्रपति भवन भेजेंगे और उसके बाद गृह मंत्रालय को सौंपे जाएंगे।

सभी औपचारिकताओं को पूरा करने मे दो-तीन दिन लग सकते हैं। अगर यह प्रक्रिया मंगलवार को पूरी होती है तो संभवत: बुधवार को शपथ ग्रहण हो सकता है। मंत्रिमंडल में जम्मू की भागीदारी संबंधी सवाल पर उन्होंने कहा कि मैं बस इतना कहूंगा कि हमारी सरकार में जम्मू की उपेक्षा नहीं होगी।

उमर से मिले कांग्रेस के वरिष्ठ नेता

इससे पूर्व शाम छह बजे कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष तारिक हमीद करा, जीए मीर और जम्मू-कश्मीर मामलों के प्रभारी भरत सिंह संग नेकां के विधायक दल के नेता उमर अब्दुल्ला से मिलने उनके निवास पर पहुंचे। उन्होंने उमर को समर्थन पत्र सौंपा।

कांग्रेस नेताओं की उमर से 45 मिनट तक बैठक चली। उमर को समर्थन पत्र सौंपने से पूर्व कांग्रेस के निर्वाचित विधायकों की तारिक हमीद करा संग बैठक हुई। सभी ने विधायक दल का नेता चुनने का अधिकार आला कमान को सौंपने का फैसला लिया। 

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