Udhampur Banihal Rail Link : 15 अगस्त तक पूरा हो जाएगा दुनिया का सबसे ऊंचा आर्च ब्रिज, एफिल टावर से भी 34 मीटर ऊंचा है यह ब्रिज
Udhampur Banihal Rail Link 15 अगस्त तक डेक का कार्य पूरा होने के साथ उस पर पटरी को बिछाने का काम शुरू हो जाएगा। रेल मंत्रालय ने दिसंबर 2022 तक इस पुल से रेल यातायात शुरू करने का लक्ष्य रखा है।
जम्मू, जागरण संवाददाता : आजादी की 75वीं वर्षगांठ पर हमारे इंजीनियर देश को अनूठा तोहफा देने की तैयारी कर चुके हैं। देश की इंजीनियरिंग क्षमता का नायाब नमूना और दुनिया के सबसे ऊंचे आर्च ब्रिज का निर्माण कार्य 15 अगस्त तक पूरा कर लिया जाएगा। इस समय ब्रिज पर डेक बिछाने का कार्य अंतिम चरण में है। इसके बाद रेल पटरी बिछाने का कार्य दिसंबर माह तक पूरा करने का लक्ष्य है। यह ब्रिज ऊधमपुर-बनिहाल रेल लिंक की अहम कड़ी है।
जम्मू संभाग के रियासी जिले में चिनाब दरिया पर बन रहा यह आर्च ब्रिज एफिल टावर से भी 35 मीटर ऊंचा है। इसके आर्च की चिनाब नदी के जलस्तर से ऊंचाई 359 मीटर है और नदी की तलहटी से यह और भी अधिक हो जाएगी।
निर्माण एजेंसी के अधिकारियों के अनुसार आर्च का काम पहले ही पूरा हो जा चुका है। पुल पर डेक के 88 प्रतिशत हिस्से का निर्माण पूरा हो गया है। 15 अगस्त तक डेक का कार्य पूरा होने के साथ उस पर पटरी को बिछाने का काम शुरू हो जाएगा। रेल मंत्रालय ने दिसंबर 2022 तक इस पुल से रेल यातायात शुरू करने का लक्ष्य रखा है। इस पुल के निर्माण के साथ ही कश्मीर को सीधे रेल मार्ग से जोड़ने का सपना और करीब हो जाएगा।
यह है ऊधमपुर-बनिहाल रेल लिंक : ऊधमपुर से बनिहाल के बीच 136 किलोमीटर मार्ग में रेलवे ट्रैक बिछाने का कार्य चल रहा है। इस पर लगभग 28 हजार करोड़ रुपये का खर्च आने का अनुमान है। इसमें से ऊधमपुर से कटड़ा तक 25 किलोमीटर तक ट्रैक पहले से सुचारू है। शेष 111 किलोमीटर लंबे ट्रैक में से करीब 97 किलोमीटर हिस्सा पुलों और सुरंगों से होकर गुजरेगा। लक्ष्य है कि ट्रैक का निर्माण मार्च 2023 तक पूरा कर लिया जाए।
दुनिया के सबसे ऊंचा आर्च ब्रिज
- 359 मीटर है रियासी जिले में चिनाब दरिया पर बन रहे सबसे ऊंचे आर्च ब्रिज की ऊंचाई। यह एफिल टावर से 35 मीटर अधिक है
- 1250 करोड़ रुपये है करीब 1315 मीटर लंबे इस पुल की लागत
- 100 किलोमीटर की रफ्तार से इस पुल से गुजारी जा सकेगी ट्रेन
- 266 किलोमीटर प्रति घंटा की गति की तेज हवाओं को सहन कर सकेगा यह पुल
- 24 हजार टन स्टील का इस्तेमाल हुआ है पुल के निर्माण में
- 131 मीटर है ब्रिज के एक पिलर की ऊंचाई
- 120 वर्ष है इस पुल की अनुमानित आयु
- सेज्मिक जोन पांच में आने वाले झटकों को सहन कर सकेगा यह पुल
दुनिया का यह अजूबा अब निर्माण के अंतिम चरण में है। डेक का निर्माण कार्य पूरा करने की डेडलाइन 15 अगस्त रखी गई है और हमारी कोशिश है कि उससे पहले काम पूरा कर लिया जाए। दिसंबर 2022 तक इस पर रेल ट्रैक बिछाने का कार्य पूरा कर लिया जाएगा। -- सुप्रीत सिंह, निर्माण एजेंसी के कार्यकारी अभियंता