Jammu Kashmir : शिवखोड़ी गुफा और शंकराचार्य मंदिर तक चलेगा रोपवे, अगले वर्ष दोनों परियोजनाएं हो सकती हैं शुरू
डा. मेहता ने अधिकारियों से कहा कि परियोजनाएं स्थानीय संस्कृति और संबंधित धार्मिक भावनाओं के अनुरूप होनी चाहिए। ये इन स्थानों से जुड़े धार्मिक महत्व को प्रतिबिंबित करने के अलावा धार्मिक महत्व के इन मंदिरों में जाने का बहुत ही आसान और विश्वसनीय तरीका होना चाहिए।
जम्मू, राज्य ब्यूरो : जिला रियासी में प्रसिद्ध धार्मिक स्थल शिवखोड़ी गुफा और श्रीनगर शहर में शंकराचार्य मंदिर के लिए रोपवे परियोजना की हरी झंडी मिल गई है। इसके अलावा पहलगाम-बाइसरन और बालटाल-अमरनाथ पवित्र गुफा तक रोपवे परियोजनाओं की पूर्व व्यवहार्यता रिपोर्ट का भी आकलन किया।
प्रदेश प्रशासन ने शिवखोड़ी गुफा और शंकराचार्य मंदिर तक रोपवे परियोजनाएं पूरी करने के लिए 2025 तक का लक्ष्य रखा है। अगले वर्ष दोनों परियोजनाओं पर काम शुरू होने की संभावलना है। मुख्य सचिव डा. अरुण कुमार मेहता ने शुक्रवार को इन परियोजनाओं के विकास के तौर-तरीकों की समीक्षा की।
मुख्य सचिव ने सभी परियोजनाओं को इन स्थानों पर आने वाले पर्यटकों के भविष्य के लिए महत्वपूर्ण बताया। रोपवे परियोजनाएं पर्यावरण के अनुकूल हैं। इससे पर्यटकों की संख्या बढ़ाने में मदद मिलेगी। डा. मेहता ने अधिकारियों से कहा कि परियोजनाएं स्थानीय संस्कृति और संबंधित धार्मिक भावनाओं के अनुरूप होनी चाहिए। ये इन स्थानों से जुड़े धार्मिक महत्व को प्रतिबिंबित करने के अलावा धार्मिक महत्व के इन मंदिरों में जाने का बहुत ही आसान और विश्वसनीय तरीका होना चाहिए। इन परियोजनाओं से प्रत्यक्ष या अप्रत्यक्ष रूप से युवाओं के लिए रोजगार के अवसर पैदा होंगे।
उन्होंने क्रियान्वयन एजेंसियों से इन परियोजनाओं के बोर्डिंग स्टेशनों के आसपास पार्किंग स्थल, फूड कोर्ट, शापिंग एरिया जैसी संबद्ध सुविधाओं के विकास पर विचार करने को कहा। मुख्य सचिव को बताया कि आने वाले वर्ष में पहले शिवखोड़ी पवित्र गुफा और शंकराचार्य मंदिर की परियोजनाओं पर काम होगा। श्रद्धालुओं के लिए दोनों स्थान बहुत ही लोकप्रिय हैं। हर वर्ष इनमें लाखों श्रद्धालु दशनों के लिए आते हैं। दोनो परियोजनाएं पूरी होने पर इनमें हर दिन 20 हजार तक श्रद्धालुओं के आने की संभावना है।
बैठक में बताया कि दर्शन दियोपाड़ी-शिवखोड़ी तक 2.70 किलोमीटर की दूरी होगी। शंकराचार्य मंदिर तक 2.70 किलोमीटर तक की दूरी होगी। इन दोनों परियोजनाओं में दो स्टेशन होंगे। इनमें पहुंचने में नौ मिनट का समय लगेगा। वहीं पहलगाम-बाइसरन और बालटाल-अमरनाथ गुफा तक की व्यवहार्यता रिपोर्ट का आकलन करते हुए कहा गया कि बालटाल-अमरनाथ गुफा की प्रस्तावित दूरी 11.60 किलोमीटर है। इसमें दोमेल, बराड़ीमार्ग और संगम जैसे स्टेशन होंगे। दोनों परियोजनाएं भी अहम हैं। दोनों में हर वर्ष लाखों पर्यटक आते हैं।